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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi)

स्वच्छ भारत अभियान

प्रधानमंत्री की क्रांतिकारी अभियानों में से एक ‘स्वच्छ भारत अभियान’ अपने आप में अनूठा है। भारत सरकार की यह पहल प्रशंसनीय है। आजकल इस मुद्दे पर आए-दिन चर्चा होती है। स्कूल-कॉलेजों में भी विभिन्न प्रतियोगिताओं और परीक्षाओं में यह विषय दिया जाने लगा है। चूंकि यह प्रधानमंत्री की विकास योजनाओं में से एक है। इसलिए यह अपेक्षा की जाती है कि शैक्षणिक स्तर पर सबको इसकी जानकारी रहे।

स्वच्छ भारत अभियान पर छोटे तथा बड़े निबंध (Swachh Bharat Abhiyan par Nibandh)

हम यहाँ कुछ छोटे-बड़े निबंध प्रस्तुत कर रहे हैं। जो कि विभिन्न पक्षों पर आपकी मदद करेगें।

स्वच्छ भारत अभियान पर 10 पंक्तियों का निबंध

  • स्वच्छ भारत अभियान, 2014 में शुरू किया गया, यह एक राष्ट्रव्यापी स्वच्छता अभियान है।
  • इस अभियान का उद्देश्य ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में शौचालय निर्माण को बढ़ावा देकर भारत को खुले में शौच से मुक्त बनाना है।
  • मशीनीकृत विकल्पों और सख्त कानूनी उपायों पर जोर देते हुए हाथ से मैला ढोने की प्रथा का उन्मूलन एक प्रमुख उद्देश्य है।
  • स्वच्छ भारत अभियान उचित ठोस अपशिष्ट प्रबंधन पर जोर देता है, बायोडिग्रेडेबल और गैर-बायोडिग्रेडेबल कचरे को अलग करने की बात करता है।
  • व्यवहार परिवर्तन एक केंद्र बिंदु है, जो जागरूकता अभियानों के माध्यम से स्वच्छता के प्रति सामाजिक दृष्टिकोण में बदलाव को प्रोत्साहित करता है।
  • शौचालय निर्माण को सक्रिय रूप से बढ़ावा दिया जा रहा है, प्रोत्साहन और भागीदारी से इस प्रक्रिया में तेजी आ रही है।
  • स्वच्छता पर जोर दिया जाता है, शौचालयों के उपयोग को बढ़ावा दिया जाता है और स्वास्थ्यकर आदतें अपनाई जाती हैं।
  • स्थानीय निकाय स्थानीय आवश्यकताओं के साथ लक्ष्यों को ध्यान देते हुए, जमीनी स्तर पर अभियान को लागू करने में महत्वपूर्ण भूमिका निभाते हैं।
  • गैर-सरकारी संगठन और कॉर्पोरेट संस्थाएँ वित्तीय सहायता और स्वयंसेवी प्रयासों के माध्यम से योगदान करते हैं।
  • स्वच्छ भारत अभियान ने शौचालय निर्माण, अपशिष्ट प्रबंधन और स्वच्छता के बारे में जागरूकता बढ़ाने में उल्लेखनीय प्रगति की है।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (100 – 200 शब्द)

स्वच्छ भारत अभियान, जिसे स्वच्छ भारत मिशन भी कहा जाता है, भारत सरकार द्वारा 2 अक्टूबर 2014 को महात्मा गांधी की 145वीं जयंती पर शुरू किया गया था। इसका मुख्य उद्देश्य 2 अक्टूबर 2019 को महात्मा गांधी के 150वीं जयंती तक भारत को पूर्ण रूप से स्वच्छ और स्वस्थ बनाना है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अभियान की शुरुआत की और इसे जन आंदोलन का रूप दिया। इस अभियान के अंतर्गत स्कूलों, सरकारी ऑफिसेस, अस्पतालों, सार्वजनिक स्थानों और सड़कों की सफाई पर जोर दिया गया। लेकिन शौचालयों का निर्माण और खुले में शौच को समाप्त करना इस अभियान के प्रमुख उद्देश्यों में से एक था।

इस अभियान के कारण हमारे आसपास की सफाई में काफी सुधार हुआ है, लोग अब अधिक जिम्मेदार हो गए हैं और गंदगी फैलाने से बचते हैं। कई जगहों पर कूड़ेदान लगाए गए हैं और कचरा प्रबंधन के लिए नई योजनाएँ भी बनाई गई हैं। हम सभी को इस अभियान में अपना योगदान देना चाहिए। स्वच्छता न केवल हमारे स्वास्थ्य के लिए अच्छी है बल्कि यह पर्यावरण की रक्षा भी करती है। अगर हम सब मिलकर कोशिश करें तो हम महात्मा गांधी के स्वच्छ भारत के सपने को साकार कर सकते हैं। स्वच्छ भारत अभियान से न केवल हमारा भारत साफ और स्वच्छ होगा बल्कि हम सभी स्वस्थ और खुशहाल जीवन जी सकेंगे।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध – 2 (300 – 400 शब्द)

स्वच्छ भारत अभियान, भारत को स्वच्छ रखने के लिए एक मुहीम है जिसे भारत सरकार द्वारा महात्मा गांधी के स्वच्छता के सपने को साकार करने के लिए शुरू किया गया था, यह अभियान गांधी जी के जन्मदिन पर 2 अक्टूबर 2014 को प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा राजघाट, नई दिल्ली में बापू के समाधि स्थल पर सफाई करके की गयी थी। इस सफाई अभियान का उद्देश्य 2019 तक मतलब महात्मा गांधी के 150वीं जयंती तक पूरे भारत को खुले में शौच से मुक्त व स्वच्छ बनाने का था।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य

यह अभियान दो मुख्य घटकों (ग्रामीण क्षेत्रों के लिए स्वच्छ भारत मिशन और शहरी क्षेत्रों के लिए स्वच्छ भारत मिशन) के अंतर्गत लांच किया गया था। इसके लिए कई महत्वपूर्ण कदम उठाए गए जैसे बड़े पैमाने पर ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में शौचालयों का निर्माण तथा ग्रामीण इलाकों में लोगों को शौचालयों के उपयोग और स्वच्छता के महत्व के बारे में जागरूक करना। साथ ही साथ सार्वजनिक स्थानों जैसे पार्क, रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड और सड़कों की सफाई पर भी जोर दिया गया। बच्चों और युवाओं में जागरूकता फैलाने के लिए विभिन्न प्रतियोगिताओं और गतिविधियों का भी आयोजन किया गया।

समाज में स्वच्छता के प्रति जागरूकता बढ़ाने और लोगों को ज्यादा से ज्यादा प्रेरित करने के लिए स्वच्छता की दिशा में महत्वपूर्ण योगदान देने वालों को सम्मानित भी किया गया। इस अभियान में न केवल सरकारी संस्थानों बल्कि निजी संगठनों, गैर-सरकारी संगठनों (एनजीओ) और आम जनता ने भी बढ़-चढ़ कर भाग लिया।

स्वच्छ भारत मिशन के आंकड़े और होने वाले लाभ

स्वच्छ भारत मिशन के लिए बजट आवंटन लगभग ₹62,009 करोड़ (यानी 8.7 बिलियन डॉलर) था। 2014 से 2019 तक ग्रामीण क्षेत्रों में 100 मिलियन से अधिक शौचालयों का निर्माण किया गया। जिससे शौचालय वाले ग्रामीण घरों का प्रतिशत 2014 में 39% से बढ़कर 2019 तक लगभग 100% हो गया।

वहीं शहरी क्षेत्रों में लगभग 6.3 मिलियन घरेलू शौचालय और 600,000 सामुदायिक और सार्वजनिक शौचालय बनाए गए और शहरी क्षेत्रों के 97% वार्डों में घर-घर जाकर कचरा संग्रहण लागू किया गया। जिससे सॉलिड वेस्ट प्रोसेसिंग 2014 में 18% से बढ़कर 2020 तक लगभग 60% हो गया। बेहतर स्वच्छता और सफाई के कारण डायरिया संबंधी बीमारियां, मिट्टी से फैलने वाले कृमि और कुपोषण में कमी आई है। बेहतर स्वच्छता के कारण उत्पादकता में वृद्धि हुई है और स्वास्थ्य सेवा लागत में कमी भी आई है।

विश्व स्वास्थ्य संगठन के अनुसार 2014 की तुलना में 2019 में डायरिया से लगभग 300,000 कम मौतें हुईं, जिसकी वजह है बेहतर स्वच्छता। खुले में शौच से मुक्त होने वाले गांवों के परिवारों को स्वास्थ्य लागत पर लगभग 50,000 रुपये वार्षिक बचत हुई। ओडीएफ की वजह से उन क्षेत्रों में भूजल प्रदूषण में भी कमी हुई है। और स्वच्छता सुविधाओं की वजह से लगभग 93% महिलाएं घर पर सुरक्षित महसूस करती हैं।

शुरुवात में इस अभियान ने गजब का सामाजिक क्रांति लाया लेकिन समय बीतते इस अभियान को लेकर लोगों में ज्यादा क्रेज नहीं रह गया है। हालांकि, काफी हद तक देशभर में स्वच्छता की सोच और व्यवहार की दिशा में परिवर्तन हुआ है। लोग पहले से कहीं ज्यादा स्वच्छता के महत्व को समझने लगे हैं और अपने आस-पास के क्षेत्रों को साफ सुथरा रखने का प्रयास कर रहे हैं।

स्वच्छता को लेकर लोगों में जो उदासीनता थी, अब वह बदल गई है। लोग समझ चुके हैं कि स्वच्छता केवल सरकार की जिम्मेदारी नहीं है, बल्कि यह प्रत्येक नागरिक का कर्तव्य है। लेकिन इस अभियान को, स्वच्छता की सोच को लोगों में जिन्दा रखने के लिए सरकार को समय समय पर प्रयत्न करते रहना पड़ेगा ताकि लोग स्वच्छता के महत्व को समझते रहें और अपने देश को स्वच्छ और सुंदर बनाए रखने का प्रयास करते रहें।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (600 शब्द)

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत सरकार ने देश में स्वच्छता के प्रति जागरुकता लाने के लिये की है। हम ऐसे तो अपना घर साफ रखते हैं, तो क्या यह हमारी जिम्मेदारी नहीं बनती कि हम अपने देश को भी साफ रखें। कूड़े को यहां-वहां न फेक कर कूड़ेदान में डालें। महात्मा गाँधी जी ने स्वच्छ भारत का सपना देखा था, जिसके संदर्भ में गाँधीजी ने कहा कि, ”स्वच्छता स्वतंत्रता से ज्यादा जरुरी है” वे उस समय देश में व्याप्त गरीबी और गंदगी से अच्छी तरह अवगत थे, इसी वजह से उन्होंने अपने सपने को पूरा करने के लिये कई प्रयास भी किये, लेकिन सफल नहीं हो पाए।

स्वच्छ भारत अभियान क्या है ?

स्वच्छ भारत अभियान एक राष्ट्रीय स्वच्छता मुहिम है जो भारत सरकार द्वारा स्थापित किया गया है, इसके तहत 4041 सांविधिक नगरों के सड़क, पैदल मार्ग और अन्य कई स्थल आते है। ये एक बड़ा आंदोलन है जिसके तहत भारत को 2019 तक पूर्णंत: स्वच्छ बनाने की बात कही गयी थी। इस मिशन को 2 अक्टूबर 2014 (145वीं जन्म दिवस) को बापू के जन्म दिन के शुभ अवसर पर आरंभ किया गया था और 2 अक्टूबर 2019 (बापू के 150वीं जन्म दिवस ) तक पूरा करने का लक्ष्य रखा गया है। भारत के शहरी विकास तथा पेयजल और स्वच्छता मंत्रालय द्वारा इस अभियान को ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में लागू किया गया है।

स्वच्छ भारत अभियान की जरुरत

इस मिशन की कार्यवाही निरंतर चलती रहनी चाहिये। भौतिक, मानसिक, सामाजिक और बौद्धिक कल्याण के लिये भारत के लोगों में इसका एहसास होना बेहद आवश्यक है। ये सही मायनों में भारत की सामाजिक स्थिति को बढ़ावा देने के लिये है, जो हर तरफ स्वच्छता लाने से शुरु किया जा सकता है। यहाँ नीचे कुछ बिंदु उल्लिखित किये जा रहे है जो स्वच्छ भारत अभियान की आवश्यकता को दिखाते है।

  • ये बेहद जरुरी है कि भारत के हर घर में शौचालय हों, साथ ही खुले में शौच की प्रवृति को भी खत्म करने की आवश्यकता है।
  • नगर निगम के कचरे का पुनर्चक्रण और दुबारा इस्तेमाल, सुरक्षित समापन, वैज्ञानिक तरीके से मल प्रबंधन को लागू करना।
  • खुद के स्वास्थ्य के प्रति भारत के लोगों की सोच और स्वभाव में परिवर्तन लाना और साफ-सफाई की प्रक्रियों का पालन करना।
  • ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों में वैश्विक जागरुकता लाने करने के लिये और सामान्य लोगों को स्वास्थ्य से जोड़ने के लिये।
  • इसमें काम करने वाले लोगों को स्थानीय स्तर पर कचरे के निष्पादन का नियंत्रण करना, खाका तैयार करने के लिये मदद करना।
  • पूरे भारत में साफ-सफाई की सुविधा को विकसित करने के लिये निजी क्षेत्रों की हिस्सेदारी को बढ़ाना।
  • भारत को स्वच्छ और हरियाली युक्त बनाना।
  • ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाना।
  • स्वास्थ्य शिक्षा के माध्यम से समुदायों और पंचायती राज संस्थानों को निरंतर साफ-सफाई के प्रति जागरुक करना।

स्वच्छ भारत – स्वच्छ विद्यालय अभियान

ये अभियान केन्द्रिय मानव संसाधन मंत्रालय द्वारा चलाया गया और इसका उद्देश्य भी स्कूलों में स्वच्छता लाना है। इस कार्यक्रम के तहत 25 सितंबर 2014 से 31 अक्टूबर 2014 तक केंद्रिय विद्यालय और नवोदय विद्यालय संगठन जहाँ कई सारे स्वच्छता क्रिया-कलाप आयोजित किये गए जैसे विद्यार्थियों द्वारा स्वच्छता के विभिन्न पहलूओं पर चर्चा, इससे संबंधित महात्मा गाँधी की शिक्षा, स्वच्छता और स्वाथ्य विज्ञान के विषय पर चर्चा, स्वच्छता क्रिया-कलाप(कक्षा में, पुस्तकालय, प्रयोगशाला, मैदान, बागीचा, किचन, शेड दुकान, खानपान की जगह इत्यादि)। स्कूल क्षेत्र में सफाई, महान व्यक्तियों के योगदान पर भाषण, निबंध लेखन प्रतियोगिता, कला, फिल्म, चर्चा, चित्रकारी, तथा स्वाथ्य और स्वच्छता पर नाटक मंचन आदि। इसके अलावा सप्ताह में दो बार साफ-सफाई अभियान चलाया जाना जिसमें शिक्षक, विद्यार्थी, और माता-पिता सभी हिस्सा लेंगे।

हम कह सकते है कि इस वर्ष के हमारे लक्षय में हम काफी हद तक सफल हो गये हैं। जैसा कि हम सभी ने कहावत में सुना है ‘स्वच्छता भगवान की ओर अगला कदम है’। हम विश्वास के साथ कह सकते है कि, अगर भारत की जनता प्रभावी रुप से इसका अनुसरण करे तो आने वाले समय में, स्वच्छ भारत अभियान से पूरा देश भगवान का निवास स्थल सा बन जाएगा। एक सच्चे नागरिक होने का हमारा कर्तव्य है कि, न गंदगी फैलाएं न फैलाने दें। देश को अपने घर कि तरह चमकाएं ताकि आप भी गर्व से कह सकें की आप भारतवासी हैं।

Essay on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi

FAQs: Frequently Asked Questions on Swachh Bharat Abhiyan (स्वच्छ भारत अभियान पर अक्सर पूछे जाने वाले प्रश्न)

उत्तर- महात्मा गांधी व नरेंद्र मोदी को।

उत्तर- घर-घर में शौचालय का निर्माण।

उत्तर- समाज में स्वच्छता के प्रति जागरूकता बढ़ाना, बड़े पैमाने पर ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में शौचालयों का निर्माण तथा ग्रामीण इलाकों में लोगों को शौचालयों के उपयोग और स्वच्छता के महत्व के बारे में जागरूक करना। साथ ही साथ सार्वजनिक स्थानों जैसे पार्क, रेलवे स्टेशन, बस स्टैंड और सड़कों की सफाई पर भी जोर देना। स्वच्छ भारत अभियान का मुख्य उद्देश्य है।

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Essay On Swachh Bharat Abhiyan In Hindi (100, 200, 300, 500, 700, 1000 Words)

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 1 (100 शब्द) :.

स्वच्छ भारत अभियान एक अभियान नहीं एक मिशन है जिसके द्वारा पूरे भारत को स्वच्छ और सुंदर बनाया जा सकता है। प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने 2 अक्तूबर, 2014 को महात्मा गाँधी जी की 145वीं जयंती के उपलक्ष्य में इस अभियान को अधिकारिक तौर पर नई दिल्ली के राजघाट पर शुरू किया था।

भारत सरकार ने इस अभियान को राष्ट्रिय स्तर पर लागू किया है जिसमें शहरों, देशों, ग्रामीण क्षेत्रों आदि की साफ-सफाई की जाएगी। स्वच्छ भारत अभियान में शौचालयों का निर्माण, गलियों का निर्माण, सडकों का निर्माण, देश के बुनियादी ढांचे को बदलना आदि स्वच्छता कार्यक्रमों को बढ़ावा दिया जाएगा जिससे ग्रामीण क्षेत्रों को भी आगे लाया जा सके।

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 2 (200 शब्द) :

स्वच्छ भारत अभियान को नरेंद्र मोदी जी ने एक राष्ट्रव्यापी सफाई अभियान के रूप में शुरू किया था जिसे स्वच्छ भारत की कल्पना की दृष्टि से लागू किया गया था। स्वच्छ भारत का सपना गाँधी जी का था जिसका अर्थ था पूरे भारत का स्वच्छ होना।

महात्मा गाँधी जी ने स्वच्छ भारत के मिशन को पूरा करने के लिए बहुत प्रयत्न किए लेकिन उस समय पर लोगों को स्वच्छ भारत मिशन में कोई दिलचस्पी नहीं थी जिसकी वजह से गाँधी जी का सपना पूरा नहीं हुआ था इसलिए भारत सरकार ने गाँधी जयंती के दिन महात्मा गाँधी जी के स्वच्छ भारत के सपने के लिए स्वच्छ भारत अभियान की घोषणा की।

स्वच्छ भारत अभियान को गाँधी जी की 145वीं जयंती पर 2 अक्तूबर, 2014 को शुरू किया गया। स्वच्छ भारत अभियान में भाग लेना सभी लोगों के लिए एक बहुत बड़ी चुनौती है क्योंकि इस मिशन को केवल तभी सफल बनाया जा सकता है जब सभी लोग साथ मिलकर इसमें भाग लेंगे। स्वच्छ भारत अभियान को सफल बनाने के लिए बहुत सारे नेताओं, अभिनेताओं, अभिनेत्रियों और आम जनता ने अपना पूरा योगदान दिया है। इस मिशन के लिए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी जी ने जितने हो सकें सफल प्रयास किए हैं।

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 3 (300 शब्द) :

भूमिका : स्वच्छ भारत अभियान हमारे प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के द्वारा चलाया गया एक स्वच्छता अभियान है जिसमें सभी जगहों की गंदगी को साफ करके स्वच्छ किया जाता है उसे ही स्वच्छता अभियान कहा जाता है। स्वच्छ भारत अभियान को  राष्ट्रिय स्तर पर लागू किया गया था जो भारत सरकार के द्वारा चलाया गया है। यह अभियान सभी जगह की परस्पर सफाई के लिए चलाया गया है। इस अभियान के द्वारा पूरे भारत देश की स्वच्छ बनाया जा सकता है और देश को फिर से सोने की चिड़िया बनाया जा सकता है।

स्वच्छ भारत अभियान : स्वच्छ भारत अभियान को 2 अक्तूबर, 2014 गाँधी जयंती के दिन शुरू किया गया था जो गाँधी जी का ही सपना था लेकिन उन्हें इस सपने में विफलता प्राप्त हुई थी इसलिए भारत सरकार ने इसे सफल करने के लिए इस अभियान की शुरुआत की। स्वच्छ भारत अभियान को स्वच्छ भारत मिशन और स्वच्छता अभियान के नाम से भी जाना जाता है।

स्वच्छ भारत अभियान के तहत 4041 सांविधिक नगरों में शौचालय, सड़क, गली, पैदल मार्ग, और भी कई स्थल आते हैं। स्वच्छ भारत अभियान एक ऐसा अभियान है जिसके द्वारा भारत को साल 2019 तक पूरी तरह से साफ कर दिया जाएगा। स्वच्छ भारत अभियान के द्वारा पूरे भारत को स्वच्छ, स्वस्थ और सुखी जीवन के योग्य बनाया जा सकता है।

उपसंहार : स्वच्छ भारत अभियान को सभी राज्यों, देशों और गरीब क्षेत्रों की साफ-सफाई के लिए शुरू किया गया है। स्वच्छ भारत अभियान को शुरू करने के पीछे एक बहुत ही खास उद्देश्य है जो भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी से जुड़ा हुआ है।

महात्मा गाँधी जी का सपना था कि हमारा भारत भी दूसरे राज्यों की तरह साफ-सुथरा हो इसलिए गाँधी जी के स्वच्छ भारत के सपने को सच करने के लिए प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की जिसके द्वारा भारत को स्वच्छ और सुंदर बनाया जा सके।

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 4 (400 शब्द) :

भूमिका : स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार के द्वारा पूरे भारत को स्वच्छ करने के लिए चलाया गया एक स्वच्छता अभियान है। स्वच्छ भारत अभियान को अधिकारिक तौर पर 2 अक्तूबर, 2014 को महात्मा गाँधी जी की 145वीं जयंती पर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने शुरू किया था। गाँधी जयंती के दिन जहाँ पर गाँधी जी का अंतिम संस्कार हुआ था वहीं पर इस अभियान की घोषणा की गई थी। अगर स्वच्छ भारत अभियान को समर्थन दिया गया तो साल 2019 तक पूरा भारत स्वच्छ और सुंदर बन जाएगा।

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत : स्वच्छ भारत अभियान को महात्मा गाँधी जी के स्वच्छ भारत के सपने को पूरा करने के लिए चलाया गया है क्योंकि गाँधी जी अपने देश की गरीबी और गंदगी से बहुत अच्छी तरह अवगत थे इसलिए वे अपने देश को स्वच्छ करना चाहते थे लेकिन उस समय लोगों की इस विषय में रूचि नहीं थी इसलिए गाँधी जी का उद्देश्य सफल नहीं हो पाया था लेकिन भारत सरकार ने 2 अक्तूबर, 2014 को महात्मा गाँधी जी की 145वीं जयंती के दिन शुरू किया गया।

इस मिशन का सबसे पहला स्वच्छता अभियान 25 सितंबर, 2014 को प्रधानमंत्री जी के द्वारा पहले ही शुरू किया जा चुका था। इस अभियान का उद्देश्य सफाई व्यवस्था की समस्या का हल निकालकर सभी को स्वच्छता की सुविधा का महत्व बताना है।

स्वच्छ भारत अभियान की जरुरत : अपने आसपास की स्वच्छता हर नागरिक की जिम्मेदारी होती है जिसे अगर नागरिक न निभाए तो देश में गंदगी-ही-गंदगी होगी इसलिए देश को स्वच्छ करने के लिए हर नागरिक के समर्थन की जरुरत है। आजकल लोग कूड़ेदान में कचरा डालने की जगह पर इधर-उधर सडक पर कचरा फेंक देते हैं जिसकी वजह से भी गंदगी बढती है।

लोगों के भौतिक, मानसिक, सामाजिक और बौद्धिक कल्याण के लिए भारत में इसके प्रति जागरूकता लाना बहुत अधिक जरुरी है। आज के समय में शौचालय, कचरे का पुनर्चक्रण, आसपास स्वच्छता, आदि की बहुत अधिक जरुरत है।

उपसंहार : स्वच्छ भारत अभियान में किसी भी तरह की राजनीति का प्रयोग नहीं किया गया है लेकिन यह अभियान सभी लोगों को देशभक्ति की तरफ प्रेरित करता है। स्वच्छता रखना नागरिक का धर्म होता है जिसे उसे पूरी ईमानदारी के साथ निभाना चाहिए।

स्वच्छ भारत अभियान को सफल करने के लिए विश्व स्तर पर लोगों ने योगदान दिया है। विद्यार्थी और अध्यापक भी स्वच्छ भारत अभियान में उत्साह और उल्लास के साथ भाग ले रहे हैं ताकि उनका देश साफ-सुथरा बन सके।

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 5 (500 शब्द) :

भूमिका : स्वच्छ भारत अभियान को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के द्वारा गाँधी जी के स्वच्छ भारत के सपने को पूरा करने के लिए शुरू किया गया था। गाँधी जी ने लोगों को सफाई के प्रति प्रेरित करके और नारों के द्वारा अपने स्वच्छ भारत के सपने को साकार करने की कोशिश की थी लेकिन उस समय इसमें लोगों की रूचि न होने की वजह से वे असफल हो गए थे। महात्मा गाँधी जी की प्रेरणा के आधार पर भारत सरकार ने इस अभियान की शुरुआत की जिसके द्वारा स्वच्छ भारत के सपने को पूरा किया जा सके।

स्वच्छ भारत अभियान कब चलाया गया : स्वच्छ भारत अभियान को 2 अक्तूबर, 2014 को गाँधी जी की 145वीं जयंती पर नई दिल्ली के राजघाट (जहाँ पर गाँधी जी का अंतिम संस्कार हुआ था) में प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने शुरू किया था लेकिन इसकी शुरुआत सालों पहले महात्मा गाँधी जी ने कर दी थी जो सफल नहीं हो पाई थी क्योंकि उस समय लोगों को स्वच्छता जैसे अभियान में रूचि नहीं थी।

स्वच्छ भारत अभियान की घोषणा करने से पहले इस अभियान की पहल 25 सितंबर, 2014 को हो गई थी जिसके बाद 2 अक्तूबर, 2014 को स्वच्छ भारत अभियान की घोषणा की गई थी।

शहरी क्षेत्रों में अभियान : शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ भारत मिशन का लक्ष्य हर नगर में ठोस कचरा प्रबंधन की व्यवस्था की गई जिसके साथ-साथ लगभग एक करोड़ घरों को ढाई लाख से अधिक सार्वजनिक शौचालय और ढाई लाख सामुदायिक शौचालय उपलब्ध कराए गए हैं।

सामुदायिक शौचालयों के निर्माण की स्कीम रिहायशी इलाकों में की गई है जहाँ पर व्यक्तिगत शौचालय की उपलब्धता होना मुश्किल है और इसी तरह से सार्वजनिक शौचालयों को भी बस अड्डों, रेलवे स्टेशन, बाजार आदि पर जगह-जगह बनाया गया है।

(और पढ़ें :    स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध  ,  स्वच्छ भारत अभियान से जुडी कुछ महत्वपूर्ण बातें )

इस अभियान में ठोस कचरा प्रबंधन की लागत लगभग 7366 करोड़ रूपए है, 1828 करोड़ रूपए जन साधारण को जागरूक करने के लिए, 655 करोड़ रूपए सामुदायिक शौचालयों के लिए, 4165 करोड़ रूपए निजी शौचालयों के लिए खर्च किए गए हैं।

उपसंहार : स्वच्छ भारत अभियान को पूरे भारत की स्वच्छता के मिशन से शुरू किया गया था। स्वच्छ भारत अभियान सभी लोगों के लिए एक बहुत बड़ी चुनौती है क्योंकि स्वच्छ भारत का मिशन केवल तभी तक संभव हो सकता है जब तक भारत में रहने वाला हर एक व्यक्ति इसके प्रति अपनी जिम्मेदारी को समझे और इसे एक सफल अभियान बनाने के लिए अपना पूरा योगदान दे। इस अभियान की पहल भारतीय कलाकारों ने की थी जिसके बाद संपूर्ण भारत में इसका जागरूकता के रूप में प्रसार हुआ था।

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 6 (600 शब्द) :

भूमिका : स्वच्छ भारत अभियान को भारत सरकार ने एक विशाल जन आंदोलन के रूप में शुरू किया था जिसका उद्देश्य था पूरे भारत की साफ-सफाई को बढ़ावा देना। स्वच्छ भारत अभियान को साल 2019 तक एक स्वच्छ भारत का लक्ष्य मानकर 2 अक्तूबर, 2014 को प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने शुरू किया था।

स्वच्छ भारत अभियान को समर्थन देने के लिए बहुत से नेताओं ने बहुत से कानूनों को चलाया जिससे भारत में गंदगी न फैल सके। भारत में अधिक से अधिक पेड़ों को लगाया गया है जिससे भारत को हरियाली में बदला जा सके।

स्वच्छ भारत अभियान क्या है : स्वच्छ भारत अभियान एक बहुत बड़ा आंदोलन है जिसके द्वारा साल 2019 तक पूरे भारत को स्वच्छ बनाना है। स्वच्छ भारत अभियान को महात्मा गाँधी जी के स्वच्छ भारत के सपने को पूरा करने के लिए चलाया गया है जिसमें स्वस्थ और सुखी जीवन संभव सो सके। इस अभियान को 2 अक्तूबर, 2014 को महात्मा गाँधी जी की 145वीं जयंती पर नई दिल्ली के राजघाट पर घोषित किया गया था।

स्वच्छ भारत अभियान के द्वारा भारत के शहरी विकास, पेयजल और स्वच्छता मंत्रालय के तहत इस अभियान को ग्रामीण और शहरी दोनों क्षेत्रों में लागू किया गया है। इस अभियान के द्वारा सफाई व्यवस्था की समस्या का समाधान निकालने के साथ-साथ स्वच्छता की सुविधा का निर्माण करना भी है।

ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान : ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता लाने के लिए सरकार के द्वारा सन् 1999 में सबसे पहले निर्मल भारत अभियान की स्थापना की गई लेकिन इसका पुनर्गठन स्वच्छ भारत अभियान के रूप में 2 अक्तूबर, 2014 को हुआ था।

इस अभियान के द्वारा ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को खुले में शौच करने से रोकने, कचरे को जैविक खाद के रूप में प्रयोग करने, ठोस और द्रव कचरा प्रबंधन के लिए बहुत सी सुविधाएँ उपलब्ध कराई हैं जिससे ग्रामीण क्षेत्रों में भी उचित रूप से साफ-सफाई रह सके। इस अभियान के द्वारा लोगों के जीवन स्तर को भी सुधारा जाएगा।

अभियान का लोगों पर प्रभाव : स्वच्छ भारत अभियान का लोगों पर बहुत अधिक प्रभाव पड़ा है क्योंकि इस अभियान की वजह से बहुत से क्षेत्रों के लोगों के जीवन स्तर में सुधार किया गया है। लोगों की कुछ असुरक्षित और अस्वस्थ आदतों को बदला गया है ताकि वे सभी लोग स्वच्छ और स्वस्थ रह सकें।

सरकार द्वारा सफाई व्यवस्था, शौच व्यवस्था, सडक व्यवस्था, आदि को देखने के लिए कार्य समीतियाँ बनाई गई हैं जो अपने कामों पर विशेष ध्यान देती हैं। इस अभियान से पूरे भारत में स्वच्छता की लहर दौड़ पड़ी थी जिसने लोगों को बहुत अधिक प्रभावित किया क्योंकि अगर समाज स्वच्छ होगा तो उस समाज में रहने वाला हर एक व्यक्ति भी स्वच्छ और स्वस्थ रह सकता है जिसे सभी लोगों को आपस में मिलकर करने की जरुरत है।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य : स्वच्छ भारत अभियान को बहुत से उद्देश्यों की वजह से शुरू किया गया है जिसमें से इसके कुछ उद्देश्य हैं – खुले में शौच करने की प्रथा को समाप्त करना, अस्वास्थ्यकर शौचालयों को फ्लश शौचालय में बदलना, हाथों से मल की सफाई करने से रोकना, ठोस या द्रव कचरे का दुबारा से उपयोग करना, लोगों को अच्छी आदतों के लिए प्रेरित करना, सफाई के प्रति जागरूकता फैलाना, शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों में सफाई की व्यवस्था को अनुकूल बनाना और लोगों में भारत में निवेश करने के लिए रूचि रखने वाले सभी निजी क्षेत्रों के लिए वातावरण को अनुकूल बनाना है।

उपसंहार : स्वच्छ भारत अभियान को प्रधानमंत्री जी ने गाँधी जी के स्वच्छ भारत के सपने को पूरा करने के लिए शुरू किया था। इस अभियान को सफल बनाने के लिए लोगों ने बहुत से ऐसे तरीके ढूंढे हैं जो रूचि पूर्ण हैं जिसमें व्यक्ति सफाई के साथ-साथ आनंद भी प्राप्त कर सकता है।

इस अभियान के प्रसार के लिए सरकार ने किन्ही नौ लोगों का चुनाव किया जिसमें इन नौ लोगों में से प्रत्येक एक व्यक्ति को अपने साथ जुड़ने के लिए नौ लोगों को आमंत्रित करना होगा इसके बाद वे नौ लोग और नौ लोगों को आमंत्रित करेंगे जिससे सभी लोग इस योजना से जुड़ सकें।

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 7 (700 शब्द) :

भूमिका : स्वच्छ भारत अभियान को पूरे भारत में सफाई के उद्देश्य से चलाया गया था। स्वच्छ भारत अभियान की घोषणा करते समय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने लोगों से यह अपील की थी कि वे इस मिशन से जुड़े और दूसरे लोगों को भी इस मिशन से जुड़ने के लिए प्रेरित करें जिससे हमारा भारत देश दुनिया का सबसे अच्छा और स्वच्छ देश बन सके। इस अभियान की शुरुआत नरेंद्र मोदी जी ने खुद सफाई करके की थी जिससे लोग एक-दूसरे के मध्य अमीरी और गरीबी का भेदभाव न करें और इस योजना में अपना बढ़-चढ़कर योगदान दें।

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत : स्वच्छ भारत अभियान को नई दिल्ली के राजघाट पर 2 अक्तूबर, 2014 को महात्मा गाँधी जी की 145वीं जयंती को भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने गाँधी जी के सपने को पूरा करने के लिए शुरू किया था।

इस अभियान की शुरुआत सबसे पहले सन् 1999 में भारतीय सरकार के द्वारा निर्मल भारत अभियान के रूप में हुई थी लेकिन बाद में इस अभियान का पुनर्गठन करके इसे स्वच्छ भारत अभियान के रूप में दुबारा चलाया गया था। स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत पूरे भारत को साल 2019 तक पूरी तरह से स्वच्छ बनाने के उद्देश्य से हुई थी।

स्वच्छ भारत अभियान गाँधी जी का सपना : भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी जी ने पूरे भारत को एक स्वच्छ भारत बनाने का सपना देखा था क्योंकि महात्मा गाँधी जी भारत देश की गंदगी और गरीबी से अच्छी तरह से परिचित थे इसलिए वे कभी नारों से तो कभी लोगों से बात करके उन्हें स्वच्छता के लिए जागरूक करने की कोशिश करते थे लेकिन उस समय लोगों को इस विषय में रूचि नहीं थी इसलिए उस समय गाँधी जी का स्वच्छ भारत का सपना पूरा नहीं हो सका था। इसलिए गाँधी जी के स्वच्छ भारत के सपने को पूरा करने के लिए स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की गई।

स्वच्छ भारत अभियान की जरुरत : स्वच्छ भारत के सपने को पूरा करने के लिए भारत में स्वच्छ भारत अभियान का लगातार चलता रहना बहुत अधिक जरुरी है। पूरे भारत के भौतिक, मानसिक, सामाजिक और बौद्धिक कल्याण के लिए भारत के लोगों में सफाई और स्वच्छता के प्रति जागरूकता का एहसास होना बहुत अधिक जरुरी है। जो लोग ग्रामीण क्षेत्रों में रहते हैं उन्हें वैश्विक जागरूकता का एहसास नहीं होता है इसलिए उनमें वैश्विक जागरूकता का होना बहुत अधिक जरुरी है। ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन की गुणवत्ता को सुधारना बहुत अधिक जरुरी है।

स्वच्छ भारत विद्यालय अभियान : स्वच्छ भारत अभियान को केंद्रीय मानव संसाधन मंत्रालय द्वारा चलाया गया था और इसका उद्देश्य स्कूलों में स्वच्छता लाना है। इस अभियान के द्वारा केंद्रीय विद्यालय और नवोदय विद्यालय संगठन जहाँ पर बहुत सारे स्वच्छता क्रियाकलाप आयोजित किए गए हैं जैसे – विद्यार्थियों के द्वारा स्वच्छता के पहलुओं पर चर्चा करना, दूसरों को सफाई के प्रति जागरूक करना, स्वच्छता क्रियाकलाप आदि। स्कूल क्षेत्रों में सफाई, महान व्यक्तियों के योगदान पर भाषण, कला, फिल्म, चर्चा, चित्रकारी, स्वास्थ्य और स्वच्छता पर नाटक मंचन आदि आयोजित किए जाते हैं।

स्वच्छ भारत अभियान का प्रभाव : स्वच्छ भारत अभियान का पूरे भारत पर बहुत ही गहरा प्रभाव पड़ा है। इस अभियान को सफल करने के लिए उत्तर प्रदेश में सरकारी कार्यालयों में चबाने वाला पान, पान-मसाला, गुटका और अन्य प्रकार के तंबाकू उत्पादों पर प्रतिबंध लगा दिया गया था।

उत्तर प्रदेश में योगी ने जी इस पहल की शुरुआत सरकारी इमारत में अपनी पहली यात्रा करने के बाद की थी जब उन्होंने पान के दाग वाली दीवारों और कोनों को देखा था। स्वच्छ भारत अभियान से बहुत हद तक भारत देश में साफ-सफाई और स्वच्छता रखने की कोशिश की जा रही है।

उपसंहार : स्वच्छ भारत अभियान को सफल बनाने के लिए सरकार ने इंटरनेट का भी भरपूर प्रयोग किया है। इसमें सरकार ने लोगों से अनुरोध किया कि वे किसी जगह की सफाई करके उस जगह की फोटो को सोशल नेटवर्किंग साइट्स पर डाल दें और अन्य लोगों को इस योजना से जुड़ने के लिए प्रेरित करें। स्वच्छ भारत अभियान की निरंतरता को बनाए रखने के लिए योगी जी ने भी अपना पूरा योगदान दिया उन्होंने सफाई कार्यलय का निर्माण किया जिसके द्वारा गंदगी फैलाने वालो को जागरूक करके सफाई का महत्व समझाया।

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 8 (1000 शब्द) :

भूमिका : स्वच्छ भारत अभियान भारत को गंदगी रहित बनाने का एक अभियान है जिसे राष्ट्रिय आंदोलन के रूप में भारत सरकार के द्वारा चलाया गया था। इस अभियान को देश के 4041 सांविधिक नगर की आधारभूत संरचना, सडकें, गलियों आदि की साफ-सफाई के उद्देश्य से शुरू किया गया था।

गाँधी जी का मानना था कि स्वच्छता स्वतंत्रता से भी अधिक जरुरी है क्योंकि उस समय में वे अपने देश की गंदगी और गरीबी से बहुत ही अच्छी तरह से अवगत थे इसलिए भारत सरकार ने स्वच्छ भारत के सपने को पूरा करने के लिए ही स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की।

स्वच्छ भारत अभियान : स्वच्छ भारत अभियान एक राष्ट्रिय मुहीम है जिसे भारत सरकार के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी के द्वारा स्थापित किया गया है जिसके तहत 4041 सांविधिक नगरों के सड़क, पैदल मार्ग और अन्य कई स्थल आते हैं। स्वच्छ भारत अभियान एक बहुत बड़ा आंदोलन है जिसके तहत भारत को साल 2019 तक पूरी तरह स्वच्छ बना दिया जाएगा।

इस अभियान में स्वस्थ और सुखी जीवन के लिए महात्मा गाँधी जी के स्वच्छ भारत के सपने को आगे बढ़ाया गया है। स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य सफाई व्यवस्था की समस्याओं का समाधान निकालना है और साथ ही स्वच्छता की सुविधा के निर्माण के द्वारा भारत में अच्छी तरह से मल प्रबंधन करना है।

स्वच्छ भारत अभियान कब चलाया गया : स्वच्छता के लिए सबसे पहले सन् 1999 में निर्मल भारत अभियान चलाया गया था जो असफल रहा था उसके बाद इस अभियान का पुनर्गठन स्वच्छ भारत अभियान के रूप में किया गया था। स्वच्छ भारत अभियान को भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने नई दिल्ली के राजघाट (जहाँ पर गाँधी जी का अंतिम संस्कार हुआ था) पर 2 अक्तूबर, 2014 के दिन महात्मा गाँधी जी की 145वीं जयंती पर शुरू किया गया था। स्वच्छ भारत अभियान को एक उद्देश्य के साथ शुरू किया गया था कि भारत को साल 2019 तक पूरी तरह से स्वच्छ और साफ कर दिया जाएगा।

स्वच्छ भारत अभियान से जुड़े लोग : स्वच्छ भारत अभियान में प्रधानमंत्री जी ने नौ लोगों को चुना था जिनके नाम सलमान खान, अनिल अंबानी, कमल हसन, कॉमेडियन कपिल शर्मा, प्रियंका चोपड़ा, बाबा रामदेव, सचिन तेंदुलकर, शशि थरूर और तारक मेहता का उल्टा चश्मा की पूरी टीम।

इस अभियान के शुभारंभ पर भारतीय अभिनेता आमिर खान को आमंत्रित किया गया था। 8 नवंबर, 2014 को इस अभियान से कुछ और लोगों को जोड़ा गया जिनके नाम हैं, मोहम्द कैफ, सुरेश रैना, अखिलेश यादव, स्वामी रामभद्रचार्या, कैलाश खेर, राजू श्रीवास्तव, मनु शर्मा, देवी प्रसाद द्विवेदी, मनोज तिवारी आदि और 25 दिसंबर, 2014 को सौरव गांगुली, किरन बेदी, रामो जी राव, सोनल मानसिंह, पदमानभा आचार्या आदि को स्वच्छ भारत अभियान का हिस्सा बनाया गया था।

स्वच्छ भारत अभियान की जरुरत : स्वच्छ भारत अभियान के द्वारा लोगों में बौद्धिक, मानसिक, भौतिक और सामाजिक कल्याण का एहसास दिलाया जा सकता है। भारत के हर घर में शौचालय होना चाहिए ताकि खुले में शौच की प्रवृति बंद हो सके। भारत के अस्वास्थ्यकर शौचालयों को पानी से बहने वाले शौचालयों में बदलने की बहुत अधिक जरुरत है।

हाथ से की जाने वाली सफाई व्यवस्था को खत्म किया जाना चाहिए। देश के कचरे का पुनर्चक्रण और दुबारा इस्तेमाल, सुरक्षित समापन, सुरक्षित मल समापन का प्रबंधन को लागू करना चाहिए। भारत में सफाई की सुविधा को विकसित करने के लिए निजी क्षेत्रों की भागीदारी को बढ़ाना बहुत अधिक जरुरी है। भारत को स्वच्छ और हरियाली युक्त बनाने के लिए स्वच्छ भारत अभियान बहुत अधिक आवश्यक है।

शहरी क्षेत्रों में अभियान : शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान के द्वारा सभी 1.04 करोड़ घरों को 2.6 लाख सार्वजनिक शौचालय, 2.5 लाख सामुदायिक शौचालय उपलब्ध कराए गए हैं। सामुदायिक शौचालय के निर्माण की स्कीम रिहायशी इलाकों में की गई है जहाँ पर व्यक्तिगत शौचालय की मौजूदगी मुश्किल होती है इसी तरह सार्वजनिक शौचालय को बस अड्डों, रेलवे स्टेशन, बाजार जैसे स्थानों पर स्थापित किया गया है।

शहरी क्षेत्रों में स्वच्छता कार्यक्रम पांच साल के अंदर पूरा करने की योजना बनाई गई है। शहरी क्षेत्रों में खुले में शौच की प्रवृति को खत्म करना, अस्वास्थ्यकर शौचालयों को पानी से बहने वाले शौचालयों में बदलना, हाथों से सफाई की प्रवृति को खत्म करना और लोगों को सफाई के प्रति जागरूक करना है।

ग्रामीण क्षेत्रों में अभियान : स्वच्छ भारत अभियान में ग्रामीण क्षेत्रों को स्वच्छ बनाने के लिए भारत सरकार ने निर्मल भारत अभियान को शुरू किया उसके बाद इस अभियान का पुनर्गठन करके स्वच्छ भारत अभियान को शुरू किया गया। ग्रामीण क्षेत्रों में लोगों को खुले में शौच करने की प्रवृति को खत्म करने के लिए 11 करोड़, 11 लाख रूपए और शौचालयों के निर्माण के लिए लगभग एक लाख करोड़ रूपए खर्च किए गए हैं।

सरकार के द्वारा कचरे को जैविक खाद और फिर से प्रयोग करने के योग्य ऊर्जा में बदल दिया जाता है जिसमें ग्राम पंचायत, जिला परिषद, पंचायत समीति की बहुत अधिक हिस्सेदारी है। स्वच्छता की सभी सुविधाओं को निरंतर उपलब्ध कराने के लिए पंचायती राज संस्थान और समुदाय को प्रेरित करते रहना चाहिए। ग्रामीण क्षेत्रों में लगातार स्वच्छता और पारिस्थितिक सुरक्षा को प्रोत्साहित करना चाहिए।

स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान : स्वच्छ भारत अभियान के तहत 25 सितंबर, 2014 से 31 अक्तूबर, 2014 तक केंद्रीय विद्यालय और नवोदय विद्यालय संगठन जहाँ पर बहुत सारे स्वच्छता क्रियाकलाप आयोजित किए गए हैं जैसे – विद्यार्थियों द्वारा स्वच्छता के पहलुओं पर चर्चा, महात्मा गाँधी की शिक्षा, स्वच्छता और स्वास्थ्य विज्ञान के विषय पर चर्चा, स्वच्छता क्रियाकलाप आदि।

स्वच्छ भारत अभियान के द्वारा स्कूली क्षेत्रों की सफाई, महान व्यक्तियों के योगदान पर भाषण, निबंध लेखन प्रतियोगिता, कला, फिल्म, चर्चा, चित्रकारी और स्वच्छता पर नाटक मंचन आदि किया जाता है।

स्वच्छ भारत अभियान के नारे :

1. क्या दोगे आने वाले को? पूर्वजों से तुम्हे स्वतंत्र आसमान मिला, न करो कोई बड़ा वादा, बस दो स्वच्छ आसमा की छाया। 2. अब सबकी बस एक ही पुकार, स्वच्छ भारत हो यार। 3. आओ मिलजुलकर खुशिया मनाये, भारत को स्वच्छ बनाये। 4. एक कदम स्वच्छता की ओर। 5. सफाई से खुद को स्वच्छ बनाना है स्वच्छता से पूरे विश्व में अपनी पहचान बनाना है। 6. जागो युवा जागो स्वच्छ भारत है तुम्हारा अधिकार, लेकिन उठाओ पहले कर्तव्य का भार। 7. गाँव-गाँव गली-गली ऐसी ज्योति जलाएंगे, पूरे भारत को स्वच्छ बनायेंगे। 8. स्वच्छ भारत है एक बड़ा अभियान, सब मिलके करे अपना योगदान। 9. स्वच्छता अपनाना है समाज में खुशियाँ लाना है। 10. स्वच्छता ही है देश का सौंदर्य, जिसे लाना है हमारा कर्तव्य। 11. बापू का घर-घर पहुंचे संदेश, स्वच्छ और सुंदर हो अपना देश। 12. चलाओ जोरों से स्वच्छता अभियान, तभी तो बनेगा हमारा भारत महान। 13. अब हर भारतियों ने मन में यही ठाना है पूरे भारत को स्वच्छ बनाना है। 14. कदम-से-कदम मिलाओ स्वच्छता की तरफ हाथ बढाओ। 15. युवा शक्ति है सब पर भारी, चलो करो अब स्वच्छ भारत की तैयारी। 16. खूबसूरत होगा देश का हर छोर, क्यूंकि कम करेंगे गंदगी चारो ओर। 17. एक नया सवेरा लायेंगे, पूरे भारत को स्वच्छ और सुंदर बनायेंगे। 18. स्वच्छता का रखना हमेशा ध्यान, तभी तो बनेगा हमारा भारत महान। 19. स्वच्छ भारत अभियान में सब मिल जाओ, मिलकर सब अपने प्यारे भारत को स्वच्छ बनाओ। 20. गांधीजी के सपनों का भारत बनायेंगे, चारों तरफ स्वच्छता फैलाएँगे। 21. युवा शक्ति है सब पे भारी, उठाओ झाड़ू गंदगी बाहर करो सारी। 22. करो कुछ ऐसा काम, कि स्वच्छ भारत के चलते हो विश्व में भारत की शान। 23. कदम-से-कदम बढ़ाते जाओ, स्वच्छता की तरफ मिलकर जुट जाओ। 24. आओ मिलकर सबको जगाये, गंदगी को स्वच्छता से दूर भगाए। 25. देश भी साफ हो, जिसमें सबका साथ हो। 26. सीमा पर लड़ना ही नहीं है देशभक्ति का नाम, स्वच्छ बने देश करो ऐसा काम।

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Swachh Bharat Abhiyan Essay : स्टूडेंट्स के लिए ‘स्वच्छ भारत अभियान’ पर निबंध

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  • Updated on  
  • जुलाई 2, 2024

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

स्वच्छ भारत अभियान को स्वच्छ भारत मिशन भी कहा जाता है। यह भारत सरकार द्वारा चलाया जाने वाला एक राष्ट्रीय स्तर का अभियान है, जिसका उद्देश्य सभी शहरों को स्वच्छ बनाना है। यह एक सामान्य विषय है जिसे आम तौर पर छात्रों को उनके स्कूलों में स्वच्छ भारत या स्वच्छ भारत अभियान पर कुछ लिखने या कहने के लिए दिया जाता है। यहां हम स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi) दे रहे हैं जिससे स्टूडेंट्स स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध लेखन प्रतियोगिता में भाग ले सकते हैं।

This Blog Includes:

Swachh bharat abhiyan पर निबंध 100 शब्दों में, swachh bharat abhiyan पर निबंध 200 शब्दों में  , स्वच्छ भारत अभियान क्या है, स्वच्छ भारत अभियान के उद्देश्य, स्वच्छ भारत अभियान की उपलब्धियां, स्वच्छ भारत मिशन पर 10 लाइन्स , स्वच्छ भारत मिशन पर कोट्स (swachh bharat abhiyan quotes in hindi), स्वच्छ भारत अभियान से जुड़े कुछ तथ्य .

100 शब्दों में Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi इस प्रकार हैः

स्वच्छ भारत अभियान को स्वच्छ भारत मिशन भी कहा जाता है। यह भारत सरकार द्वारा चलाया जाने वाला एक राष्ट्रीय स्तर का अभियान है, जिसका उद्देश्य सभी शहरों को स्वच्छ बनाना है। इस अभियान में शौचालयों का निर्माण, ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता कार्यक्रमों को बढ़ावा देना, गलियों और सड़कों की सफाई करना और देश के बुनियादी ढांचे को बदलना शामिल है, ताकि देश को आगे बढ़ाया जा सके। इस अभियान की आधिकारिक शुरुआत प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2 अक्टूबर 2014 को महात्मा गांधी की 145वीं जयंती पर राजघाट, नई दिल्ली में की थी। स्वच्छ भारत अभियान के माध्यम से, हम एक स्वस्थ और स्वच्छ भविष्य की ओर कदम बढ़ा रहे हैं।

200 शब्दों में Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi इस प्रकार हैः

‘स्वच्छ भारत अभियान’ या ‘स्वच्छ भारत मिशन’ भारत सरकार द्वारा भारत को स्वच्छ बनाने के लिए शुरू की गई एक पहल है। स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार द्वारा 2 अक्टूबर 2014 को शुरू किया गया था। इस अभियान का मुख्य उद्देश्य भारत को स्वच्छ और स्वस्थ बनाने के लिए जागरूकता फैलाना है।

स्वच्छ भारत अभियान के तहत, लोगों को स्वच्छता के महत्व के बारे में शिक्षा दी जाती है, और उन्हें अपने घरों, स्कूलों, और सार्वजनिक स्थलों को स्वच्छ रखने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है। इसके अंतर्गत, शौचालय निर्माण, स्वच्छता अभियान, और जन-जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं।

स्वच्छ भारत अभियान के माध्यम से सार्वजनिक स्वच्छता को सुनिश्चित करने के साथ-साथ जल, हवा, और भूमि की रक्षा भी की जाती है। यह अभियान भारत के स्वास्थ्य और पर्यावरण को सुधारने के लिए एक महत्वपूर्ण कदम है।

स्वच्छ भारत अभियान ने लोगों की सजगता और सामाजिक सामर्थ्य को बढ़ावा दिया है और भारत को एक स्वच्छ और हरित भूगोल बनाने की दिशा में कदम बढ़ाया है।

स्वच्छ भारत अभियान के तहत कई सरकारी योजनाएं और कार्यक्रम भी चलाए जाते हैं, जैसे कि “स्वच्छता ही सेवा” अभियान और “स्वच्छ ग्रामीण भारत” कार्यक्रम। यह अभियान सामाजिक सांस्कृतिक बदलाव को भी प्रोत्साहित करता है, जिससे भारतीय समाज में स्वच्छता के मामूले में सुधार होता है। स्वच्छ भारत अभियान ने दुनिया भर में बड़े पैमाने पर स्वच्छता के प्रति लोगों की जागरूकता बढ़ाई है।   

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi (1)

Swachh Bharat Abhiyan पर निबंध 500 शब्दों में

Swachh Bharat Abhiyan पर निबंध 500 शब्दों में इस प्रकार है:

स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार की एक महत्वपूर्ण पहल है जो 2 अक्टूबर 2014 को महात्मा गांधी की जयंती के दिन शुरू हुई थी। इस अभियान का मुख्य उद्देश्य भारत को स्वच्छ और स्वस्थ बनाना है। यह भारतीय समाज को स्वच्छता की महत्वपूर्णता के प्रति जागरूक करने का प्रयास है और उन्हें स्वच्छता के मामूले में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए प्रोत्साहित करता है। 

इस अभियान के तहत, स्वच्छता को बढ़ावा देने के लिए लोगों को अपने घरों, स्कूलों, कामकाजी स्थलों, और सार्वजनिक स्थलों को स्वच्छ रखने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है। इसके अलावा, शौचालय निर्माण, स्वच्छता अभियान, और जन-जागरूकता कार्यक्रम आयोजित किए जाते हैं। 

स्वच्छ भारत अभियान भारत में अब तक का सबसे बड़ा स्वच्छता अभियान है, जिसके शुभारंभ के दौरान लगभग 30 लाख सरकारी कर्मचारियों और स्कूलों और कॉलेजों के छात्रों ने भाग लिया। शुभारंभ के दिन, प्रधानमंत्री ने भारत की नौ प्रसिद्ध हस्तियों के नाम नामित किए कि वे अपने क्षेत्रों में तय तिथियों पर अभियान की शुरुआत करें और आम जनता के बीच अभियान का प्रचार करें। उन्होंने सभी नौ हस्तियों से अनुरोध किया कि वे अपने क्षेत्र से नौ अन्य लोगों को व्यक्तिगत रूप से इस कार्यक्रम में भाग लेने के लिए आमंत्रित करें और नौ लोगों को आमंत्रित करने का यह सिलसिला तब तक जारी रखें जब तक कि यह संदेश हर भारतीय नागरिक तक न पहुंच जाए।

स्वच्छ भारत अभियान के मुख्य उद्देश्य इस प्रकार हैं:

  • स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाना: इस अभियान का प्रमुख उद्देश्य लोगों को स्वच्छता की महत्वपूर्णता के प्रति जागरूक करना है और उन्हें स्वच्छता के मामूले में सकारात्मक बदलाव लाने के लिए प्रोत्साहित करना है।
  • सार्वजनिक स्वच्छता सुनिश्चित करना: अभियान के तहत लोगों को उनके घरों, स्कूलों, कामकाजी स्थलों, और सार्वजनिक स्थलों को स्वच्छ रखने के लिए प्रोत्साहित किया जाता है, जिससे सार्वजनिक स्वच्छता को सुनिश्चित किया जाता है।
  • स्वास्थ्य में सुधार: यह अभियान स्वच्छता के माध्यम से बीमारियों को नियंत्रित करने में मदद करता है और भारतीय समुदाय के स्वास्थ्य को सुधारता है।
  • जल, हवा, और भूमि की रक्षा: इस अभियान के माध्यम से जल, हवा, और भूमि की रक्षा की जाती है, जिससे पर्यावरण को भी सुरक्षित रखा जा सकता है।
  •   सामाजिक सामर्थ्य को बढ़ावा: स्वच्छ भारत अभियान ने लोगों की सजगता और सामाजिक सामर्थ्य को बढ़ावा दिया है और समाज में स्वच्छता के मामूले में सुधार लाने में मदद की है।

स्वच्छ भारत अभियान के कई महत्वपूर्ण इस प्रकार हैं:

  • सार्वजनिक स्वच्छता में सुधार: अभियान के शुरू होते ही सार्वजनिक स्थलों की स्वच्छता में सुधार हुआ है, जैसे कि रेलवे स्थानक, बस डिपो, और अन्य सार्वजनिक स्थल।
  • देश में शौचालय निर्माण : अभियान के तहत देशभर में लाखों शौचालय बनाए गए हैं, जिससे जनमानस को स्वच्छ जीवनस्तर मिला है।
  • स्वच्छता ही सेवा: हर साल 2 अक्टूबर को स्वच्छता ही सेवा अभियान चलाया जाता है, जिसमें लोग स्वच्छता के लिए सेवा करने का प्रतिबद्ध रहते हैं।
  • स्वच्छ ग्रामीण भारत: अभियान के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में भी स्वच्छता को प्रमोट करने के लिए कई कार्यक्रम आयोजित किए गए हैं, जैसे कि ग्रामीण शौचालय निर्माण योजना।
  • स्वच्छ भारत-स्वस्थ भारत: इस अभियान ने भारत को स्वस्थ भारत के रूप में प्रमोट किया है, क्योंकि स्वच्छता और स्वास्थ्य के बीच गहरा संबंध होता है।
  • जन-जागरूकता: स्वच्छ भारत अभियान ने लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाई है और समुदाय के सदस्यों को इसके लिए सजग बनाया है।
  • स्वच्छता सर्वेक्षण: अभियान के अंतर्गत स्वच्छता सर्वेक्षण कार्यक्रम चलाया जाता है जिसके तहत स्वच्छता के प्रति लोगों के समुदायों की जांच की जाती है।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य लोगों में व्यवहार परिवर्तन लाना और स्वास्थ्य संबंधी व्यवहारों को प्रेरित करना, लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाना और सभी क्षेत्रों में सफाई व्यवस्था को मजबूत करना है। यह भारत में स्वच्छता बनाए रखने के लिए निवेश करने में रुचि रखने वाले सभी निजी क्षेत्रों के लिए उपयोगकर्ता के अनुकूल वातावरण बनाने में मदद करता है। रिपोर्ट्स और सर्वे के मुताबिक, इस अभियान का असर लगभग सभी हिस्सों में दिखने लगा है और सभी क्षेत्रों के लोगों की सक्रिय भागीदारी है।

स्वच्छ भारत अभियान के बारे में 10 लाइन्स इस प्रकार हैंः

  • स्वच्छ भारत अभियान भारतीय सरकार द्वारा शुरू की गई एक महत्वपूर्ण पहल है।
  • इसका मुख्य उद्देश्य भारत को स्वच्छ बनाना और सफाई के अच्छे प्रथाओं को प्रमोट करना है।
  • यह अभियान लोगों के बीच स्वच्छता के महत्व के बारे में जागरूकता बढ़ाता है।
  • इसके तहत, नागरिकों से अपने आस-पास की स्वच्छता बनाए रखने का आग्रह किया जाता है।
  • इस अभियान के तहत शौचालय निर्माण और सफाई अभियान जैसे कई पहल हैं।
  • स्वच्छ भारत अभियान ने सार्वजनिक स्वच्छता में दृश्यमान सुधार किया है।
  • यह ग्रामीण और शहरी क्षेत्रों में शौचालय निर्माण को बढ़ावा दिया है।
  • अभियान में स्वच्छता निरीक्षण शामिल है, जिसका उद्देश्य स्वच्छता मानकों का पालन सुनिश्चित करना है।
  • स्वच्छ भारत अभियान स्वस्थ और स्वच्छ भारत की ओर एक कदम बढ़ा रहा है।
  • यह अभियान सड़कों से लेकर सार्वजनिक स्थलों तक स्वच्छता के प्रति नागरिकों में जिम्मेदारी की भावना डालने में सफल रहा है।

स्वच्छ भारत मिशन के लिए कोट्स यहां दिए जा रहे हैं जो आपको स्वच्छता का महत्व बताएंगेः

“स्वच्छता ने ही स्वास्थ्य को मिलाने की कुंजी है।” – महात्मा गांधी

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

“स्वच्छ भारत ही समृद्ध भारत हो सकता है।” – नरेंद्र मोदी
“स्वच्छता का पालन करना हमारी जिम्मेदारी है, और यह नागरिकों की दायित्व है।” – एपीजे अब्दुल कलाम 
“स्वच्छता से जुड़ी शिक्षा सबसे महत्वपूर्ण शिक्षा है।” – महात्मा गांधी
“स्वच्छ भारत अभियान एक सपना नहीं, एक प्रतिबद्धता है।” – नरेंद्र मोदी

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

“स्वच्छता का पालन करना न सिर्फ हमारी देशभक्ति है, बल्कि हमारे स्वास्थ्य के लिए भी जरूरी है।” – महात्मा गांधी
“स्वच्छता का मतलब है, हमारे आस-पास की सब कुछ सुखद और शुद्ध हो।” – नरेंद्र मोदी
“स्वच्छता एक अच्छे जीवन का पहला कदम है।” – महात्मा गांधी
“स्वच्छ भारत की ओर हमारा कदम बढ़ाएं, क्योंकि यह हमारी जिम्मेदारी है।” – नरेंद्र मोदी
“स्वच्छ भारत अभियान केवल एक सरकारी पहल नहीं, बल्कि एक समाज की पहल भी है।” – एपीजे अब्दुल कलाम

यह भी पढ़ें: शिक्षक दिवस पर निबंध

स्वच्छ भारत अभियान (Swachh Bharat Abhiyan) से जुड़े कुछ तथ्य यहां दिए गए हैं:

  • अभियान की शुरुआत: “स्वच्छ भारत अभियान” का आरंभ प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा 2 अक्टूबर 2014 को किया गया था, महात्मा गांधी की जयंती के दिन।
  • मुख्य उद्देश्य: इस अभियान का मुख्य उद्देश्य भारत को स्वच्छ और स्वस्थ बनाना है, साथ ही स्वच्छता की महत्वपूर्णता के प्रति जागरूकता फैलाना है।
  • शौचालय निर्माण: इस अभियान के तहत लाखों शौचालय निर्मित किए गए हैं, जिससे सार्वजनिक जगहों पर शौच मुक्ति मिली है।
  • स्वच्छता सर्वेक्षण: स्वच्छता सर्वेक्षण कार्यक्रम के तहत स्वच्छता के प्रति लोगों के समुदायों की जांच की जाती है और स्वच्छता मानकों का पालन मापता जाता है।
  • स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत: इस अभियान ने स्वस्थ भारत को स्वच्छ भारत के साथ जोड़कर प्रमोट किया है, क्योंकि स्वच्छता और स्वास्थ्य में गहरा संबंध होता है।
  • स्वच्छ भारत अभियान का संदेश: “स्वच्छता ही सेवा” और “स्वच्छ भारत, स्वस्थ भारत” जैसे संदेशों के माध्यम से इस अभियान का प्रचार किया जाता है।

संबंधित ब्लाॅग्स 

स्वच्छ भारत मिशन – ग्रामीण, पेयजल सार्वभौमिक स्वच्छता प्राप्त करने के लिए किए जा रहे प्रयासों में तेजी लाने के लिए और स्वच्छता पर ध्यान केंद्रित करने हेतु भारत के प्रधान मंत्री ने 2 अक्टूबर 2014 को स्वच्छ भारत मिशन का आरंभ किया था।

भारत के प्रधान मंत्री श्री नरेन्द्र मोदी ने स्वच्छ भारत मिशन की नई दिल्ली, राजपथ पर शुरूआत करते हुए कहा था कि “एक स्वच्छ भारत के द्वारा ही देश 2019 में महात्मा गांधी की 150वीं जयंती पर अपनी सर्वोत्तम श्रद्धांजलि दे सकते हैं।” 2 अक्टूबर, 2014 को स्वच्छ भारत मिशन देश भर में व्यापक तौर पर राष्ट्रीय आंदोलन के रूप में शुरू किया गया था।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध लिखने के लिए आपको इसे बारे मे आवश्यक जानकारी प्राप्त करनी होगी। उसके बाद सभी महत्वपूर्ण बिंदुओं को मिलाकर निबंध लिखें। निबंध को एक ठोस संरचना दें, जैसे कि प्रस्तावना, मुख्य भाग, और निष्कर्षण। साफ, सुविधाजनक भाषा का प्रयोग करें और संयुक्ताक्षरों या विचारों को स्पष्टत: रूप से व्यक्त करें। अपने निबंध को समर्थन के लिए उपयुक्त स्रोतों से समर्थित करें। अपने दृष्टिकोण को व्यक्त करें, लेकिन दूसरों के खिलाफ वाद-विवाद से बचें। अपने निबंध को लिखने के बाद, इसे पुनः पढ़ें और सुधारें।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने 2 अक्तूबर 2014 को स्वच्छ भारत मिशन की शुरुआत की थी. यह महत्वाकांक्षी योजना दरअसल पहले की सरकार के केंद्रीय ग्रामीण स्वच्छता कार्यक्रम (1986-1999) और संपूर्ण स्वच्छता अभियान (1999) का बदला हुआ रूप है. संपूर्ण स्वच्छता अभियान का नाम 2012 में बदल कर निर्मल भारत अभियान कर दिया गया था। 

उम्मीद है कि आपको Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi के संदर्भ में हमारा यह ब्लॉग पसंद आया होगा। निबंध लेखन के अन्य ब्लॉग्स पढ़ने के लिए Leverage Edu के साथ बने रहें।

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध  – Essay in Hindi

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध in 100, 150, 200, 250 और 350 Words
  • स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध

स्वच्छ भारत अभियान का परिचय

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत, स्वच्छ भारत से जुड़ा महात्मा गाँधी जी का सपना.

  • स्वच्छ भारत अभियान के उद्देश्य
  • स्वच्छ भारत अभियान की आवश्यकता

देश के स्वच्छ न होने के कारण

  • देश को स्वच्छ रखने के उपाय
  • स्वच्छ भारत अभियान में शामिल मंत्रालय

स्वच्छ भारत अभियान के लिए चुने गए प्रभावी व्यक्ति

शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान, ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान, स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान.

Swachh Bharat Abhiyan Essay in English | Full Guide

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध – इस लेख में हम एक ऐसे विषय के बारे में बताएँगे जिसका हमारे समाज और देश के लिए तो महत्त्व है ही, साथ ही साथ हमारे निजी जीवन में भी बहुत अधिक महत्त्व रखता है। हम आज स्वच्छ भारत अभियान पर चर्चा करेंगे। यह लेख जितना परीक्षा के माध्यम से महत्वपूर्ण है, उतना ही महत्वपूर्ण इसकी जानकारी हमारे स्वास्थ्य के लिए भी है। हम आशा करते हैं कि इस लेख से आपको स्वच्छ भारत अभियान से जुड़ी सभी महत्वपूर्ण जानकारी मिलेगी, जो आपकी परीक्षा के साथ-साथ आपके स्वास्थ्य पर भी सकारात्मक प्रभाव डालेगी।

प्रस्तावना (Introduction)

भारत देश किसी जमाने में सोने की चिड़िया कहा जाता था,अपने वैभव और संस्कृति के लिए जाना जाता था। लेकिन समय के बदलाव के चलते हमारे देश पर कई बाहरी ताकतों ने राज किया, जिससे हमारी देश की हालत खराब हो गई। हमारे देश में स्वच्छता पर बिल्कुल भी ध्यान नहीं दिया जाता है। आपने देखा होगा कि हमारे देश का कोई भी बड़ा राज्य हो या शहर हो या फिर गांव हो या फिर कोई गली या मोहल्ला हो – वहां पर भी आपको कूड़ा करकट मिलेगा।

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हमारे देश के विकास में बाधा पहुंचाने वाली समस्याओं में एक मुख्य कारण गंदगी है क्योंकि इसके कारण लोग हमारे देश में आना पसंद नहीं करते हैं और जिससे हमारे देश को इतनी ख्याति नहीं मिलती है। हमारा देश भी पूर्णतया स्वच्छ हो, इसके लिए कई महापुरुषों ने सपने देखे थे और उन्हें साकार करने की भी कोशिश की थी लेकिन वह किसी कारण सफल नहीं हो पाए। आज भी हमारे देश के कुछ ही घरों में शौचालय की सुविधा है, गाँवो में तो लोग आज भी शौच करने बाहर ही जाते हैं, जिसके कारण गाँवो में गंदगी फैल जाती है और शहरों की बात करें तो शहरों में शौचालय तो है लेकिन वहां पर अन्य गंदगी बहुत ज्यादा है, जैसे कि फैक्ट्रियों का अपशिष्ट कूड़ा-करकट, गंदे नाले और घरेलू अपशिष्ट जो सड़कों पर इतनी ज्यादा मात्रा में पाया जाता है कि हमारे देश की सड़कें दिखाई ही नहीं देती, सिर्फ और सिर्फ कूड़ा-करकट दिखाई देता है।

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हमारे देश को स्वच्छ बनाने के लिए भारत सरकार ने एक नई योजना निकाली है, जिसका नाम ‘स्वच्छ भारत अभियान’ रखा गया है। इस अभियान के तहत सभी देशवासियों को इसमें शामिल होने के लिए कहा गया है।

यह अभियान आधिकारिक रूप से 1999 से चला रहा है पहले इसका नाम ग्रामीण स्वच्छता अभियान था, लेकिन 1 अप्रैल 2012 को प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने इस योजना में बदलाव करते हुए इस योजना का नाम निर्मल भारत अभियान रख दिया और बाद में सरकार ने इसका पुनर्गठन करते हुए इसका नाम पूर्ण स्वच्छता अभियान कर दिया था। स्वच्छ भारत अभियान के रूप में 24 सितंबर 2014 को केंद्रीय मंत्रिमंडल से इस को मंजूरी मिल गई।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्घाटन माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने महात्मा गाँधी जी की 145 वीं जयंती के अवसर पर 2 अक्टूबर 2014 को किया। उन्होंने राजपथ पर जनसमूहों को संबोधित करते हुए राष्ट्रवादियों से स्वच्छ भारत अभियान में भाग लेने और इसे सफल बनाने को कहा। साफ-सफाई के संदर्भ में यह सबसे बड़ा अभियान है। क्योंकि गाँधी जी का सपना था कि हमारा देश भी विदेशों की तरह पूर्ण स्वस्थ और निर्मल दिखाई दे। इस बात को मध्य नजर रखते हुए प्रधानमंत्री जी ने उन्हीं के जन्मदिवस पर इस अभियान की शुरुआत दिल्ली के राजघाट से की थी। देश की सफाई एकमात्र सफाई-कर्मियों की जिम्मेदारी नहीं है, क्या इस में नागरिकों की कोई भूमिका नहीं है, हमें इस मानसिकता को बदलना होगा।। (……………नरेंद्र मोदी) प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए दिल्ली कि वाल्मीकि बस्ती में सड़कों पर झाड़ू लगाई थी। जिससे देश के लोगों में यह जागरुकता आए कि अगर हमारे देश का प्रधानमंत्री देश को स्वच्छ करने के लिए सड़क पर झाड़ू लगा सकता है, तो हमें भी अपने देश को स्वच्छ रखने के लिए अपने आसपास सफाई रखनी होगी।

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महात्मा गाँधी जी ने भारत को एक निर्मल और स्वच्छ देश बनाने का सपना देखा था। अपने सपने के संदर्भ में गाँधी जी ने कहा था कि स्वच्छता स्वतंत्रता से भी ज्यादा जरूरी है क्योंकि स्वच्छता ही स्वस्थ और शांतिपूर्ण जीवन का एक अनिवार्य भाग है। महात्मा गाँधी जी अपने समय में देश की गरीबी और गंदगी से अच्छी तरह अवगत थे इसीलिए उन्होंने अपने सपने को पूरा करने के लिए बहुत से प्रयास किये लेकिन वो उसमें सफल न हो सके। लेकिन दुर्भाग्य तो यह है कि भारत आजादी के 72 साल बाद भी इन दोनों लक्ष्यों से काफी पीछे है। अगर आँकड़ो की बात करें तो अब भी सभी लोगों के घरों में शौचालय नहीं है, इसीलिए भारत सरकार पूरी गंभीरता से बापू की इस सोच को हकीकत का रुप देने के लिये देश के सभी लोगों को स्वच्छ भारत मिशन से जोड़ने का प्रयास कर रही है, जिससे विश्व भर में ये सफल हो सके। इस मिशन को अपने प्रारंभ की तिथि से बापू की 150वीं पूण्यतिथि (2 अक्दूबर 2019) तक पूरा करने का लक्ष्य है। इस अभियान को सफल बनाने के लिये सरकार ने सभी लोगों से निवेदन किया कि वो अपने आसपास और दूसरी जगहों पर साल में सिर्फ 100 घंटे सफाई के लिये दें।

स्वच्छ भारत अभियान के उद्देश्य (Points Wise)

स्वच्छ भारत अभियान एक राष्ट्रीय स्तर का अभियान है। प्रधानमंत्री मोदी जी ने स्वच्छ भारत अभियान के मुख्य उद्देश्य के लक्ष्य को पाने के लिए 5 साल की योजना बनाई है जिसके अंतर्गत हमारे पूरे देश को स्वच्छ करने का लक्ष्य लिया गया है।

(1) इस अभियान का प्रथम उद्देश्य है कि देश का कोना-कोना साफ सुथरा हो। (2) लोगों को बाहर खुले में शौच करने से रोका जाए। जिसके तहत हर साल हजारों बच्चों की मौत हो जाती है. (3) भारत के हर शहर और ग्रामीण इलाकों के घरों में शौचालय का निर्माण करवाया जाए। शहर और गांव की प्रत्येक सड़क गली और मोहल्ले साफ-सुथरे हो। (4) हर एक गली में कम से कम एक कचरा पात्र आवश्यक रूप से लगाया जाए। (5) लगभग 11 करोड़ 11 लाख व्यक्तिगत, सामूहिक शौचालयों का निर्माण करवाना जिसमें 1 लाख 34 हजार करोड रुपए खर्च होंगे। (6) लोगों की मानसिकता को बदलना उचित स्वच्छता का उपयोग करके।

(7) शौचालय उपयोग को बढ़ावा देना और सार्वजनिक जागरूकता को शुरू करना। (8) 2019 तक सभी घरों में पानी की पूर्ति सुनिश्चित कर के गाँवों में पाइपलाइन लगवाना जिससे स्वच्छता बनी रहे। (9) ग्राम पंचायत के माध्यम से ठोस और तरल अपशिष्ट की अच्छी प्रबंधन व्यवस्था सुनिश्चित करना। (10) सड़के, फुटपाथ और बस्तियां साफ रखना। (11) साफ सफाई के जरिए सभी में स्वच्छता के प्रति जागरूकता पैदा करना।

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स्वच्छ भारत अभियान की आवश्यकता (Points Wise)

अपने उद्देश्य की प्राप्ति तक भारत में इस मिशन की कार्यवाही निरंतर चलती रहनी चाहिए। भौतिक, मानसिक, सामाजिक और बौद्धिक कल्याण के लिये भारत के लोगों में इसका एहसास होना बेहद आवश्यक है। ये सही मायनों में भारत की सामाजिक और आर्थिक स्थिति को बढ़ावा देने के लिये है जो हर तरफ स्वच्छता लाने से शुरु किया जा सकता है। यहाँ कुछ बिंदु दिए जा रहे हैं जो स्वच्छ भारत अभियान की आवश्यकता को दिखाते हैं – (1) हमारे देश में कोई भी ऐसी जगह नहीं है जहां पर कूड़ा करकट नहीं फैला हो। हमारे भारत देश के हर शहर, हर गांव, हर एक मोहल्ला, हर एक गली कूड़े-करकट और गंदगी से भरी पड़ी है। (2) हमारे देश के गाँवो में शौचालय नहीं होने के कारण के लोग आज भी खुले में शौच करने जाते हैं जिसके कारण हर जगह गंदगी फैलती है और यह गंदगी नई बीमारियों को आमंत्रण देती है। (3) हमारे आसपास के सभी नदी-नाले भी कचरे से इस तरह से रहते हैं जैसे कि पानी की जगह कचरा बह रहा हो। (4) इस कूड़ा करकट और गंदगी के कारण विदेश से लोग हमारे देश में आना कम ही पसंद करते हैं, जिसके कारण हमारे देश को आर्थिक नुकसान होता है। (5) इस कचरे के कारण हमारे साथ-साथ अन्य जीव जंतुओं को भी नुकसान होता है और साथ ही हमारी पृथ्वी भी प्रदूषित होती है। (6) ये बेहद जरुरी है कि भारत के हर घर में शौचालय हो साथ ही खुले में शौच की प्रवृति को भी खत्म करने की आवश्यकता है। (7) नगर निगम के कचरे का पुनर्चक्रण और दुबारा इस्तेमाल, सुरक्षित समापन, वैज्ञानिक तरीके से मल प्रबंधन को लागू करना। (8) ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों में वैश्विक जागरुकता का निर्माण करने के लिये और सामान्य लोगों को स्वास्थ्य से जोड़ने के लिये।

(9) पूरे भारत में साफ-सफाई की सुविधा को विकसित करने के लिये निजी क्षेत्रों की हिस्सेदारी बढ़ाना। (10) भारत को स्वच्छ और हरियाली युक्त बनाना। (11) ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाना। (12) स्वास्थ्य शिक्षा कार्यक्रमों के माध्यम से समुदायों और पंचायती राज संस्थानों को निरंतर साफ-सफाई के प्रति जागरुक करना।

इस गंदगी और कूड़े-करकट के जिम्मेदार भी हम और आप ही हैं, क्योंकि हम लोग भी कभी जानबूझकर और कभी अनजाने में कहीं भी कचरा फेंक देते हैं। जिसके कारण हमारे देश में हर तरफ कचरा फैल जाता है और इसके साथ ही हमारा पूरा वातावरण प्रदूषित हो जाता है। यह गंदगी और कूड़ा-करकट दिन-ब-दिन बढ़ते ही जा रहे है। जिसके कारण अनेकों परेशानियां खड़ी हो रही हैं, इसलिए स्वच्छ भारत अभियान की जरूरत पड़ी जिसके तहत हमारा पूरा भारत स्वच्छ और साफ दिखाई दें।

हमारे देश का स्वच्छ नहीं होने का सबसे पहला कारण आप और हम ही हैं क्योंकि गंदगी और कूड़ा करकट मनुष्य जाति के द्वारा ही फैलाया जाता है। आप और हम कहीं भी कूड़ा करकट फेंक देते हैं और उसका दोष हम दूसरों को देते हैं। हमारे देश के स्वच्छ और साफ सुथरा नहीं होने के और भी कई कारण हैं जिनमें से कुछ प्रमुख कारण निम्नलिखित हैं –   1. शिक्षा का अभाव – हमारा देश शिक्षा के क्षेत्र में बहुत पिछड़ा हुआ है। अगर लोग शिक्षित नहीं होंगे तो उन्हें पता ही नहीं होगा कि वे अनजाने में अपने आसपास के वातावरण को प्रदूषित कर रहे हैं, और वातावरण के प्रदूषित होने के कारण उनको क्या नुकसान हो रहा है। लोगों में स्वच्छ और साफ सुथरे भारत के लिए शिक्षा का प्रचार प्रसार बहुत जरूरी है। 2. खराब मानसिकता – कुछ लोग ये मानते हैं कि हमारे थोड़ा सा कचरा फैलाने से देश गंदा थोड़ी ना होगा। इस प्रकार की मानसिकता वाले लोग हर जगह कचरा फैलाते रहते हैं जिसके कारण वह थोड़ा-थोड़ा कचरा बहुत ही ज्यादा बन जाता है।   3. घरों में शौचालयो का नहीं होना – आपने देखा होगा कि अक्सर गांव में घरों में शौचालय नहीं होते हैं, जिसके कारण लोग शौच करने के लिए या तो खेतों में जाते हैं या फिर रेल की पटरियों के पास जाकर शौच करते हैं, जिसके कारण हर तरफ गंदगी का माहौल पैदा हो जाता है।   4. अत्यधिक जनसंख्या – हमारा भारत देश जनसंख्या के मामले में विश्व में दूसरे स्थान पर आता है, अगर इसी प्रकार से जनसंख्या बढ़ती रही तो आने वाले वर्षों में जनसंख्या के मामले में पहला नंबर हमारे देश का ही होगा। अधिक जनसंख्या होने के कारण कचरा और गंदगी भी अधिक होती है। गंदगी अधिक होने के कारण इस गंदगी को साफ करने के लिए हमारे देश के आर्थिक विकास में लगने वाली पूंजी गंदगी की सफाई में ही लग जाती है।

5 सार्वजनिक शौचालय का अभाव – हमारे देश में सार्वजनिक शौचालयों का अभाव हर जगह पाया जाता है, जिसके कारण लोग कहीं भी सड़क के किनारे या कोई कोना देखकर शौच कर लेते हैं जिससे बहुत ज्यादा गंदगी फैलती है।

6. कचरे की सही निस्तारण का अभाव – हमारे देश में कचरा बहुत बड़ी समस्या है, 2017 के आंकड़ों के अनुसार भारत प्रति दिन 1,00,000 मीट्रिक टन कचरा उत्पन्न करता है। इतनी बड़ी संख्या में कचरा निकलने के बावजूद भी इसके निस्तारण के सही उपाय नहीं किए गए हैं। 7. उद्योगों का अपशिष्ट पदार्थ – हमारे देश में छोटे बड़े मिलाकर बहुत सारे उद्योग धंधे हैं, जिनसे अलग-अलग प्रकार का बहुत बड़ी मात्रा में अपशिष्ट पदार्थ निकलता है, जिसे साधारण शब्दों में हम गंदगी का भंडार कर सकते हैं। इन उद्योग-धंधों को चलाने वाले लोग इस अपशिष्ट पदार्थ को पास ही बह रहे नदी नालों में बहा देते हैं, जिससे कि पूरा वातावरण ही प्रदूषित हो जाता है।

देश को स्वच्छ रखने के उपाय (Points)

हमारे भारत देश को स्वच्छ और साफ सुथरा रखने के लिए हमें आज ही अपने से शुरुआत करनी होगी क्योंकि जब तक लोग खुद जागरुक नहीं होंगे तब तक हमारे देश में साफ सफाई का होना नामुमकिन है। (1) हमें देश के हर घर में शौचालय बनवाने होंगे। (2) हर शहर, हर गांव की सार्वजनिक स्थलों पर सार्वजनिक शौचालय बनवाने होंगे। (3) लोगों में साफ सफाई और स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलानी होगी। (4) हमें जगह-जगह कचरा पात्रों का निर्माण करना होगा। (5) शिक्षा के प्रचार-प्रसार को बढ़ावा देना होगा। (6) लोगों की मानसिकता बदलने के लिए साफ सफाई के संदेश गांव-गांव तक पहुंचाना होगा। (7) लोगों को गंदगी के गंभीर परिणामों के बारे में बताना होगा, जिससे की उनको पता चले कि उनके गंदगी फैलाने से उनके साथ-साथ पूरे वातावरण को कितना नुकसान होता है।

(8) हमें बढ़ती हुई जनसंख्या को कम करना होगा। (9) हमें कचरे के निस्तारण की सही विधि का पता लगाकर उस को अमल में लाना होगा जैसे कि पहाड़ जैसे कचरे के ढेरों को हटाया जा सके। (10) हमें उद्योग धंधे चलाने वाले लोगों में जागरूकता फैलाने होगी कि उनके छोटे से स्वार्थ के कारण हमारा पूरा वातावरण कितना प्रदूषित हो रहा है। (11) हमें नए कानूनों का निर्माण करना होगा, जिससे कि लोग कहीं भी गंदगी ना फैलाएं।

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स्वच्छ भारत अभियान में शामिल मंत्रालय (Points)

(1) शहरी विकास मंत्रालय (2) राज्य सरकार (3) ग्रामीण विकास मंत्रालय (4) गैर सरकारी संगठन (5) पेयजल और स्वच्छता मंत्रालय (6) सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम व निगम

इस प्रकार स्वच्छ भारत अभियान से जुड़ कर ये सभी मंत्रालय अपना महत्वपूर्ण योगदान दे रहे हैं। सभी मंत्रालय अपने-अपने स्तर पर स्वच्छ भारत अभियान के उद्देश्यों को हासिल करने के लिए प्रयासरत हैं।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वच्छ भारत अभियान के प्रचार-प्रसार के लिए कुछ प्रभावी व्यक्तियों को चुना था। जिनका काम अपने-अपने क्षेत्र में लोगों को स्वच्छता के प्रति जागरुक करना है। उन लोगों के नाम इस प्रकार हैं- (1) सचिन तेंडुलकर (क्रिकेटर) (2) महेन्द्र सिंह धोनी (क्रिकेटर) (3) विराट कोहली (क्रिकेटर) (4) बाबा रामदेव (5) सलमान खान (अभिनेता) (6) शशि थरूर (संसद के सदस्य)

(7) तारक मेहता का उल्टा चश्मा की टीम (8) मृदुला सिन्हा (लेखिका) (9) कमल हसन (अभिनेता) (10) अनिल अंबानी (उद्योगपति) (11) प्रियंका चोपड़ा (अभिनेत्री) (12) ईआर दिलकेश्वर कुमार

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स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत हमारे भारत के शहरों को साफ सुथरा रखने के लिए एक अलग से रणनीति बनाई गई है। (1) शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ भारत मिशन का लक्ष्य हर नगर में ठोस कचरा प्रबंधन सहित लगभग सभी 1.04 करोड़ घरों को 2.6 लाख सार्वजनिक शौचालय, 2.5 लाख सामुदायिक शौचालय उपलब्ध कराना है। (2) इस अभियान के तहत जहां पर सार्वजनिक शौचालय बनाना संभव नहीं है वहां पर सामुदायिक शौचालय बनवाए जाएंगे। (3) शहरों के प्रमुख स्थान जैसे कि सार्वजनिक अस्पताल, बस स्टैंड, बैंक, पोस्ट ऑफिस, रेलवे स्टेशन, मुख्य बाजार, सरकारी कार्यालयों आदि के पास सार्वजनिक शौचालय बनाए जाएंगे। (4) इस अभियान को सफल बनाने के लिए 62,009 करोड़ रुपयों का बजट बनाया गया है, जिसमें से 14,623 करोड़ रुपये केंद्र सरकार द्वारा इस अभियान में लगाए जाएंगे। (5) हमारे देश में ठोस अपशिष्ट पदार्थ का कचरा बहुत ज्यादा उत्पन्न होता है उसके स्थाई समाधान के लिए 7,366 करोड़ लगाए जाएंगे।

स्वच्छ भारत अभियान के तहत शहरी क्षेत्रों में यह कार्य किए जाएंगे (i) शहरी क्षेत्रों में खुले शौच की रोकथाम। (ii) गंदगी से भरे शौचालयों को स्वचालित फ्लश शौचालय में बदलना। (iii) ठोस अपशिष्ट का प्रबंधन करना। (iv) लोगों में जितना हो सके स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाई जाए। (v) फैक्ट्रियों के अपशिष्ट कूड़े-करकट पर नियंत्रण के उपाय करना। (vi) गंदे नाले और घरेलू अपशिष्ट जो सड़कों पर इतनी ज्यादा मात्रा में पाया जाता है, उस पर नियंत्रण के उपाय करना।

आपने देखा होगा कि जितनी तेजी से हमारे शहरों का विकास हुआ है, ग्रामीण क्षेत्र उतना ही पिछड़ा हुआ है हालांकि सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों को भी सुख सुविधा पूर्ण बनाने के लिए बहुत प्रयास किए हैं लेकिन उन योजनाओं का पूरा लाभ ग्रामीण क्षेत्रों में देखने को नहीं मिला है। इसलिए सरकार ने स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत ग्रामीण क्षेत्रों को भी शामिल किया है। (1) ग्रामीण इलाकों में कचरे के प्रबंधन के लिए ग्रामीण लोगों को कचरे से खाद कैसे बनाई जाए इसके बारे में बताया जाएगा और इस कचरे से बनी खाद के क्या लाभ हैं यह भी बताया जाएगा ताकि लोग अपने खेतों में इस तरह की खाद का उपयोग करें। (2) इस अभियान के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में 11 करोड़ 11 लाख शौचालय निर्मित करने की योजना है। (3) इस अभियान को गांव के हर एक व्यक्ति तक पहुंचाने के लिए स्कूल के शिक्षको, स्कूली छात्र छात्राओं और पंचायत समिति एवं ग्राम पंचायत को भी इस से जोड़ा जाएगा ताकि जल्द से जल्द लोगों में स्वच्छता के प्रति चेतना उत्पन्न हो। (4) इस अभियान के तहत है ग्रामीण इलाकों के प्रत्येक घर में शौचालय बनवाने के लिए प्रत्येक घर पर 10000 रुपए आवंटित किए गए थे। लेकिन इन सालों में महंगाई बढ़ने के कारण यह राशि 10000 से बढ़ाकर 12000 रुपए कर दी गई है।

स्वच्छ भारत अभियान के तहत ग्रामीण इलाकों में यह कार्य किए जाएंगे- (i) ग्रामीण इलाकों को खुला शौच मुक्त करना। (ii) ग्रामीण इलाकों के प्रत्येक घर में शौचालय का निर्माण करवाना। (iii) कूड़े-करकट और कचरे को उपयोगी बनाकर उसे खाद का निर्माण करना। (iv) गंदे पानी के निकास के लिए नालियां बनवाना। (v) ग्रामीण इलाकों के सार्वजनिक स्थलों पर कचरा पात्र का निर्माण करवाना। (vi) लोगों में स्वच्छता के प्रति चेतना जगाना।

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मानव संसाधन विकास मंत्रालय के अधीन स्वच्छ भारत-स्वच्छ विद्यालय अभियान 25 सितंबर, 2014 से 31 अक्टूबर 2014 के बीच केंद्रीय विद्यालयों और नवोदय विद्यालय संगठन में आयोजित किया गया था। इस अभियान के अंतर्गत शिक्षकों और विद्यार्थियों को अपने विद्यालय में साफ सफाई रखनी थी। इसके अंतर्गत विभिन्न विद्यालयों में विभिन्न प्रकार की गतिविधियां की गई जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं – (1) स्कूल कक्षाओं के दौरान प्रतिदिन बच्चों के साथ सफाई और स्वच्छता के विभिन्न पहलुओं पर विशेष रूप से महात्मा गांधी की स्वच्छता और अच्छे स्वास्थ्य से जुड़ीं शिक्षाओं के संबंध में बात करें। (2) कक्षा, प्रयोगशाला और पुस्तकालयों आदि की सफाई करना। (3) स्कूल में स्थापित किसी भी मूर्ति या स्कूल की स्थापना करने वाले व्यक्ति के योगदान के बारे में बात करना और इस मूर्तियों की सफाई करना। (4) शौचालयों और पीने के पानी वाले क्षेत्रों की सफाई करना। (5) रसोई और सामान ग्रह की सफाई करना। (6) खेल के मैदान की सफाई करना। (7) स्कूल के बगीचों का रख-रखाव और सफाई करना। (8) स्कूल भवनों का वार्षिक रख-रखाव रंगाई एवं पुताई के साथ। (9) निबंध, वाद-विवाद, चित्रकला, सफाई और स्वच्छता पर प्रतियोगिताओं का आयोजन। (10) बाल मंत्रिमंडलों का निगरानी दल बनाना और सफाई अभियान की निगरानी करना। (11) स्कूलों के हर एक कक्षा में कचरा पात्र रखवाना। (12) स्वच्छता के प्रति चेतना के लिए वाद विवाद एवं नाटकों की प्रतियोगिता करना।

(13) चित्रकला प्रतियोगिता का आयोजन करना जिसमें स्वच्छता से संबंधित चित्रों का चित्रण करना। (14) स्कूलों में हरियाली के लिए पेड़ पौधे लगाना। (15) सभी बच्चों को बताया गया कि खाना खाने से पहले हाथ धोना और खाना खाने के बाद भी हाथ धोना चाहिए। (16) सभी बच्चों की साफ-सुथरी वेशभूषा रखने के लिए प्रेरित करना।

उपसंहार (conclusion)

जो परिवर्तन आप दुनिया में देखना चाहते हैं, वह सबसे पहले अपने आप में लागू करें। (……………..महात्मा गाँधी।)

महात्मा गाँधी द्वारा कहे गए यह कथन जोकि स्वच्छता पर ही आधारित है। उनके अनुसार स्वच्छता की जागरूकता की मशाल सभी में पैदा होने चाहिए। इसके तहत स्कूलों में भी स्वच्छ भारत अभियान के कार्य होने लगे हैं। स्वच्छता से ना केवल हमारा तन साफ रहता है बल्कि हमारा मन भी साफ़ रहता है।

हमारे भारत में – जहां स्वच्छता होती है, वहां पर ईश्वर निवास करते हैं, इस प्रथा को माना जाता है, इसलिए हमें भी स्वच्छता को अपनाना चाहिए। इसकी शुरुआत हमें और आपको मिलकर करनी होगी। जिससे कि हमारा पूरा देश साफ सुथरा हो जाए। स्वच्छ भारत अभियान भारत को स्वच्छ करने के लिए एक कड़ी का काम कर रहा है। लोग इसके उद्देश्य से उत्साहित होकर स्वच्छता के प्रति सचेत हो रहे हैं। यह भारत सरकार द्वारा उठाया गया एक सराहनीय कदम है। स्वच्छ भारत अभियान में आप भी भागीदार बनें। लोगों को स्वच्छता के प्रति जागरुक बनाएँ। इसी को मध्य रखते हुए उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी सरकारी भवनों की सफाई और स्वच्छता को ध्यान में रखकर तंबाकू, गुटका, पान आदि उत्पादों पर प्रतिबंध लगा दिया है। जिसकी जरूरत उत्तर प्रदेश में ही नहीं बल्कि पूरे भारत देश में आवश्यक है। जिससे स्वच्छ रहे भारत स्वस्थ रहे हम। स्वच्छ भारत अभियान से हमारा आने वाला कल बहुत ही सुंदर एवं अकल्पनीय होगा। अगर आप और हम मिलकर स्वच्छ भारत अभियान के लक्ष्य को पूरा करने में लग जाए तो वह दिन दूर नहीं जब हमारा पूरा देश, विदेशों की तरह पूरी तरह से साफ सुथरा दिखाई देगा। एक स्वस्थ्य देश और स्वस्थ्य समाज को जरुरत है कि उसके नागरिक स्वस्थ्य रहें तथा हर व्यवसाय में स्वच्छ हो। और इस नेक काम के लिए हम सब को मिल कर आगे आना होगा और साथ-साथ काम कर के इस मिशन को पूरा करना होगा।

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध

सरकार समय समय पर देशहित में कई योजनाएं लाती है। यह योजनाएं देश को हर तरह से मजबूती देती है। इन्हीं योजनाओं में से एक स्वच्छ भारत अभियान है।

यह सरकार की सफल योजनाओं में से एक महत्वपूर्ण और चर्चित योजना है। इसके बारे में हर बार स्कूल और कॉलेज के साथ ही प्रतियोगी परीक्षाओं में निबंध लिखने को दिया जाता है।

Essay on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi

इस लेख में हम स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi) जानने वाले है। यह निबन्ध बहुत ही सरल भाषा में लिखे गये है। इस निबन्ध को पीडीऍफ़ (PDF) रूप में भी उपलब्ध किया है।

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi)

स्वच्छता अभियान पर निबंध 150 शब्दों में.

स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार द्वारा की गयी अनोखी पहल है, जिसके अंतर्गत भारत देश को एक साफ एवं स्वच्छ देश बनाने का निर्णय लिया गया है। इसे क्लीन इंडिया मिशन भी कहा जाता है।

इस अभियान की शुरुआत भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा महात्मा गाँधी के 145वें जन्मदिवस 2 अक्टूबर 2014 पर उनकी समाधि राजघाट, नई दिल्ली से की गई थी। इस पहल का लक्षय भारत को महात्मा गाँधी की 150वीं जयंती, जो कि 2 अक्टूबर 2019 तक पूर्णतया स्वच्छ बनाना था।

इस अभियान के तहत सरकार द्वारा पिछड़े इलाक़ो में सफाई अभियान चलाकर उन्हें साफ एवं स्वच्छ बनाने के प्रयास किए गये। सरकार ने अभियान की शुरुआत में कहा था कि देश को साफ रखना हर नागरिक की ज़िम्मेदारी है, इसके तहत देश के विभिन्न हिस्सों से लोगों नें बढ़-चढ़ कर भाग लिया।

इस अभियान के तहत उत्तर प्रदेश की सरकार ने सभी सरकारी कार्यालयों में गुटखा, पान, तम्बाकू आदि खाने पर प्रतिबंध लगा दिया।

स्वच्छता अभियान पर निबंध 200 शब्दों में

स्वच्छ भारत अभियान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी के द्वारा शुरू किया गया एक ऐसा अभियान है, जिसके तहत सफाई को अत्यधिक महत्व दिया गया है। यह अभियान 2 अक्टूबर 2014 को नई दिल्ली में शुरू किया गया था।

इस अभियान को दो और अलग नाम दिए गए थे, जो भारत मिशन और स्वच्छता अभियान थे। भारत को स्वच्छ बनाने के लिए सरकार ने बहुत से कदम उठाए।

कई प्रतियोगिताएं आयोजित की, घर घर पर कचरा पात्र रखवाया, शौचालय निर्माण के लिए राशि वितरित की, स्वच्छ भारत अभियान के तहत भारत को 2019 तक स्वच्छ बनाना था।

सरकार का यह अभियान था कि भारत के हर घर में सुलभ शौचालय हो। बाहर शौचालय जाना बिल्कुल खत्म हो। सबसे जरूरी यह अभियान ग्रामीण लोगों के लिए चलाया गया क्योंकि वहां के लोग खुले में शौच जाना पसंद करते हैं।

भारत के द्वारा यह काम बहुत जरूरी था क्योंकि जितनी गंदगी देश में रहती है, उतनी ही बीमारियां पनपती हैं, इसीलिए इस कदम को उठाया गया और स्वच्छ भारत अभियान का मिशन शुरू किया गया।

swachh bharat abhiyan essay in hindi

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स्वच्छता अभियान पर निबंध 300 शब्दों में

स्वच्छ भारत अभियान या स्वच्छ भारत कैम्पेन भारत सरकार द्वारा चलाया जा रहा एक सफाई अभियान है, जो कि भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा महात्मा गाँधी की 145वीं जन्मतिथि पर उनके स्वच्छ भारत के सपने को साकार करने के लिए शुरू किया गया था।

इस कैंपेन के तहत सरकार द्वारा विभिन्न प्रयास किये जा रहे हैं और प्रधानमंत्री मोदी ने देश के नागरिको को अपना पूरा योगदान देने को कहा है ताकि भारत जल्द से जल्द एक स्वच्छ देश बन सके। इस कैंपेन के शुरुआत में खुद प्रधानमंत्री ने रोड साफ़ कर इस अभियान का आगाज़ किया था।

स्वच्छ भारत अभियान क्यों बनाया गया?

भारत का अगर हर एक शहर, गांव, सड़के, गलियां साफ-सुथरी होंगी तो हमारा वातावरण भी शुद्ध रहेगा, जिससे लोग बीमार कम पड़ेंगे और इससे देश के आर्थिक विकास में भी सहायता होगी। इसी सिद्धान्त के तहत भारत सरकार ने स्वच्छ भारत अभियान की नींव रखी।

स्वच्छ भारत अभियान से हमारा देश केवल स्वच्छ ही नहीं होगा, इससे देश में हर तरफ खुशहाली आएगी और लोग खुश रहेंगे। क्योंकि अगर हमारे आसपास की जगह साफ सुथरी होगी तो हम भी खुश रहेंगे।

स्वच्छ भारत अभियान का असर

स्वच्छ भारत अभियान का जब आगाज किया गया और उसमें प्रसिद्ध हस्तियों को जोड़ा गया तब से देश की जनता ने साफ सफाई पर ज़ोर दिया।

जहाँ गंदगी दिखाई देती तो तुरंत सोशल मीडिया के जरिये उस गंदगी का रूबरू उनसे संबंधित कर्मचारी को भेज देते है, जिससे वो कर्मचारी वहाँ की सफाई तुरंत प्रभाव से कर सके।

स्वच्छ भारत अभियान से भारतीय नागरिकों में शौच, सफाई आदि की जागरूकता फैलने के साथ-साथ उनके जीवन स्तर में भी सुधार देखने को भी मिला है।

इस अभियान का यह असर हुआ कि देश के कोने-कोने से हर व्यक्ति इसमें भाग लेने लगा, जिससे देश पहले की तुलना में साफ होने लगा। यदि सभी नागरिक ऐसे ही प्रयत्न करते रहे तो जो सपना देखा गया है, वो पूर्ण होते देर नहीं लगेगी।

swachh bharat abhiyan essay in hindi

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 500 शब्दों में

देश की विडम्बना देखिये कि देश को स्वच्छ बनाने के लिए हमारी सरकार को एक अभियान चलाना पड़ रहा है। खुद का घर आँगन साफ करने के लिए भी सरकार की तरफ मुँह देखते है।

महात्मा गाँधी के विजन को पूरा करने के लिए वर्तमान प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने इस अभियान का आगाज किया।

स्वच्छ भारत अभियान का आगाज़ कैसे हुआ?

खुले में शौच की प्रवृति से भारत को मुक्ति दिलाना ही इसका प्रथम ध्येय है। इसके तहत सरकार ने गाँव-गाँव में शौचालयों का निर्माण कराया। इसी वजह से 2 अक्टूबर 2014 को महात्मा गाँधी की 145वीं जयंती पर प्रधानमंत्री ने स्वच्छ भारत अभियान शुरू किया और 5 साल बाद यानि 150वीं जयंती पर स्वच्छ भारत का लक्ष्य दिया।

इसमें लोगों को जागरूक करने के लिए प्रधानमंत्री ने 9 प्रसिद्ध हस्तियों का चयन किया, जो लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैला सके।

गाँवों में लोगो के लिए शौचालय बनवाकर नुक्कड़ नाटकों के माध्यमों से शौचालय के लाभ से परिचित भी करवाया गया। ग्राम पंचायतों की मदद से सभी घरों में उचित अपशिष्ट का सही से निस्तारण का कार्य भी समझाया गया।

हर घर में पानी की पाइपलाईन भी बिछाई गई है और 2012-13 में पेयजल एवं स्वच्छता मंत्रालय द्वारा कराये गये सर्वेक्षण के अनुसार 40% ग्रामीण घरों में शौचालय है।

5 वर्षों के लिए अनुमानित राशि 62,009 करोड़ रुपयों की है और इसमें लगभग 14,623 करोड़ रूपये की सहायता केंद्र सरकार की ओर से हुई है।

भारत देश यदि पूर्णतया स्वच्छ बन जाता है तो इससे कई फायदे होंगे। इससे सबसे ज्यादा निजी निवेशक हमारे देश में निवेश करेंगे, जिससे भारत की जीडीपी बढ़ेगी। इसके अलावा यहाँ पर्यटकों की संख्या मे भी इजाफा होगा, रोजगार बढेगा आदि फायदे होंगे।

इसके तहत नरेन्द्र मोदी ने देश के प्रत्येक नागरिक को साल में 100 घंटे स्वच्छता को सुपुर्द करने को कहे हैं ताकि देश को साफ़ एवं सुन्दर बनाया जा सके।

इसके साथ ही सरकार द्वारा विभिन्न वस्तुओं पर 0.5% स्वच्छता सेस लगाया गया है ताकि देश की स्वच्छता में सभी नागरिक योगदान दे सके और इसमें अधिक खर्च हो सकें और भारत पूर्णतया स्वच्छ देश बन सके।

उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री ने भी अपना एक बड़ा योगदान देते हुए पूरे उत्तरप्रदेश के सरकारी कार्यालयों में गुठका, पान, तम्बाकू आदि बंद कर दिया।

“यदि हम अपने घरों के पीछे सफाई नहीं रख सकते तो स्वराज की बात बेईमानी होगी। हर किसी को स्वयं अपना सफाईकर्मी होना चाहिए” – महात्मा गाँधी

स्वच्छ भारत अभियान एक बहुत ही महत्वपूर्ण अभियान है, जिससे पूरे विश्व में भारत नयी ऊँचाईयों तक पहुंचेगा। लेकिन ऐसा संभव हो पाने के लिए देश के हर नागरिक का इसमें साथ होना जरूरी होगा।

यदि हम अपने देश को इस विश्व में नयी उपलब्धियां दिलाना चाहते हैं तो हमें सफाई की और खुद तो भरसक प्रयास करने ही होंगे। साथ में दोस्तो को भी प्रेरित करने होगा।

ऐसा यदि हुआ तो जल्द ही हमारा देश विश्व के सबसे साफ़ देशों में शुमार होगा। हमारे देश के सभी राज्य और केन्द्र शासित प्रदेशों ने अपना-अपना योगदान दिया है।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 850 शब्दों में

आज के समय में साफ सफाई के साथ रहना किस को पसंद नहीं आता क्योंकि स्वछता हमारे जीवन के लिए बहुत जरूरी होती है। साफ-सफाई रखना ना केवल घर के लिए ही जरूरी होता है बल्कि वह घर से बाहर के लिए भी उतना ही जरूरी होता है।

इससे हमारे घर के आस पास के वातावरण के साथ- साथ पूरा देश भी स्वच्छ होता है। इसी बात को ध्यान में रखते हुए भारत सरकार ने एक अभियान को चलाया जिसका नाम है ‘स्वच्छ भारत मिशन’।

यह अभियान को हमारे माननीय प्रधानमंत्री मोदी के द्वारा चलाया गया। इस अभियान की शुरूआत देश के प्रत्येक गांव और शहर से की गई थी।

हमारे देश के हर गांव और शहरों में सड़कों से लेकर शौचालय तक का इस अभियान के अंतर्गत निर्माण किया गया। क्योंकि इस अभियान से देश के बुनियादी ढांचे को बदलना ही इस अभियान का उद्देश्य रहा था।

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत कब हुई?

हमारे माननीय प्रधानमंत्री जी श्री नरेंद्र मोदी के द्वारा महात्मा गांधी की जयंती 2 अक्टूबर 2014 को इस अभियान को चलाने की घोषणा की। इस मिशन का नाम ‘स्वच्छ भारत अभियान’ रखा था।

इस अभियान को ‘भारत मिशन’ और ‘स्वच्छता अभियान’ भी कहा गया। हमारे प्रधानमंत्री ने महात्मा गांधी की 145 वी जयंती के अवसर पर इस अभियान की शुरुआत की थी।

माननीय प्रधानमंत्री ने राजपथ पर बहुत बड़े जन समूह को संबोधित करते हुए सभी लोगों से इस अभियान में जुड़ने की अपील भी की और इस अभियान को सफल बनाने के लिए सभी लोगों को जागरूक होने की अपील की। क्योंकि यह अभियान साफ सफाई के संदर्भ में अब तक का सबसे बड़ा अभियान है।

स्वच्छ भारत अभियान के लिए महात्मा गांधी का सपना

स्वच्छ भारत अभियान का सपना गांधी ने देखा था और इसको सपने को पूर्ण हमारे माननीय प्रधानमंत्री जी ने किया।

महात्मा गांधी ने अपने सपने के संदर्भ में कहा था कि ‘स्वच्छता स्वतंत्रता से ज्यादा जरूरी होती है’, क्योंकि जब हम स्वस्थ रहेंगे तो हमारे आसपास का वातावरण भी स्वच्छ रहेगा, इससे हमारा शरीर निरोगी होगा।

स्वच्छता शांतिपूर्ण जीवन का यह एक अनिवार्य हिस्सा भी है। महात्मा गांधी जी अपने समय में देश में हो रही गरीबी और गंदगी से भली भांति परिचित है। फिर भी उन्होंने अपने सपना पूरा करने के बहुत प्रयास किए लेकिन वह सफल नहीं हो पाए।

उन्हीं के इन प्रयासों को हमारे प्रधानमंत्री जी ने पूरा किया और राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की जयंती के अवसर पर 2 अक्टूबर 2014 को स्वच्छ भारत मिशन की शुरुआत कर दी थी।

भारत में स्वच्छता अभियान की ज्यादा जरूरत क्यों है?

अक्सर देखा गया है कि गांव में लोग खुले में शौच करने के लिए जाते हैं। इसीलिए इस अभियान का उद्देश्य यह रहा था कि भारत के हर घर में शौचालय का निर्माण होना बहुत जरूरी है ताकि लोग खुले में शौच करने की प्रवृत्ति को छोड़ दें। इससे बाहर गंदगी भी नहीं होगी और बीमारियों का फैलने का खतरा भी नहीं होगा।

स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत गांव-गांव, गली-गली, नुक्कड़ नाटकों के द्वारा भी लोगों को समझाया गया कि खुले में शौच करना उनके लिए कितना नुकसानदायक हो सकता है।

ग्राम पंचायतों को इसके लिए भारत सरकार के द्वारा गांव के हर व्यक्ति के घर में शौचालय का निर्माण हो, इसके लिए उन्होंने निर्माण राशि के रूप में लोगो को पैसे भी दिए गए ताकि लोग शौचालय का निर्माण कर, खुले में शौच करने की प्रवृत्ति को छोड़ दें।

स्वच्छ भारत अभियान के क्या-क्या उद्देश्य है?

हमारे माननीय प्रधानमंत्री के द्वारा स्वच्छ भारत अभियान चलाया गया। इसके अंतर्गत संपूर्ण भारत को स्वच्छ रखने के प्रयास से इस अभियान को चलाया गया।

इसके अंतर्गत गांव और शहरों में हो रही गंदगी पर विशेष तौर से ध्यान दिए हैं। इस अभियान के कुछ मुख्य उद्देश्य इस प्रकार से हैं:

  • भारत में जो खुले में शौच करने की प्रवृत्ति लोगों में है, उनकी इस प्रवर्ती को जड़ से खत्म करना है। इस योजना का प्रमुख उद्देश्य रहा।
  • हाथों से मल की सफाई करने की व्यवस्था को खत्म करना।
  • अच्छे स्वास्थ्य के विषय में लोगों को ज्यादा से ज्यादा जागरुक करना।
  • जन-जागरुकता पैदा करने के लिये सार्वजनिक स्थानों पर साफ-सफाई के कार्यक्रम से लोगों को अधिक से अधिक संख्या में जोड़ना।
  • साफ-सफाई से संबंधित सभी व्यवस्था को नियंत्रित करना तथा डिज़ाइन और संचालन करने के लिये शहरी स्थानीय निकाय को मजबूत बनाना भी इसका उद्देश्य था।

हमारे देश को साफ और स्वच्छ कैसे बनाया जाये?

हमारे देश को साफ और स्वच्छ बनाने के लिए हम सभी को एकजुट होकर कदम से कदम मिलाकर चलना होगा। इसकी शुरुआत हमें अपने घर के आस-पास हो रही गंदगी को साफ करके करनी होगी।

क्योंकि हमारे आसपास का वातावरण और गंदगी जब नहीं होगी तो इससे हमारा गांव, शहर या कस्बा एकदम साफ सुथरा और स्वच्छ हो पाएंगे।

आइए जानते हैं अपने आसपास के वातावरण को साफ और स्वच्छ किस तरह से किया जाए:

  • भारत को एक हरा भरा और स्वच्छता से भरपूर देश बनाया जा सकता है। इसकी शुरुआत लोगों द्वारा ही की जा सकती है क्योंकि यदि लोग जागरूक होंगे तो हमारा देश एकदम साफ और स्वच्छ भारत देश बन जाएगा।
  • देश को स्वच्छ बनाने के लिए देश के हर घर में शौचालय जरूरी होने चाहिए ताकि गांव में जो-जो लोग खुले में शौच करते हैं, उनकी इस प्रवृत्ति पर रोक लगाई जा सके।
  • देश के अंदर हर गांव तथा शहर मे जगह जगह पर सार्वजनिक शौचालयों का निर्माण करवाना बहुत जरूरी है। इससे लोग शहर में भी इधर उधर गंदगी ना करें।
  • देश में लोगों को साफ सफाई और स्वच्छता के बारे में जागरूक होना बहुत जरूरी है। क्योंकि यदि लोग इन सब के बारे में जागरूक रहेंगे तो वह अपने आसपास कभी गंदगी नहीं होने देंगे। आसपास के वातावरण को हमेशा साफ स्वच्छ और निर्मल बनाकर रखेंगे।
  • अभी सार्वजनिक जगहों पर बड़े-बड़े कूड़ा दानों का होना जरूरी है, इसके साथ ही हर गली मोहल्ले मैं छोटे-छोटे कूड़ेदान का रखना बहुत जरूरी होता है ताकि लोग अपने घरों की गंदगी उन कूड़ेदान में डाल सके।
  • हमारे देश में बच्चों की शिक्षा में स्वच्छता के पाठ को पढ़ाया जाना चाहिए। क्योंकि इससे बच्चों के साथ-साथ बड़े भी समझ पाएंगे कि देश में स्वच्छता रखना उनके लिए कितना जरूरी होता है।

स्वच्छ भारत अभियान बहुत ही अच्छा कदम है। स्वच्छता की ओर इस अभियान के तहत जितनी सफाई होगी, उतना ही अच्छा है क्योंकि गंदगी रहने से कई जानलेवा बीमारियां पनपती है।

मलेरिया, हैजा जैसी बहुत खतरनाक बीमारियां हो जाती हैं, जिसका हमें इलाज करना बहुत ही आवश्यक है। इसीलिए हमें चाहिए कि हम अपने भारत को स्वच्छ रखें।

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 1000 शब्द

स्वच्छता ना केवल हमारे घर सड़क तक के लिए ही जरूरी नहीं होती है। यह देश ओर राष्ट्र की आवश्यकता होती इससे ना केवल हमारा घर आँगन ही स्वच्छ रहेगा पूरा देश ही स्वच्छ रहेगा।

इसी को मद्देनजर रखते हुए भारत सरकार द्वारा चलाई जा रही स्वच्छ भारत अभियान जो कि हमारे देश के प्रत्येक गांव और शहर में प्रारम्भ की गई है।

जो देश के प्रत्येक गली गाँव की प्रत्येक सड़कों से लेकर शौचालय का निर्माण कराना और देश के बुनियादी ढांचे को बदलना ही इस अभियान का उद्देश्य है।

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत

मोहनदास कर्मचन्द गाँधी जी की 145वीं जयंती 2 अक्टूबर 2014 को भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की, इसे भारत मिशन और स्वच्छता अभियान भी कहा जाता है।

साफ-सफाई को लेकर भारत की छवि को बदलने के लिए नरेंद्र मोदी ने देश को एक मुहिम से जोड़ने के लिए जन आंदोलन बनाकर इसकी शुरुआत की।

2 अक्टूबर 2014 को नरेंद्र मोदी ने राजपथ पर जनसमूहों को संबोधित करते हुए राष्ट्रवादियों से स्वच्छ भारत अभियान में भाग लेने और इसे सफल बनाने को कहा। फिर उन्होने वाल्मीकि बस्ती जाकर झाड़ू लगाया।

स्वच्छ भारत अभियान के उद्देश्य

  • खुले में शौच बंद करवाना, जिसके तहत हर साल हजारों बच्चों की मौत हो जाती है।
  • लगभग 11 करोड़ 11 लाख व्यक्तिगत, सामूहिक शौचालयों का निर्माण करवाना, जिसमें 1 लाख 34 हजार करोड रुपए खर्च होंगे।
  • लोगों की मानसिकता को बदलना उचित स्वच्छता का उपयोग करके।
  • शौचालय उपयोग को बढ़ावा देना और सार्वजनिक जागरूकता को शुरू करना।
  • गांवो को साफ रखना।
  • ग्राम पंचायत के माध्यम से ठोस और तरल अपशिष्ट की अच्छी प्रबंधन व्यवस्था सुनिश्चित करना।
  • सड़के फुटपाथ ओर बस्तियां साफ रखना।
  • साफ सफाई के जरिए सभी में स्वच्छता के प्रति जागरूकता पैदा करना।

स्वच्छ भारत अभियान की आवश्यकता

सही मायनों में भारत की सामाजिक और आर्थिक स्थिति को बढ़ावा देने के लिये है, जो हर तरफ स्वच्छता लाने से शुरु किया जा सकता है। यहां कुछ बिंदु दिए जा रहे हैं, जो स्वच्छ भारत अभियान की आवश्यकता को दिखाते हैं:

  • हमारे देश में कोई भी ऐसी जगह नहीं है, जहां पर कूड़ा करकट नहीं फैला हो। हमारे भारत देश के हर शहर, हर गांव, हर एक मोहल्ला, हर एक गली कूड़े-करकट और गंदगी से भरी पड़ी है।
  • हमारे देश के गाँवो में शौचालय नहीं होने के कारण के लोग आज भी खुले में शौच करने जाते हैं, जिसके कारण हर जगह गंदगी फैलती है और यह गंदगी नई बीमारियों को आमंत्रण देती है।
  • हमारे आसपास के सभी नदी-नाले भी कचरे से इस तरह से रहते हैं जैसे कि पानी की जगह कचरा बह रहा हो।
  • इस कूड़ा करकट और गंदगी के कारण विदेश से लोग हमारे देश में आना कम ही पसंद करते हैं, जिसके कारण हमारे देश को आर्थिक नुकसान होता है।
  • इस कचरे के कारण हमारे साथ-साथ अन्य जीव जंतुओं को भी नुकसान होता है और साथ ही हमारी पृथ्वी भी प्रदूषित होती है।
  • ये बेहद जरुरी है कि भारत के हर घर में शौचालय हो साथ ही खुले में शौच की प्रवृति को भी खत्म करने की आवश्यकता है।
  • नगर निगम के कचरे का पुनर्चक्रण और दुबारा इस्तेमाल, सुरक्षित समापन, वैज्ञानिक तरीके से मल प्रबंधन को लागू करना।
  • ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों में वैश्विक जागरुकता का निर्माण करने के लिये और सामान्य लोगों को स्वास्थ्य से जोड़ने के लिये।
  • पूरे भारत में साफ-सफाई की सुविधा को विकसित करने के लिये निजी क्षेत्रों की हिस्सेदारी बढ़ाना।
  • भारत को स्वच्छ और हरियाली युक्त बनाना।
  • ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन की गुणवत्ता में सुधार लाना।

देश के स्वच्छ न होने के कारण

हमारे देश का स्वच्छ नहीं होने का सबसे पहला कारण आप और हम ही है। क्योंकि गंदगी और कूड़ा करकट मनुष्य जाति के द्वारा ही फैलाया जाता है। इसके अलावा प्रमुख कारण निम्नलिखित है:

  • शिक्षा का अभाव
  • खराब मानसिकता
  • घरों में शौचालयों का नहीं होना
  • अत्यधिक जनसंख्या
  • सार्वजनिक शौचालय का अभाव
  • कचरे का सही से निस्तारण का अभाव
  • उद्योगों का अपशिष्ट पदार्थ

देश को स्वच्छ रखने के उपाय

हमारे भारत देश को स्वच्छ और साफ सुथरा रखने के लिए हमें आज ही अपने से शुरुआत करनी होगी। क्योंकि जब तक लोग खुद जागरुक नहीं होंगे तब तक हमारे देश में साफ सफाई का होना नामुमकिन है।

कुछ उपाय निम्नलिखित है:

  • हमें देश के हर घर में शौचालय बनवाने होंगे।
  • हर शहर, हर गांव की सार्वजनिक स्थलों पर सार्वजनिक शौचालय बनवाने होंगे।
  • लोगों में साफ सफाई और स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलानी होगी।
  • हमें जगह-जगह कचरा पात्रों का निर्माण करना होगा।
  • शिक्षा के प्रचार-प्रसार को बढ़ावा देना होगा।
  • लोगों की मानसिकता बदलने के लिए साफ सफाई के संदेश गांव-गांव तक पहुंचाना होगा।
  • लोगों को गंदगी के गंभीर परिणामों के बारे में बताना होगा, जिससे की उनको पता चले कि उनके गंदगी फैलाने से उनके साथ-साथ पूरे वातावरण को कितना नुकसान होता है।
  • हमें बढ़ती हुई जनसंख्या को कम करना होगा।
  • हमें कचरे के निस्तारण की सही विधि का पता लगाकर उस को अमल में लाना होगा जैसे कि पहाड़ जैसे कचरे के ढेरों को हटाया जा सके।
  • हमें उद्योग धंधे चलाने वाले लोगों में जागरूकता फैलाने होगी कि उनके छोटे से स्वार्थ के कारण हमारा पूरा वातावरण कितना प्रदूषित हो रहा है।
  • हमें नए कानूनों का निर्माण करना होगा, जिससे कि लोग कहीं भी गंदगी ना फैलाएं।

स्वच्छ भारत अभियान में अन्य योगदान

प्रधानमंत्री ने स्वच्छ भारत अभियान को मजबूत बनाने के लिए प्रभावी व्यक्तियों को चुना था और उन्हें लोगों को जागरूक करने के लिए प्रोत्साहित करें।

उन्हें स्वच्छ भारत अभियान के ब्रांड अंबसेडर कहा गया। उन लोगों के नाम निम्नलिखित है:

  • सचिन तेंदुलकर
  • महेन्द्र सिंह धोनी
  • विराट कोहली
  • बाबा रामदेव
  • तारक मेहता का उल्टा चश्मा की टीम
  • ईआर दिलकेश्वर कुमार
  • अनिल अंबानी
  • प्रियंका चोपड़ा
  • मृदुला सिन्हा

स्वच्छता की जागरूकता की मशाल सभी में पैदा होनी चाहिए। इसके तहत स्कूलों में भी स्वच्छ भारत अभियान के कार्य होने लगे हैं। स्वच्छता से ना केवल हमारा तन साफ रहता है बल्कि हमारा मन भी साफ रहता है।

स्वच्छ भारत अभियान की मशाल आज हमारे पूरे भारत के लिए आवश्यक है, जिसके तहत कई कार्य किये जा रहे है।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध pdf (Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi PDF)

हमने  स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध PDF  में भी उपलब्ध किया है, जिसे आप प्रिंट करके अपने प्रोजेक्ट या फिर किसी अन्य काम में उपयोग में ले सकेंगे।

हम उम्मीद करते हैं आपके लिए यह  स्वच्छ भारत अभियान निबंध (Essay on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi)  मददगार साबित होंगे। आपका कोई सुझाव है तो हमें कमेंट बॉक्स में जरूर बताएं।

कोरोना वायरस (कोविड-19) पर निबंध

नई शिक्षा नीति पर निबंध

बालिका शिक्षा पर निबंध

योग दिवस पर निबंध

प्लास्टिक प्रदूषण पर निबंध

Rahul Singh Tanwar

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Comments (12).

सीधी एवं सरल भाषा का उपयोग ,,,बहुत बढ़िया !

Nice essay ????

Nice ??? essay

Nice essay ??

Thank you it’s excellent

Nice essays

Bahut achhi hoti hai sochachhtabhiyan asie hi ap shabhi apane sahar ya village me sabh rakhe. Thanks people. I love my country. I love❤ sochh abhiyan

Yaa very helpful

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स्वच्छ भारत अभियान पर छोटा और बड़ा निबंध

भारत के अभियानों में सबसे बड़ा अभियान है स्वच्छ भारत अभियान है। क्या आप जानते है स्वच्छ भारत अभियान क्या है? अगर नहीं, तो इस लेख में हमने स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध लिखा हैं। तो इस लेख को अंत तक पढ़े।

वैसे तो श्रीमान नरेंद्र मोदी जी ने बहुत से अभियानों की शुरुआत की, ठीक उसी तरह स्वच्छ भारत अभियान सबसे बड़ा अभियान माना जा रहा है।

स्वच्छ भारत अभियान का अर्थ केवल हम भारतीय ही नहीं बाकी पूरा संसार जानता है।

सारे संसार के लोगों में केवल एक यही बात है कि बहुत से लोग स्वच्छ भारत अभियान पर काम कर रहे है और बहुत से लोग इस अभियान को अपने दिमाग में भी नहीं डाल रहे है।

HindiParichay.com पर आज मैं आपके साथ  स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध प्रस्तुत करने जा रहा हूँ जिससे आपको इसकी महानता के विषय में पता चल सके।

स्वच्छ भारत अभियान के शुभारंभ पर पीएम का भाषण

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध कैसे लिखें?

स्वच्छ भारत पर छोटे बच्चों से लेकर बड़े सभी के लिए स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध , छोटे बच्चे जैसे कि कक्षा 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7, 8, 9, 10, 11, 12 और B.A., B. com आदि सबके लिए Swachh Bharat Essay in Hindi Language में लिखा जा रहा है।

भारत के बहुत से अभियानों का भाग है ये स्वच्छ भारत अभियान लेकिन सभी अभियानों में सबसे ज्यादा जरूरी अभियान “ स्वच्छ भारत अभियान ” है।

भारत के विभिन्न देशों में ये अभियान शुरू किया जा चुका है। भारत के स्वच्छ भारत अभियान की चर्चा भारत के स्वतंत्र होने से पहले से ही है।

चलिए अब ज्यादा समय व्यक्त ना करते हुए, स्वच्छ भारत पर निबंध पढ़ना शुरू करते हैं।

Role of Students in Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

India Flag

हम भारत जैसे देश में रहते है जहां करोड़ों भारतीय है। प्रत्येक भारतीय ये बात अच्छी तरह जानता है कि स्वच्छ भारत अभियान के तहत प्रत्येक प्रकार की साफ सफाई की बात की गयी है चाहे वो देश की सड़कें स्मारक आदि हो या देश के सरकारी दफ्तरों आदि में भ्रष्टाचार फैला हुआ हो।

भारत एक ऐसा देश है जहां प्रत्येक नागरिक अपना जीवन अपनी इच्छा अनुसार जी रहा है। प्रत्येक कार्य अपनी मन की इच्छा के आधार पर कर रहा है।

आज के इस लेख में मैं आपको स्वच्छ भारत अभियान निबंध देने जा रहा हूँ।

Essay on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi 200 words

Essay on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi

महात्मा गांधी जी का सपना है भारत को स्वच्छ भारत बनाए रखना है। भारत से गंदगी हटाना है, भारत में स्वच्छता लानी है। स्वच्छता हमारे घर से शुरू होती है और सड़कों तक जाती है।

जब भारत में स्वच्छता आएगी तभी जाकर भारत महान बनेगा। साफ सफाई को अपनाना है और गंदगी को हटाना है। भारत की स्वच्छता को बनाए रखने में सभी का हाथ होना चाहिए लेकिन कुछ लोग ऐसे होते है जो कि भारत को और भी ज्यादा गंदा करते जा रहे है, गलत जगह पर फैक्ट्री लगाते हैं, जल को हवा को गंदगी से भर देते है।

भारत में आए दिन नई नई मशीनों का प्रयोग किया जा रहा है जिससे सब जगह प्रदुषण फैलता जा रहा है। हमें भारत को स्वच्छ बनाए रखने के लिए फैक्ट्रियों को सही जगह लगाना चाहिए जिससे हवा, जल आदि में प्रदूषण न फैलता हो। कूड़े को कूड़ेदान में डालना चाहिए और स्वच्छता के नियम को अपनाना चाहिए।

स्वच्छ भारत का इरादा कर लिया हमने…

Essay on Swachh Bharat in Hindi in 300 Words

Swachh Bharat Abhiyan Nibandh

– स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत पर निबंध

भारत को स्वच्छ बनाए रखने का सपना भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी ने देखा था और उस सपने को साकार करने का जिम्मा हम सभी पर है और देश के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने इस अभियान की शुरुआत 02 अक्टूबर 2014 से की।

इस दिन महात्मा गांधी जी की 145वीं जयंती का अवसर था और इस शुभ अवसर पर महात्मा गांधी जी के सपने को साकार किया गया।

भारत में स्वच्छ अभियान को चलाने के लिए सभी भारतवासियों का योगदान देना बहुत ही जरूरी है। भारत में साफ सफाई रखने वाला ही एक अच्छा नागरिक है। भारत में शिक्षा को बढ़ाना बहुत ही जरूरी है जिससे लोगों को ये पता होना चाहिए कि स्वच्छ भारत के होने से ही एक अच्छे और साफ सुथरे देश का अस्तिव बनेगा।

स्वच्छता अपनाने से दुनिया भर की बीमारियों को रोका जा सकता है। स्वच्छता बनाए रखने से एक व्यक्ति के जीवन में बहुत प्रभाव पडता है।

गंदगी को खत्म करने के लिए लोगों को शिक्षा का सहारा लेना, जागरूक होना बहुत जरूरी है और भारत की स्वच्छता को बनाए रखने के लिए कठिन से कठिन नियम को लागू होना आवश्यक है।

अशिक्षित लोग कहीं भी फैक्ट्री खोल लेते है और जल, वायु, ध्वनी प्रदूषण करते है। अशिक्षित लोग कूड़े को कूड़ेदान में न फेंक कर सड़कों पर फेंकते है, इधर उधर थूकते है।

गन्दगी को फैलाने वाले कभी भी स्वच्छता को नहीं अपनाएंगे इसलिए हम सभी को ये कसम खानी है चाहे कुछ भी हो सब जगह स्वच्छता को बनाए रखने में सहयोग देना है।

Speech on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi For Students

Speech on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi For Students

स्वच्छता केवल घरों और सड़कों में ही नहीं पूरी दूनिया में होनी चाहिए। स्वच्छता भारत के लिए बहुत ही जरूरी है। स्वच्छता अभियान से सम्पूर्ण भारत अन्य देशों से ज्यादा अच्छा और आर्थिक मामलों में ऊँचा रहेगा। इसी को मध्य रखते हुए भारत सरकार द्वारा स्वच्छ भारत अभियान को लागू किया गया है। यह गांव के प्रत्येक गली गांव की सड़कों की सफाई से लेकर शौचालयों का निर्माण करना है।

  • स्वच्छ भारत अभियान

स्वच्छ भारत अभियान भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी ने एक सपना देखा था और उस सपने को पूरा करने का जिम्मा हमारे देश के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने लिया था। महात्मा गांधी जी के 145वें जन्मदिन के दिन 02 अक्टूबर 2014 के दिन प्रधानमंत्री जी ने स्वच्छ भारत अभियान शुरू कराया था।

मोदी जी ने राजपथ पर जनसमूहों को संबोधित करते हुए राष्ट्रवादीओं से स्वच्छ भारत अभियान में भाग लेने और इसे सफल बनाने को कहा, साफ-सफाई के संदर्भ में यह सबसे बड़ा अभियान है। साफ-सफाई को लेकर भारत की छवि को बदलने के लिए श्री नरेंद्र मोदी जी ने देश को इस अभियान से जुड़ने के लिए जन आंदोलन बनाकर इसकी शुरुआत की।

इस अभियान के फायदे के बारे में सम्पूर्ण जनता को बताया। महात्मा गांधी जी का सपना शिक्षा और स्वच्छता को फैलाना था। उनका मानना था कि स्वच्छता भगवान की पूजा है। गांधी जी हमेशा से ही चाहते थे कि स्वच्छता की शिक्षा को सभी आम जनता को प्रदान करी जा सके।

गांधी जी का सपना था कि स्वच्छ भारत अभियान के तहत वह सभी नागरिकों को एक साथ मिलकर देश को साफ रखने का अभियान चलेंगे।

स्वच्छता के अभियान के अंतर्गत जिस आश्रम में वो रहते थे वहां रोजाना सुबह 4:00 बजे उठकर स्वयं सफाई करते थे। उन्होंने वर्धा आश्रम में अपना स्वयं का शौचालय बनवाया था जिसको प्रतिदिन सुबह-शाम साफ भी किया करते थे।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध कक्षा 10, 11, 12 छात्रों के लिए 1000 शब्दों में

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

स्वच्छ भारत अभियान आधिकारिक रूप से सन् 1999 से चल रहा है पहले इसका नाम ग्रामीण स्वच्छता अभियान था। लेकिन सरकार ने इसका पुनर्गठन करते हुए इसका नाम पूर्ण स्वच्छता अभियान कर दिया था।

1 अप्रैल 2012 को प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने इस योजना में बदलाव करते हुए इस योजना का नाम निर्मल भारत अभियान रख दिया और बाद में स्वच्छ भारत अभियान के रूप में 24 सितंबर 2014 को केंद्रीय मंत्रिमंडल से इस को मंजूरी मिल गई।

भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी ने भारत को साफ सुथरा बनाने की ठानी थी क्योंकि उन्हें पूरा विश्वास था कि भारत के विकास की नींव केवल भारत की स्वच्छता पर ही आश्रित है।

भारत का विकास संपूर्ण भारत की स्वच्छता पर निर्भर करता है।

स्वच्छ भारत का सपना जो कि महात्मा गांधी जी ने देखा था आज उसे पूरा करने के लिए नरेंद्र मोदी जी के द्वारा महात्मा गांधी जी के 145वे जन्मदिन पर अर्थात 02 अक्टूबर 2014 को इस अभियान का उदघाटन किया गया है। इस अभियान के मुख्य कारण देश में फैली गंदगी को साफ करने के लिए इस अभियान को जारी किया गया।

स्वच्छ भारत अभियान का उदघाटन माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने 2 अक्टूबर 2014 को गांधी जयंती पर किया था। क्योंकि गांधी जी का सपना था कि हमारा देश भी विदेशों की तरह पूर्ण स्वस्थ और निर्मल दिखाई दे।

इस बात को मध्य नजर रखते हुए प्रधानमंत्री जी ने उन्हीं के जन्म दिवस पर इस अभियान की शुरुआत दिल्ली के राजघाट से की थी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए दिल्ली की वाल्मीकि बस्ती में सड़कों पर झाड़ू लगाई थी। जिससे देश के लोगों में यह जागरूकता आये की अगर हमारे देश का प्रधानमंत्री देश को स्वच्छ करने के लिए सड़क पर झाड़ू लगा सकता है तो हमें भी अपने देश को स्वच्छ रखने के लिए अपने आसपास सफाई रखनी होगी।

इस अभियान का केवल लक्ष्य है कि भारत देश को सम्पूर्ण तरीके से स्वच्छता की और ले जाना है।

स्वच्छता केवल सड़कों, गलियों नालियों, स्मारकों आदि की ही नहीं बाकी सरकारी दफ्तरों में जो भ्रष्टाचार रिश्वतखोरी है उसे भी खत्म करनी है।

इस अभियान का मुख्य उद्देश्य यह है कि पूरे भारत देश को स्वस्थ एवं साफ-सुथरा बनाया जा सके, इस स्वच्छ अभियान में खुले में शौच करने को लेकर विशेष ध्यान दिया गया है।

आज भी बहुत से गावों में लोग शौच करने के लिए खेतों आदि का प्रयोग करते है, खुले में शौच करते हैं। खुले में शौच करने से विभिन्न प्रकार की बीमारियां हो जाती है ये बात बहुत से लोगों को पता नहीं थी परंतु दिन प्रतिदिन लोगों को जागरूकता हो रही है।

आज लगभग सभी गाँव में शौचालय बन रहे है। स्वच्छ अभियान के अंतर्गत है शहर और ग्रामीण क्षेत्रों के लिए स्वच्छता अभियान को बनाया गया है।

स्वच्छ अभियान के अंतर्गत शहरों में सार्वजनिक स्थलों जैसे बस स्टैंड, पोस्ट ऑफिस, बैंक, मुख्य बाजार, रेलवे स्टेशन, सरकारी कार्यालयों, अस्पतालों, सरकारी विद्यालयों के आगे आदि के पास सार्वजनिक शौचालय बनाने की योजना है और साथ ही जिन आवासीय कॉलोनियों में घरों में शौचालय बनाने की जगह नहीं है वहां पर सामुदायिक शौचालय बनाने की योजना भी जारी की गयी है।

ग्रामीण क्षेत्रों का देखा जाए तो वहां पर लोग आज भी घरों से बाहर खेतों में खुले मैदानों में शौच करने जाते हैं। इसकी मुख्य वजह उनके घर में शौचालय नहीं होना ही है और शौचालय बनाने के लिए जागरूकता के साथ साथ उनके पास इतनी धनराशि भी नहीं है कि वो अपने घर में ही शौचालय बना लें। इसलिए सरकार ने ग्रामीण इलाकों में प्रत्येक घर में शौचालय बनवाने के लिए प्रत्येक घर को 12000 रुपए देने की योजना बनाई  थी। जिससे वहां के लोग शौचालय का निर्माण करवा सकें और भारत को स्वच्छ करने में अपना सहयोग दें।

आज लगभग 70% से भी ज्यादा गाँव में शौचालय बन चुके है।

स्वच्छ भारत अभियान को देश के हर क्षेत्र मैं पहुंचाने के लिए मोदी जी ने देश के 9 प्रभावी लोगों को चुना है जिनके नाम इस प्रकार हैं:-

  • सचिन तेंदुलकर
  • प्रियंका चोपड़ा
  • महेंद्र सिंह धोनी
  • अनिल अंबानी
  • बाबा रामदेव
  • तारक मेहता का उल्टा चश्मा की टीम
  • शशि थरूर आदि व्यक्तियों को चुना गया है।

स्वच्छ भारत अभियान को आगे बढ़ाने में उत्तर प्रदेश के मुख्यमंत्री श्री योगी आदित्यनाथ जी ने भी सरकारी कार्यालयों एवं सार्वजनिक स्थलों पर पान, गुटखा, धूम्रपान, इत्यादि जैसी गंदगी फैलाने जैसे उत्पादों पर भी रोक लगा दी।

अब उत्तर प्रदेश में कहीं भी कोई भी व्यक्ति गुटखा खाकर थूकने में दस बार सोचता है, सरकारी कार्यालयों में लोग पान गुटखा खाकर कहीं भी थूक नहीं सकते है। लोग पान मसाला, गुटखा खाकर इधर उधर सार्वजनिक स्थलों की दीवारों पर थूकते हैं जिससे दीवारें खराब हो जाती हैं।

योगी आदित्यनाथ ने स्वच्छता अभियान में लोगों की रुचि बढ़ाने के लिए सड़कों की साफ सफाई की शुरुआत भी की थी।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य क्या है?

स्वच्छ भारत अभियान का मुख्य उद्देश्य जिन्हें सम्पूर्ण भारत को अपनाना चाहिए।

  • खुले में शौच बंद करवाना जिसके तहत हर साल हजारों बच्चों की मौत हो जाती थी।
  • लगभग 11 करोड़ 11 लाख व्यक्तिगत, सामूहिक शौचालयों का निर्माण करवाना जिसमे 1 लाख 34 हजार करोड़ रुपए खर्च होंगे।
  • लोगों की मानसिकता को बदलना उचित स्वच्छता का उपयोग करके।
  • शौचालय उपयोग को बढ़ावा देना और सार्वजनिक जागरूकता को शुरू करना।
  • गांवो को साफ रखना।
  • 2019 तक सभी घरों में पानी की पूर्ति सुनिश्चित कर के गांवों में पाइपलाइन लगवाना जिससे स्वच्छता बनी रहे।
  • ग्राम पंचायत के माध्यम से ठोस और तरल अपशिष्ट की अच्छी प्रबंधन व्यवस्था सुनिश्चित करना।
  • सड़क फुटपाथ और बस्तियां साफ रखना।
  • साफ सफाई के जरिए सभी में स्वच्छता के प्रति जागरूकता पैदा करना।
  • सरकारी दफ्तरों की दीवारों पर गुटखा खाकर थूका हुआ होता था।

10 Lines on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi

  • खेत खलिहान और खुले में शौच करना बंद करवाना चाहिए। खुले में शौच करने से बीमारियां फैलती है जिसकी वजह से प्रत्येक वर्ष हजारों लोगों की जान खतरे में पड़ जाती है।
  • लोगों की मानसिकता को बदलना के लिए लोगों को शिक्षित होना बहुत जरूरी है और उचित स्वच्छता का उपयोग करके।
  • शहरों से फ़ैक्टरी को हटा कर ऐसी जगह भेजनी चाहिए जहां आम जनता न रहती हो।
  • 2020 तक सभी घरों में पानी की पूर्ति सुनिश्चित कर के गांवों में स्वच्छ जल की पूर्ति करने के लिए पाइपलाइन लगवानी चाइए।
  • गाँव व शहर की सड़क और फुटपाथ और बस्तियां साफ रखना।
  • लोगों को स्वच्छता के फायदे बताने चाहिए।
  • गांव और शहर को साफ रखना।

स्वच्छ भारत अभियान में मेरा योगदान पर निबंध

स्वच्छ भारत में सभी लोगों का योगदान होना चाहिए और अभी तक सभी आम लोग, सरकारी मंत्रालय के साथ ही प्रधानमंत्री द्वारा सहयोग प्रदान करने वाले लोगों में मृदुला सिन्हा, बाबा रामदेव, शशि थरूर, कमल हासन, सलमान खान, प्रियंका चोपड़ा, अमीर खान, अन्य सभी हस्तियों द्वारा ये कदम उठाया जा रहा है।

स्वच्छ भारत के अभियान से भारत में पहले के मुकाबले बहुत बड़ा प्रभाव पड़ा है और स्वच्छता की शिक्षा को दुनिया में फैलाना चाहिए। क्योंकि अब “पढ़ेगा इंडिया तभी तो बढ़ेगा इंडिया” और “स्वच्छ भारत का इरादा कर लिया हमने” इस नारे का इस्तेमाल जरूर करना चाहिए।

दोस्तों आज के लेख को पढ़ कर आपको बेहद अच्छा लगा होगा|

आज मैंने आपके साथ Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi Language में शेयर करा है।

आपको स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध अच्छा लगा हो तो देरी मत करो इस लेख को दुनिया भर में फैला दो जितना हो सके उतना शेयर करो।

होली पर निबंध

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आपके द्वारा लिखे हुए सभी पोस्ट बहुत ही काम के और हेल्पफुल होते है और आपके लेख को पढ़कर समझना भी बहुत आसान होता है. में अक्सर आपके ब्लॉग को पढ़ती हूँ और आपके द्वारा लिखा हुआ पोस्ट मेरी समझ में आसानी से आता है जिसे में अपने दोस्तों के साथ भी शेयर करती हु

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Swachh Bharat Abhiyan Essay

500+ words swachh bharat abhiyan essay.

Swachh Bharat Abhiyan is one of the most significant and popular missions to have taken place in India. Swachh Bharat Abhiyan translates to Clean India Mission. This drive was formulated to cover all the cities and towns of India to make them clean . This campaign was administered by the Indian government and was introduced by the Prime Minister, Narendra Modi. It was launched on 2nd October in order to honor Mahatma Gandhi’s vision of a Clean India. The cleanliness campaign of Swachh Bharat Abhiyan was run on a national level and encompassed all the towns, rural and urban. It served as a great initiative in making people aware of the importance of cleanliness.

Swachh Bharat Abhiyan essay

Source- ZeeBiz

Objectives of Swachh Bharat Mission

Swachh Bharat Abhiyan set a lot of objectives to achieve so that India could become cleaner and better. In addition, it not only appealed the sweepers and workers but all the citizens of the country. This helped in making the message reach wider. It aims to build sanitary facilities for all households. One of the most common problems in rural areas is that of open defecation. Swachh Bharat Abhiyan aims to eliminate that.

Moreover, the Indian government intends to offer all the citizens with hand pumps, proper drainage system , bathing facility and more. This will promote cleanliness amongst citizens.

Similarly, they also wanted to make people aware of health and education through awareness programs. After that, a major objective was to teach citizens to dispose of waste mindfully.

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Why India Needs Swachh Bharat Abhiyan?

India is in dire need of a cleanliness drive like Swachh Bharat Abhiyan to eradicate dirtiness. It is important for the overall development of citizens in terms of health and well-being. As the majority of the population of India lives in rural areas, it is a big problem.

Generally, in these areas, people do not have proper toilet facilities. They go out in the fields or roads to excrete. This practice creates a lot of hygiene problems for citizens. Therefore, this Clean India mission can be of great help in enhancing the living conditions of these people.

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In other words, Swachh Bharat Abhiyan will help in proper waste management as well. When we will dispose of waste properly and recycle waste, it will develop the country. As its main focus is one rural area, the quality of life of the rural citizens will be enhanced through it.

Most importantly, it enhances the public health through its objectives. India is one of the dirtiest countries in the world, and this mission can change the scenario. Therefore, India needs a cleanliness drive like Swachh Bharat Abhiyan to achieve this.

In short, Swachh Bharat Abhiyan is a great start to make India cleaner and greener. If all the citizens could come together and participate in this drive, India will soon flourish. Moreover, when the hygienic conditions of India will improve, all of us will benefit equally. India will have more tourists visiting it every year and will create a happy and clean environment for the citizens.

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध – Essay in Hindi

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Swachh Bharat abhiyan

Swachh Bharat abhiyan Essay

भारतवर्ष जो कभी किसी जमाने में सोने की चिड़िया कहलाता था, जो कि अपने वैभव और संस्कृति के लिए जाना जाता था। उस समय भारत में हर तरह की सुविधा उपलब्ध थी और उस समय हमारा देश विकसित देशों की श्रेणी में आता था। लेकिन समयचक्र के बदलाव के चलते हमारे देश पर कई विदेशी ताकतों ने अपना सम्राज्य स्थापित किया जिससे हमारी देश की हालत खराब हो गई।

हमारे देश में स्वच्छता पर बिल्कुल भी ध्यान नहीं दिया जाता है। आपने देखा होगा कि हमारे देश का कोई भी बड़ा राज्य हो या शहर हो या फिर गांव हो या फिर कोई गली या मोहल्ला हो वहां पर भी आपको कूड़ा-करकट मिलेगा।

जिसके कारण हमारे देश में अनेक बीमारियां फैल रही हैं और साथ ही हम हमारी जिंदगी गंदगी में जीने को मजबूर हैं। अब तो ऐसा लगता है मानो गंदगी हमारे जीवन का एक भाग हो गया है।

हमारे देश के विकास में रोङा बनने वाली समस्याओं में एक मुख्य कारण गंदगी भी है, क्योंकि इसके कारण विदेशी लोग हमारे देश में आना पसंद नहीं करते हैं और जिससे हमारे देश को इतनी ख्याति नहीं मिलती है।  

राष्ट्रपिता महात्मा गांधी जी का सपना:

हमारे पूजनीय राष्ट्रपिता महात्मा गांधी स्वतंत्रता से पहले स्वच्छ रहना और इसके तहत स्वच्छता को उन्होंने ईश्वर भक्ति के बराबर माना, स्वच्छता की शिक्षा को उन्होंने सभी को प्रदान करी उनका सपना था कि (स्वच्छ भारत) इसके तहत वह सभी नागरिकों को एक साथ मिलकर भारत को साफ रखने के बारे में सोचते थे इसी के तहत जिस आश्रम में वो रहते थे। वहां रोजाना प्रात: 4:00 बजे उठकर स्वयं सफाई करते थे। उन्होंने वर्धा आश्रम में अपना स्वयं का शौचालय बनवाया था जिसको प्रतिदिन शुबह – शाम साफ भी करते थे। गांधी जी की यही स्वच्छ भारत अभियान को पूरा करने के लिए प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत करी।

स्वच्छ भारत अभियान को सरकार द्वारा देश की स्वच्छता के प्रतीक के रूप में शुरू किया गया है। स्वच्छ भारत का सपना महात्मा गाँधी जी ने देखा था। अपने सपने के संदर्भ में गाँधी ने कहा कि स्वच्छता स्वतंत्रता से ज्यादा जरूरी है और स्वच्छता ही स्वस्थ और शांतिपूर्ण जीवन का एक अनिवार्य भाग है। महात्मा गाँधी जी अपने समय में देश की गरीबी और गंदगी से अच्छी तरह अवगत थे, इसीलिए उन्होंने अपने सपने को पूरा करने के लिए बहुत से प्रयास किये लेकिन वो अपने प्रयासों में सफल न हो सके।

स्वच्छ भारत अभियान हमारे देश को स्वच्छ करने के उद्देश्य से चलाया गया है। इस अभियान से हमारा देश साफ सुथरा होने के साथ-साथ देश के आर्थिक विकास को भी सहारा मिलेगा हर तरफ खुशहाली होगी।

इस अभियान को 2 अक्टूबर 2014 को माननीय प्रधानमंत्री ने दिल्ली की वाल्मीकि बस्ती में सफाई करके इसका उद्घाटन किया था। इस अभियान के अंतर्गत भारत देश के सभी शहरों ग्रामीण इलाकों मोहल्लों और गलियों में साफ सफाई करना है।

स्वच्छ भारत अभियान में प्रमुख रुप से खुले में शौच मुक्त भारत बनाने पर जोर दिया गया है क्योंकि आज भी हमारे गांव में अधिकतर घरों में शौचालय की सुविधा नहीं है जिसके कारण लोग बाहर शौच करने जाते हैं। जिससे वातावरण प्रदूषित होता है और साथ ही नई बीमारियां भी जन्म लेती हैं। इस अभियान को सफल बनाने के लिए सरकार ने सभी लोगों से निवेदन किया कि वे अपने आस-पास की और दूसरी जगहों की सफाई के लिए साल में केवल 100 घंटों के लिए अपना योगदान दे।

स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत:

भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने महात्मा गांधी जी की जयंती 2 अक्टूबर 2014 को स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की , स्वच्छ भारत अभियान को भारत मिशन और स्वच्छता अभियान भी कहा जाता है ।महात्मा गांधी जयंती के अवसर पर माननीय श्री नरेंद्र मोदी जी महात्मा गांधी जी की 145 वी जयंती के अवसर पर इस अभियान की शुरुआत की 2 अक्टूबर 2014 को उन्होंने राजपथ पर जनसमूहों को संबोधित करते हुए राष्ट्रवादीओं से स्वच्छ भारत अभियान में भाग लेने और इसे सफल बनाने को कहा साफ-सफाई के संदर्भ में यह सबसे बड़ा अभियान है। साफ-सफाई को लेकर भारत की स्थापित छवि को बदलने के लिए श्री नरेंद्र मोदी जी ने देश को एक मुहिम से जोड़ने के लिए जन आंदोलन के रूप में इसकी शुरुआत की ।

भारत के प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने इस अभियान को पूरा करने के लिए 5 साल का लक्ष्य रखा था और उन्होंने कहा था कि महात्मा गांधी जी के 150 वीं जयंती तक पूरे भारत को स्वच्छ करने का लक्ष्य रखा है। इसमें उन्होंने प्रत्येक भारतवासी से आग्रह किया था कि वे इस अभियान से जुड़ें और अपने आसपास के क्षेत्रों की साफ-सफाई करें। इस अभियान को सफल बनाने के लिए उन्होंने देश के 11 महत्वपूर्ण एवं प्रभावी लोगों कोई इसका प्रचार प्रसार करने के लिए चुना है।

जिनमें कुछ क्रिकेटर, कुछ फिल्मकार, और कुछ महान लोग हैं, जिनको लोग सुनना पसंद करते हैं और उनकी बातों पर अमल भी करते हैं। मोदी जी ने कहा था कि हर एक व्यक्ति को इस अभियान में 9 लोगों को जोड़ना है और फिर वह दूसरा व्यक्ति भी 9 लोगों को जोड़ेगा इससे अभियान का प्रचार प्रसार भी होगा और लोगों में उत्साह भी होगा कि अपने आसपास सफाई रखनी आवश्यक है।

इस अभियान को सफल बनाने के लिए स्वयं प्रधानमंत्री मोदी जी और देश के गणमान्य लोगों ने सड़कों पर साफ सफाई की थी। इसको देखकर लोगों में साफ सफाई के प्रति नया उत्साह पैदा हो गया और लोगों ने साफ सफाई भी करना चालू कर दिया है।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य है कि 2019 तक पूरा भारत स्वच्छ एवं साफ सुथरा हो।

स्वच्छ भारत अभियान से हमारा देश केवल स्वच्छ ही नहीं होगा इससे देश में हर तरफ खुशहाली आएगी और लोग खुश रहेंगे। क्योंकि अगर हमारे आसपास की जगह साफ सुथरी होगी तो हम भी खुश रहेंगे।  

भारत का अगर हर एक शहर, गांव, सड़के, गलियां साफ-सुथरी होंगी तो हमारा वातावरण भी शुद्ध एवं स्वच्छ रहेगा जिससे लोग बीमार कम पड़ेंगे और इससे देश के आर्थिक विकास में भी सहायता होगी।

स्वच्छ भारत अभियान से हमारा पर्यटन क्षेत्र भी तेजी से उन्नति करेगा क्योंकि आज देश में हर जगह कूड़ा-करकट और गंदगी फैल होने के कारण विदेशी पर्यटक हमारे देश में आना पसंद नहीं करते हैं। इसलिए जैसे ही हमारा देश साफ सुथरा हो जाएगा तो विदेशी पर्यटक भी हमारे देश में आने के लिए आकर्षित होंगे।

स्वच्छ भारत अभियान को तत्कालीन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने 2 अक्टूबर 2014 को आरंभ किया था। उन्होंने कहा था कि अगर देश में विकास चाहिए तो सबसे पहले देश को स्वच्छ करना होगा। इस अभियान के अंतर्गत है शहर और ग्रामीण क्षेत्रों के लिए अलग-अलग योजनाएं बनाई गई है।

जिनमें शहरों में सार्वजनिक स्थानों जैसे बस स्टैंड, पोस्ट ऑफिस, बैंक, मुख्य बाजार, रेलवे स्टेशन, सरकारी कार्यालयों आदि के पास सार्वजनिक शौचालय बनाने की योजना है और साथ ही जिन आवासीय कॉलोनियों में घरों में शौचालय बनाने की जगह नहीं है वहां पर सामुदायिक शौचालय बनाने की योजना है।

ग्रामीण क्षेत्रों की बात करें तो वहां पर लोग आज भी घरों से बाहर शौच करने जाते हैं इसकी मुख्य वजह उनके घर में शौचालय नहीं होना है और शौचालय बनाने के लिए उनके पास इतनी धनराशि भी नहीं है। इसलिए सरकार ने ग्रामीण इलाकों में प्रत्येक घर में शौचालय बनवाने के लिए प्रत्येक घर को 12000 रुपए देने की योजना बनाई है। जिससे वहां के लोग शौचालय का निर्माण करवा सकें और भारत को स्वच्छ करने में अपना योगदान दें सके।

स्वच्छ भारत अभियान को आगे बढ़ाते हुए उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी सरकारी कार्यालयों एवं सार्वजनिक स्थलों पर पान, गुटखा, धूम्रपान  जैसे गंदगी फैलाने उत्पादों पर रोक लगा दी।

अब सरकारी कार्यालयों में लोग पान-गुटखा खाकर कहीं भी थूक नहीं सकते है। क्योंकि लोग पान-गुटखा खाकर सार्वजनिक स्थलों की दीवारों पर थूकते हैं जिससे दीवारें खराब हो जाती हैं। योगी आदित्यनाथ ने स्वच्छता अभियान मैं लोगों की रुचि बढ़ाने के लिए सड़कों की साफ सफाई भी की थी। जिससे लोगों मैं साफ सफाई के प्रति चेतना उत्पन्न हो।

इस अभियान का मुख्य उद्देश्य यह है कि देश के प्रत्येक घर में पक्के शौचालय का निर्माण हो और लोग इसका उपयोग करके भारत को स्वच्छता की ओर बढ़ाने में सहयोग करें।

गांधी जी का मानना था कि लोग जब तक स्वच्छता के प्रति सचेत नहीं होंगे तब तक हमारा देश स्वच्छ एवं साफ सुथरा नहीं हो सकता है। इस अभियान को महात्मा गांधी जी के 145 वी जयंती पर आरंभ किया गया था। इसका उद्घाटन 2 अक्टूबर 2014 माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने दिल्ली की वाल्मीकि बस्ती में सड़कों पर सफाई करके किया था।

स्वच्छ भारत अभियान को आगे बढ़ाते हुए तत्कालीन मानव संसाधन मंत्री श्रीमती स्मृति ईरानी ने स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान का आरंभ किया था। इसके अंतर्गत उन्होंने स्कूल के शिक्षकों और बच्चों को विद्यालय की साफ-सफाई करने का लक्ष्य रखा था।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य केवल स्वच्छता तक ही सीमित नहीं है क्योंकि इस अभियान के अंतर्गत है हमारे वातावरण का भी ध्यान रखा गया है इसमें नए पेड़ पौधे लगाने, जंगलों को बचाने, पानी बचाने जैसे मुख्य मुद्दे भी शामिल हैं।

इस अभियान के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में कचरे के निस्तारण के लिए सरकार ने तरल एवं ठोस अपशिष्ट पदार्थों और अन्य कूड़ा-करकट के लिए वेस्ट मैनेजमेंट की नई तकनीकों को बढ़ाने पर जोर दिया है। जिससे गंदगी भी कम होगी और कचरे का सदुपयोग भी हो जाएगा।

इसके अंतर्गत शहरी क्षेत्रों में सामुदायिक एवं सार्वजनिक शौचालय बनाने की योजना है और ग्रामीण क्षेत्रों में प्रत्येक घर में शौचालय बनाने की योजना है। स्वच्छ भारत अभियान में गरीब लोगों एवं आर्थिक रूप से पिछड़े हुए लोगों को शौचालय बनवाने के लिए सरकार की तरफ से अनुदान भी दिया जाएगा।

प्रधानमंत्री मोदी जी ने स्वच्छ भारत अभियान के मुख्य उद्देश्य के लक्ष्य को पाने के लिए 5 साल की योजना बनाई है, जो कि 2019 में पूरी होगी इसके अंतर्गत पूरे भारत को खुले में शौच मुक्त करना है। अगर लोग इसी प्रकार श्रमदान करते रहे तो यह लक्ष्य भी पा लिया जाएगा।

स्वच्छ भारत अभियान का एक और मुख्य उद्देश्य है कि लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता पैदा करना। क्योंकि लोग स्वच्छता के प्रति आज भी लापरवाह है, इसी लापरवाही के कारण आए दिन में नई बीमारी से जूझते रहते हैं। इसलिए जब लोग स्वच्छता के प्रति जागरुक होंगे तो वह समय साफ सफाई की ओर ध्यान देंगे और देश स्वच्छता की ओर अग्रसर होगा।  इसकी शुरुआत हमें खुद से ही करनी होगी क्योंकि जब तक हम हैं समय साफ-सफाई नहीं करेंगे तब तक भारत के स्वच्छ होने का सपना नहीं देखा जा सकता है।

इसलिए हमें स्वच्छ भारत अभियान में बढ़ चढ़कर हिस्सा लेना चाहिए और कुछ नहीं तो हमें कम से कम रोज हमारे घर के सामने की गली को ही साफ कर लेना चाहिए। आप भी इस अभियान से जुड़ सकते हैं। इस अभियान से जुड़ने के लिए सिर्फ आपको अपने आसपास के क्षेत्र में साफ-सफाई रखनी होगी और स्वच्छता के प्रति लोगों को जागरुक करना होगा।

स्वच्छ भारत अभियान –

Swachh Bharat Mission

Swachh Bharat Mission Essay

स्वच्छता ना केवल हमारे घर सड़क तक के लिए ही जरूरी नहीं होती है। यह देश ओर राष्ट्र की आवश्यकता होती है, इससे ना केवल हमारा घर आँगन ही स्वच्छ रहेगा पूरा देश ही स्वच्छ रहेगा। इसी को मद्देनजर रखते हुए भारत सरकार द्वारा चलाई जा रही स्वच्छ भारत अभियान जो कि हमारे देश के प्रत्येक गांव और शहर में पराम्भ की गई है। जो देश के प्रत्येक गली गांव की प्रत्येक सड़कों से लेकर शौचालय का निर्माण कराना और देश के बुनियादी ढांचे को बदलना ही इस अभियान का उद्देश्य है।

हमारा देश भी पूर्णतया स्वच्छ हो इसके लिए कई महापुरुषों ने जिसके सपने देखे थे और इनको साकार करने की भी कोशिश की थी लेकिन वह किसी कारण सफल नहीं हो पाए, जिन्होंने भारत को एक निर्मल और स्वच्छ देश बनाने का सपना देखा था।

वे चाहते थे कि विदेशों की तरह हमारा देश भी साफ सुथरा दिखे इसके लिए उन्होंने लोगों को जागरूक भी करना चालू किया था। लेकिन उस समय देश की आजादी का आंदोलन भी जोरों पर था, जिसके कारण लोगों ने स्वच्छ भारत योजना पर ध्यान नहीं दिया था।

लेकिन आजादी के इतने सालों के बाद भी हमारा देश सोच नहीं हुआ है बल्कि और ज्यादा कूड़े-करकट और गंदगी से भर गया है। क्योंकि हमारे देश के किसी भी सरकार ने स्वच्छ भारत की ओर ध्यान नहीं दिया। और अगर उन्होंने ध्यान भी दिया तो उस पर पूरी तरह से अमल नहीं हो पाया जिसके कारण आज हमारा देश गंदगी के ढेर पर बैठा है।

आज भी हमारे देश के कुछ ही घरों में शौचालय की सुविधा है, गाँवो में तो लोग आज भी शौच करने बाहर ही जाते हैं जिसके कारण गाँवो में भी गंदगी फैल जाती है। और शहरों की बात करें तो शहरों में शौचालय तो है लेकिन वहां पर अन्य गंदगी यहां बहुत ज्यादा है जैसे की फैक्ट्रियों का अपशिष्ट कूड़ा करकट, गंदे नाले और घरेलू अपशिष्ट जो कि सड़कों पर इतनी ज्यादा मात्रा में पाया जाता है कि हमारे देश की सड़कें दिखाई नहीं देती हैं सिर्फ और सिर्फ कूड़ा-करकट दिखाई देता है।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य:

स्वच्छ भारत अभियान एक राष्ट्रीय स्तर का अभियान है जिसके अंतर्गत हमारे पूरे देश को स्वच्छ करने का लक्ष्य लिया गया है। :-

  • इस अभियान का प्रथम उद्देश्य है कि देश का कोना-कोना साफ सुथरा हो।
  • भारत के हर शहर और ग्रामीण इलाकों के घरों में शौचालय का निर्माण करवाया जाए।
  • शहर और गांव की प्रत्येक सड़क गली और मोहल्ले साफ-सुथरे हो।
  • हर एक गली में कम से कम एक कचरा पात्र आवश्यक रूप से लगाया जाए।
  • खुले में शौच बंद करवाना जिसके तहत हर साल हजारों बच्चों की मौत हो जाती है। 
  • लगभग 11 करोड़ 11 लाख व्यक्तिगत,सामूहिक शौचालयों का निर्माण करवाना जिसमे 1 लाख 34 हजार करोड रुपए खर्च होंगे। 
  • लोगों की मानसिकता को बदलना उचित स्वच्छता का उपयोग करके। 
  • शौचालय उपयोग को बढ़ावा देना और सार्वजनिक जागरूकता को शुरू करना। 
  • गांवो को साफ रखना। 
  • 2019 तक सभी घरों में पानी की पूर्ति सुनिश्चित कर के गांवों में पाइपलाइन लगवाना जिससे स्वच्छता बनी रहे। 
  • ग्राम पंचायत के माध्यम से ठोस और तरल अपशिष्ट की अच्छी प्रबंधन व्यवस्था सुनिश्चित करना। 
  • सड़के फुटपाथ ओर बस्तियां साफ रखना। 
  • साफ सफाई के जरिए सभी में स्वच्छता के प्रति जागरूकता पैदा करना। 

स्वच्छ भारत अभियान की जरूरत क्यों पड़ी –

आपने देखा होगा कि हमारे देश में कोई भी ऐसी जगह नहीं है जहां पर कूड़ा-करकट नहीं फैला हो। हमारे भारत देश के हर शहर, हर गांव, हर एक मोहल्ला, हर एक गली कूड़े-करकट और गंदगी से भरी पड़ी है। जिसके कारण लोग आए दिन बीमार पड़ रहे हैं और नई-नई बीमारियां जन्म ले रही हैं, आर्थिक रूप से भी गरीब बना रही है। जिसके कारण हमारे देश आर्थिक विकास नहीं हो पा रहा है।

हमारे देश के गाँवो में शौचालय नहीं होने के कारण के लोग आज भी खुले में शौच करने जाते हैं जिसके कारण हर जगह गंदगी फैलती है और यह गंदगी नई बीमारियों को आमंत्रण देती है। और गाँवो में अच्छी चिकित्सा सुविधा नहीं होने के कारण कई बार तो लोगों को मौत का मुंह भी देखना पड़ जाता है।  

आपने देखा होगा कि हर शहर के नुक्कड़ पर सड़कों पर गंदगी इतनी फैली होती है कि वहां पर लगा कचरा पत्थर भी कचरे से भरा होता है और उसके आसपास बहुत ज्यादा कूड़ा-करकट और गंदगी रहती है। जिसके कारण हर समय बीमारियां होने का खतरा रहता है। हमारे आसपास के सभी नदी-नाले भी कचरे से इस तरह से रहते हैं जैसे कि पानी की जगह कचरा बह रहा हो।

इस कूड़ा-करकट और गंदगी कारण लोग हमारे देश में खाना कम ही पसंद करते हैं जिसके कारण हमारे देश को आर्थिक नुकसान होता है। इस कचरे के कारण हमारे साथ-साथ अन्य जीव जंतुओं को भी नुकसान होता है और साथ ही हमारी पृथ्वी भी प्रदूषित होती है।

पृथ्वी के प्रदूषित होने के कारण हमें हवा, जल और अन्न भी प्रदूषित ही मिलता है। गंदगी हमारे वातावरण के लिए हर तरह से खतरनाक है। यह कहीं महामारी का रूप धारण कर ले, इसलिए स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की गई है।

इस गंदगी और कूड़े-करकट का जिम्मेदार भी हम और आप ही हैं क्योंकि हम लोग भी कभी जानबूझकर और कभी अनजाने में कहीं भी कचरा फेंक देते हैं जिसके कारण हमारे देश में हर तरफ कचरा फैल जाता है और इसके साथ ही हमारा पूरा वातावरण प्रदूषित हो जाता है।

यह गंदगी और कूड़ा करकट दिन-ब-दिन बढ़ते ही जा रहे हैं जिसके कारण अनेकों परेशानियां खड़ी हो रही हैं इसलिए स्वच्छ भारत अभियान की जरूरत पड़ी जिसके तहत देश के सभी घरों में शौचालय बनवाए जाएंगे और सभी लोग इसमें श्रमदान करके अपने गली मोहल्ले की रोज सफाई रखेंगे जिससे कि हमारा पूरा भारत स्वच्छ और साफ दिखाई दें।

हमारे देश में स्वच्छता नहीं होने के कारण –

हमारे देश की सोच नहीं होने का सबसे पहला कारण आप और हम ही है क्योंकि गंदगी और कूड़ा-करकट मनुष्य जाति के द्वारा ही फैलाया जाता है। आप और हम कहीं भी कूड़ा-करकट फेंक देते हैं और हर तरफ गंदगी फैला देते हैं और उसका दोष हम दूसरों को देते हैं लेकिन हम कभी अपने आप को नहीं देखते हैं कि हम क्या कर रहे हैं। हमारे देश के स्वच्छ और साफ सुथरा नहीं होने के कई कारण है जिनमें से है प्रमुख कारण यहां पर लिख रहे हैं।

  • शिक्षा का अभाव:

हमारा देश शिक्षा के क्षेत्र में बहुत पिछड़ा हुआ है हालांकि शिक्षा के क्षेत्र में धीरे-धीरे क्रांति आई है लेकिन अभी भी शिक्षा का घर घर पहुंचना बाकी है। क्योंकि अगर लोग शिक्षित नहीं होंगे तो उन्हें पता ही नहीं होगा कि वे अनजाने में अपने आसपास के वातावरण को प्रदूषित कर रहे हैं, और वातावरण के प्रदूषित होने के कारण उनको क्या नुकसान हो रहा है। लोगों में स्वच्छ और साफ सुथरे भारत के लिए शिक्षा का प्रचार प्रसार बहुत जरूरी है।

  • खराब मानसिकता:

हमारे देश का गंदगी से अटे रहने का एक और कारण लोगों की खराब मानसिकता भी है क्योंकि ऐसी मानसिकता वाले लोग मानते हैं कि हमारी थोड़े से कचरा फैलाने से देश गंदा थोड़ी ना होगा।  इस प्रकार की मानसिकता वाले लोग हर जगह कचरा फैलाते रहते हैं जिसके कारण वह थोड़ा-थोड़ा कचरा बहुत ही ज्यादा बन जाता है और हमारे देश की सभी सड़कें गलियां इस कचरे की भेंट चढ़ जाती हैं। ऐसे लोग सरकार को दोष देते हैं कि वह सफाई नहीं करती लेकिन वह खुद के फैलाए कचरे के बारे में कभी ध्यान नहीं देते हैं।

  • घरों में शौचालयो का नहीं होना:

आपने देखा होगा कि अक्सर गांव में घरों में शौचालय नहीं पाए जाते हैं जिसके कारण लोग सोच करने के लिए या तो खेतों में जाते हैं या फिर रेल की पटरियों के पास जाकर शौच करते हैं जिसके कारण हर तरफ गंदगी का माहौल पैदा हो जाता है। जो कि सिर्फ मनुष्य जाति के लिए ही नहीं पृथ्वी की हर जीव जंतु के लिए बहुत ही हानिकारक होता है। इससे गंदगी तो फैलती है और साथ में वायु प्रदूषण भी होता है। जिससे लोगों को गंभीर बीमारियां होने का खतरा पैदा हो जाता है इसलिए हर घर में शौचालय बनवाना आवश्यक है।

  • अत्यधिक जनसंख्या:

हमारा भारत देश जनसंख्या के मामले में विश्व में दूसरे स्थान पर आता है, अगर इसी प्रकार से जनसंख्या बढ़ती रही तो आने वाले वर्षों में  जनसंख्या के मामले में पहला नंबर हमारे देश का ही होगा। अधिक जनसंख्या होने के कारण कचरा और गंदगी भी अधिक होती है जिसका निस्तारण करना बहुत ही मुश्किल होता है। गंदगी अधिक अधिक होने के कारण इस गंदगी को साफ करने के लिए हमारे देश के आर्थिक विकास में लगने वाली पूंजी गंदगी की सफाई में ही लग जाती है। इसलिए मैं जनसंख्या वृद्धि पर रोक लगाने चाहिए सरकार ने इसके लिए प्रयास भी किए हैं और लोगों में जागरूकता फैलाने के लिए स्लोगन भी लिखे हैं जैसे की हम दो हमारे दो।

  • सार्वजनिक शौचालय का अभाव:

हमारे देश में सार्वजनिक शौचालयों का अभाव हर जगह पाया जाता है जिसके कारण लोग कहीं भी सड़क के किनारे या कोई कोना देखकर सोच कर लेते हैं जिससे बहुत ज्यादा गंदगी फैलती है। हमें देश में हर मुख्य स्थान पर सार्वजनिक शौचालय बनाने की अत्यधिक जरूरत है। अगर सार्वजनिक शौचालय होंगे तो लोग उनका इस्तेमाल करेंगे और बाहर सड़कों पर गंदगी कम फैलेगी।

  • कचरे की सही निस्तारण का अभाव:

हमारे देश में कचरा बहुत बड़ी समस्या है, 2017 के आंकड़ों के अनुसार भारत प्रति दिन 1,00,000 मीट्रिक टन कचरा उत्पन्न करता है। इतनी बड़ी संख्या में कचरा निकलने के बावजूद भी इसके निस्तारण के सही उपाय नहीं किए गए हैं, जिसके कारण वह कचरा हमें सड़कों और गली मोहल्लों में दिखाई देता है। कभी-कभी तो कचरा और गंदगी कारण लोगों में इंशा भी हो जाती है जिससे जान माल की हानि होती है। इसलिए कचरे के सही निस्तारण के  लिए जब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाए जाएंगे तब तक कचरे के कारण फैली गंदगी हमारे जीवन को प्रभावित करती रहेगी।

  • उद्योगों का अपशिष्ट पदार्थ:

हमारे देश में छोटे बड़े मिलाकर बहुत सारे उद्योग धंधे हैं, जिनसे अलग-अलग प्रकार का बहुत बड़ी मात्रा में अपशिष्ट पदार्थ निकलता है  जिसे साधारण शब्दों में हम गंदगी का भंडार कर सकते हैं। इन उद्योग-धंधों को चलाने वाले लोग इस अपशिष्ट पदार्थ का निस्तारण करने का सही उपाय नहीं खोजते हैं और पास ही बहरे नदी नालों में इसको बहा देते हैं जिससे कि पूरा वातावरण ही प्रदूषित हो जाता है क्योंकि अगर नदियां ही प्रदूषित हो जाएंगे तो उनसे मिलने वाला जल भी प्रदूषित होगा और उनका जल पीने वाला हर प्राणी इसका शिकार हो जाएगा।

अगर इस पर जल्द ही कोई कार्यवाही नहीं होती है तो एक दिन हमारी सभी नदियों का जल जहर बन जाएगा।  इसलिए सरकार को इसके खिलाफ ठोस कदम उठाकर नए कानून बनाने चाहिए और उद्योग-धंधों को चलाने वाले लोगों को सख्त हिदायत दी जानी चाहिए कि वह अपना अपशिष्ट पदार्थ किसी भी नदी नाले नहीं फेकेंगे।

हमारे भारत देश को स्वच्छ रखने के उपाय:

स्वच्छता अभियान निबंध

स्वच्छता अभियान पर निबंध

  • हमारे भारत देश को स्वच्छ और साफ सुथरा रखने के लिए हमें आज ही अपने से शुरुआत करनी होगी क्योंकि जब तक लोग खुद जागरुक नहीं होंगे तब तक हमारे देश में साफ सफाई का होना नामुमकिन है। इसलिए हमें अपने घरों के साथ-साथ अपने गली-मोहल्लों को भी खुद ही साफ रखना होगा वहां पर किसी भी प्रकार की गंदगी नहीं फैलानी होगी जो भी कचरा होगा सदैव कचरा पात्र में ही डालें।
  • हमें  देश के हर घर में शौचालय बनवाने होंगे।
  • हर शहर हर हर गांव की सार्वजनिक स्थलों पर सार्वजनिक शौचालय बनवाने होंगे।
  • लोगों में साफ सफाई और स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलानी होगी।
  • हमें जगह-जगह कचरा पात्रों का निर्माण करना होगा।
  • शिक्षा के प्रचार-प्रसार को बढ़ावा देना होगा।
  • लोगों की मानसिकता बदलने के लिए साफ सफाई के संदेश गांव गांव तक पहुंचाना होगा।
  • लोगों को गंदगी के गंभीर परिणामों के बारे में बताना होगा जिससे की  उनको पता चले कि उनके गंदगी फैलाने से उनके साथ साथ पूरे वातावरण को कितना नुकसान होता है।
  • हमें बढ़ती हुई जनसंख्या को कम करना होगा।
  • हमें कचरे के निस्तारण की सही विधि का पता लगाकर उस को अमल में लाना होगा जैसे कि पहाड़ जैसे कचरे के ढेरों को हटाया जा सके।
  • हमें उद्योग धंधे चलाने वाले लोगों में जागरूकता फैलाने होगी कि उनके छोटे से स्वार्थ के कारण हमारा पूरा वातावरण कितना प्रदूषित हो रहा है।
  • हमें नए कानूनों का निर्माण करना होगा जिससे कि लोग कहीं भी गंदगी ना फैलाएं।

स्वच्छ भारत अभियान के लिए चुने गए प्रभावी व्यक्ति –

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वच्छ भारत अभियान के प्रचार प्रसार के लिए कुछ प्रभावी व्यक्तियों को चुना था जिनका काम अपने अपने क्षेत्र में लोगों को स्वच्छता के प्रति जागरुक करना है उन लोगों के नाम इस प्रकार हैं-

  • सचिन तेंडुलकर (क्रिकेटर) 
  • अनिल अंबानी (उद्योगपति)
  • कमल हसन (अभिनेता) 
  • विराट कोहली (क्रिकेटर) 
  • महेन्द्र सिंह धोनी (क्रिकेटर) 
  • ईआर दिलकेश्वर कुमार 
  • मृदुला सिन्हा 
  • बाबा रामदेव
  • प्रियंका चोपड़ा 
  • और तारक मेहता का उल्टा चश्मा की टीम जैसी नामचीन हस्तियों भी इस अभियान से जुड़ी हैं और सभी को स्वच्छ भारत अभियान में शामिल करने को आमंत्रित कर रही है।

स्वच्छ भारत अभियान में शामिल मंत्रालय –

  • शहरी विकास मंत्रालय 
  • राज्य सरकार 
  • ग्रामीण विकास मंत्रालय 
  • गैर सरकारी संगठन 
  • पेयजल और स्वच्छता मंत्रालय 
  • सार्वजनिक क्षेत्र के उपक्रम व निगम 

इस प्रकार स्वच्छता अभियान में इन मंत्रालयों का महत्वपूर्ण योगदान है।

स्वच्छ भारत अभियान हिंदी निबंध

स्वच्छ भारत अभियान

स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत हमारे भारत के शहरों को साफ सुथरा रखने के लिए एक अलग से रणनीति बनाई गई है। इस अभियान का उद्देश्य है कि देश के विभिन्न शहरों के 1।4 लाख करोड लोगों को शामिल करते हुए 2.5 लाख सामुदायिक और 2.6 लाख सार्वजनिक शौचालय बनाने का लक्ष्य रखा गया है। क्योंकि हमारे देश में शौचालयों की बहुत कमी है इस कमी के कारण लोग शौच करने बाहर जाते हैं जिससे कि गंदगी बहुत अधिक मात्रा में फैलती है। इस अभियान के तहत जहां पर सार्वजनिक शौचालय बनाना संभव नहीं है वहां पर सामुदायिक शौचालय बनवाए जाएंगे।

स्वच्छ भारत अभियान का प्रथम चरण 2 अक्टूबर 2019 को पूरा होगा, इस 5 साल की अवधि में 4401 शहरों को शामिल किया जाएगा। इसमें शहरों के प्रमुख स्थान जैसे कि सार्वजनिक अस्पताल, बस स्टैंड, बैंक, पोस्ट ऑफिस, रेलवे स्टेशन, मुख्य बाजार, सरकारी कार्यालयों आदि के पास  सार्वजनिक शौचालय बनाए जाएंगे। 

क्योंकि लोग इन्हीं प्रमुख स्थलों पर बहुत ज्यादा आते हैं, और अगर उनको इन्हीं प्रमुख स्थलों पर शौचालय नहीं मिलता है तो वे इधर उधर कहीं भी शोच करते है। जिसका परिणाम आपने देखा होगा कि हर सार्वजनिक स्थल पर कूड़ा करकट और गंदगी का अंबार लगा रहता है।

स्वच्छ भारत अभियान को सफल बनाने के लिए 62,009 करोड़ रुपयों का बजट बनाया गया है, जिसमें से 14,623 करोड़ रुपये केंद्र सरकार द्वारा इस  अभियान में लगाए जाएंगे। हमारे देश में ठोस अपशिष्ट पदार्थ का कचरा बहुत ज्यादा उत्पन्न होता है उसके स्थाई समाधान के लिए 7,366 करोड़ लगाए जाएंगे।

चूँकि हमारे देश में घरों में शौचालय की बहुत कमी है इसलिए सरकार ने इसको भी मध्य नजर रखते हुए 4,165 करोड़ रुपये व्यक्तिगत घरेलू शौचालय बनवाने का बजट रखा है। इसके साथ ही 1,828 करोड़ रुपये स्वच्छ भारत अभियान के प्रचार प्रसार में खर्च किए जाएंगे और 655 करोड़ रुपये सामुदायिक शौचालयका बजट रखा गया है।

स्वच्छ भारत अभियान का मुख्य लक्ष्य है कि लोगों में जितना हो सके स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाई जाए और खुले में शौच की रोकथाम, गंदगी से भरे शौचालयों को स्वचालित फ्लश शौचालय  में बदलना, ठोस अपशिष्ट का प्रबंधन करना।

इसके साथ ही लोगों को स्वच्छता के लाभ बताना और उनको व्यापार में कैसे लाया जाए यह भी लोगों को बताया जाएगा। जिससे लोग खुद साफ सफाई की ओर ध्यान देने लगे।  और देश को स्वच्छ करने के इस अभियान में अपना समर्थन दें।

आपने देखा होगा कि जितनी तेजी से हमारे शहरों का विकास हुआ है ग्रामीण क्षेत्र उतना ही पिछड़ा हुआ है  हालांकि सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों को भी सुख सुविधा पूर्ण बनाने के लिए बहुत प्रयास किए हैं लेकिन उन योजनाओं का पूरा लाभ ग्रामीण क्षेत्रों में देखने को नहीं मिला है। 

जिस कारण आज भी ग्रामीण क्षेत्रों के ज्यादातर घरों में शौचालय नहीं पाए जाते है। जिस कारण वहां के लोग आज भी  खुले में शौच करने को मजबूर है, इसलिए सरकार ने स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत है ग्रामीण क्षेत्रों को भी शामिल किया है।

गाँवो में यह अभियान 1999 से निर्मल भारत अभियान योजना के नाम से चलता आ रहा है। और 24 सितंबर 2014 में इस कार्यक्रम का पुनर्गठन किया गया जिसमें इसका नाम स्वच्छ भारत अभियान रख दिया गया।

ग्रामीण इलाकों में कचरे के प्रबंधन के लिए ग्रामीण लोगों को कचरे से खाद कैसे बनाई जाए इसके बारे में बताया जाएगा और इस कचरे से बनी खाद के क्या लाभ हैं यह भी बताया जाएगा ताकि लोग अपने खेतों में इस तरह की खाद का उपयोग करें।

इस अभियान के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में 11 करोड़ 11 लाख शौचालय निर्मित करने की योजना है। इस अभियान को गांव के हर एक व्यक्ति तक पहुंचाने के लिए स्कूल के शिक्षको, स्कूली छात्र छात्राओं  और पंचायत समिति एवं ग्राम पंचायत को भी इस से जोड़ा जाएगा ताकि जल्द से जल्द लोगों में स्वच्छता के प्रति चेतना उत्पन्न हो।

इस अभियान के तहत है ग्रामीण इलाकों के प्रत्येक घर में शौचालय बनवाने के लिए प्रत्येक घर पर 10000 रुपए आवंटित किए गए थे। लेकिन इन सालों में महंगाई बढ़ने के कारण यह राशि 10000 से बढ़ाकर 12000 रुपए कर दी गई है।

स्वच्छ भारत अभियान के तहत ग्रामीण इलाकों में यह कार्य किए जाएंगे –

  • ग्रामीण इलाकों को खुला शौच मुक्त करना।
  • ग्रामीण इलाकों के प्रत्येक घर में शौचालय का निर्माण करवाना।
  • कूड़े-करकट और कचरे  को उपयोगी बनाकर उसे खाद का निर्माण करना।
  • गंदे पानी के निकास के लिए नालियां बनवाना।
  • ग्रामीण इलाकों के सार्वजनिक स्थलों पर कचरा पात्र का निर्माण करवाना।
  • लोगों में स्वच्छता के प्रति  चेतना जगाना।

स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान भारत की तत्कालीन मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने 25 सितंबर 2014 में इसका उद्घाटन किया था। इस अभियान को शिक्षकों और स्कूली छात्र छात्राओं के लिए बनाया गया था और इस अभियान में माननीय मंत्री स्मृति ईरानी ने भी भाग लिया था। इस अभियान के अंतर्गत शिक्षकों और विद्यार्थियों को अपने विद्यालय में साफ सफाई रखनी थी।

इस अभियान को 25 सितंबर 2014 से 31 अक्टूबर 2014 तक चलाया गया,इसके अंतर्गत विभिन्न विद्यालयों में विभिन्न प्रकार की गतिविधियां की गई जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं :-

  • स्कूलों के हर एक कक्षा में कचरा पात्र रखवाए गए।
  • स्कूलों के मैदानों और बगीचों को साफ किया गया।
  • कक्षा पुस्तकालय सभा स्थल एंव प्रयोगशाला में साफ सफाई की गई।
  • स्कूलों का वार्षिक रखरखाव करना जिनमें टूटी-फूटी देना कि फिर से मरमत करना और  स्कूल की दीवारों पर रंग रोगन करना।
  • स्कूल  की पानी की टंकियों की सफाई करना।
  • स्वच्छता के प्रति चेतना के लिए वाद विवाद एवं नाटकों की प्रतियोगिता करना।
  • चित्रकला प्रतियोगिता का आयोजन करना जिसमें स्वच्छता से संबंधित चित्रों का चित्रण करना।
  • स्कूलों में हरियाली के लिए पेड़ पौधे लगाना।
  • सभी बच्चों को बताया गया कि खाना खाने से पहले हाथ धोना और खाना खाने के बाद भी हाथ धोना चाहिए।
  • सभी बच्चों की साफ-सुथरी वेशभूषा रखने के लिए प्रेरित करना।

स्वच्छ भारत अभियान उपसंहार:

महात्मा गांधी द्वारा कहे गए यह कथन जोकि स्वच्छता पर ही आधारित है। उनके अनुसार स्वच्छता की जागरूकता की मशाल सभी में पैदा होने चाहिए इसके तहत स्कूलों में भी स्वच्छ भारत अभियान के कार्य होने लगे हैं स्वच्छता से ना केवल हमारा तन साफ रहता है । हमारा मन भी साथ रहता है। स्वच्छ भारत अभियान की मशालआज हमारे पूरे भारत के लिए आवश्यक है जिसके तहत कई. कार्य किये जा रहे है।

हमारे भारत में जहां स्वच्छता होती है वहां पर ईश्वर निवास करते हैं इस प्रथा को माना जाता है इसलिए हमें भी सोचता को अपनाना चाहिए। इसकी शुरुआत हमें और आपको मिलकर करनी होगी।

जिससे कि हमारा पूरा देश साफ सुथरा हो जाए। स्वच्छ भारत अभियान भारत को स्वच्छ करने के लिए एक कड़ी का काम कर रहा है। लोग इसके उद्देश्य से उत्साहित होकर स्वच्छता के प्रति सचेत हो रहे हैं। यह भारत सरकार द्वारा उठाया गया एक सराहनीय कदम है। 

स्वच्छ भारत अभियान से हमारे आने वाला कल बहुत ही सुंदर एवं अकल्पनीय होगा। अगर आप और हम मिलकर स्वच्छ भारत अभियान के लक्ष्य को पूरा करने में लग जाए तो वह दिन दूर नहीं जब हमारा पूरा देश विदेशों की तरह पूरी तरह से साफ सुथरा दिखाई देगा।

स्वच्छ भारत अभियान में आप भी भागीदार बनें, लोगों को स्वच्छता के प्रति जागरुक बनाएं।

यह भी पढ़े:–

  • भारत में जल संकट निबंध
  • पर्यावरण पर निबंध
  • महात्मा गाँधी पर हिंदी निबंध
  • भ्रष्टाचार पर हिंदी निबंध
  • हिंदी भाषा पर निबंध
  • शिक्षा पर हिंदी निबंध
  • महिला सशक्तीकरण पर निबंध
  • भारतीय समाज में नारी निबंध
  • समान नागरिक संहिता
  • सूचना का अधिकार निबंध

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स्वच्छ भारत अभियान
SUMMARY

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दा इंडियन वायर

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध

essay writing in hindi swachh bharat

By विकास सिंह

SWACHH BHARAT ABHIYAN

विषय-सूचि

स्वच्छ भारत अभियान निबंध, SWACHH BHARAT ABHIYAN ESSAY 1 in hindi (100 शब्द)

स्वच्छ भारत अभियान जिसे क्लीन इंडिया मिशन या स्वच्छ भारत कैंपेन भी कहा जाता है इसे भारत के प्रधानमंत्री मोदी द्वारा हमारे राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी की 145वीं जन्मतिथि 2 अक्टूबर, 2014 को शुरू किया गया था एवं इसके तहत देशवासियों ने भारत को अगले चार सालों में यानी 2 अक्टूबर, 2019 तक जोकि गाँधीजी की 150वीं जन्मतिथि है, भारत को एक पूर्ण स्वच्छ देश बनाने का निश्चय किया है।

इस अभियान के तहत सरकार द्वारा पिछड़े इलाकों में घरों में शौचालय बनवाये जायेंगे तथा ग्रामीण इलाकों में सफाई अभियान चलाकर उन्हें साफ़ एवं स्वच्छ बनाने के प्रयास किये जायेंगे। इस अभियान को भारत के प्रधानमंत्री मोदी द्वारा 2014 में गाँधी जी की 145वीं जन्मतिथि पर राजघाट, नई दिल्ली से शुरू किया गया था।

essay writing in hindi swachh bharat

स्वच्छ भारत अभियान, SWACHH BHARAT ABHIYAN ESSAY 2 (150 शब्द)

स्वच्छ भारत अभियान जिसे क्लीन इंडिया मिशन के नाम से भी जाना जाता है, भारत सरकार द्वारा की गयी के अनोखी पहल है जिसके अंतर्गत भारत को एक साफ़ एवं स्वच्छ देश बनाने का फैसला लिया गया है। यह अभियान भारत के प्रधानमंत्री मोदी द्वारा महात्मा गाँधी की 145वीं जन्मतिथि, 2 अक्टूबर 2014 को उनकी समाधी राजघाट, नई दिल्ली से शुरू किया गया था। इस पहल का लक्ष्य भारत को महात्मा गाँधी की 150वीं पुण्यतिथि जोकि 2 अक्टूबर 2019 हैं, तक पूर्णतया स्वच्छ बनाना है।

सरकार ने देश को साफ़ रखना हर नागरिक की जिम्मेदारी बतायी है और इसी वजह से देश केविभिन्न हिस्सों में लोग बाद चढ़ कर इसमें भाग ले रहे है। इसी अभियान के तहत उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री ने भी के वांछित कदम उठाते हुए उत्तरप्रदेश के सभी सरकारी दफ्तरों एवं कार्यालयों में गुटखा, पान, तम्बाकू आदि निशेष कर दिए हैं। ऐसे प्रयासों से जल्द ही भारत एक स्वच्छ एवं सुन्दर देश बन जाएगा।

स्वच्छ भारत अभियान, SWACHH BHARAT ABHIYAN ESSAY 3 (200 शब्द)

SWACHH BHARAT ABHIYAN

भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा शुरू किया गया स्वच्छ भारत मिशन पूरे भारत देश को स्वच्छ बनाने का प्रयास है। यह हमारे राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी की जन्मतिथि पर ही शुरू किया गया था क्योंकि बापू का सपना भी भारत को एक साफ़ देश बनाना था। हालांकि महात्मा गाँधी ने अपने जीवनकाल में विभिन्न नारों एवं अभियानों के तहत देश को स्वच्छ बनाने के कई प्रयास किये थे लेकिन उस समय में उन्हें लोगों का बड़ी संख्या में सहयोग नहीं मिल पाया।

अतः उनके इसी सपने को पूरे करने एवं भारत को स्वच्छ बनाने के लक्ष्य को पूरा करने के लिए प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने उनकी 145वीं जन्मतिथि पर स्वच्छ भारत अभियान शुरू किया और इसके तहत सरकार ने भारत की 2019 जोकि महात्मा गाँधी की 150 वीं जन्मतिथि है, तक भारत को स्वच्छ बनाने का निश्चय किया है। हालांकि यह केवल सरकारी कर्मचारियों के प्रयासों से ही सफल नहीं हो पायेगा बल्कि इस अभियान की सफलता के लिए इस पूरे के नागरिकों को मिलकर लगातार प्रयास करने होंगे।

इस मिशन को शुरू से ही भारत की बड़ी हस्तियों का समर्थन मिला रहा है जोकि अपने स्तर पर इस अभियान के बारे में जागरूकता फैलाने का भरसक प्रयास कर रहे हैं। इनमे यूपी के मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने एक ठोस कदम उठाते हुए उत्तरप्रदेश के सभी सरकारी दफ्तर और कार्यालयों में गुटका, पान, तम्बाकू आदि पर रोक लगा दी है।

स्वच्छ भारत अभियान, SWACHH BHARAT ABHIYAN ESSAY 4 (250 शब्द)

SWACHH BHARAT ABHIYAN

प्रस्तावना (Introduction)

स्वच्छ भारत मिशन या स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार द्वारा शुरू किया गया एक जन आन्दोलन है जिसके अंतर्गत भारत को 5 सालों में एक स्वच्छ देश बनाने का निश्चय किया गया है। यह मिशन राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी की 145वीं जन्मतिथि पर शुरू किया गया था क्योंकि बापू का सपना भारत को एक साफ़ देश बनाना था।

अभियान का महत्त्व (Importance)

हमारे राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी का भी भारत को एक स्वच्छ एवं सुंदर देश बनाने का था और उन्होंने जीवं भर इस दिशा में प्रयास किये थे तथा कई सफाई अभियान भी चलाये थे। इसी वजह से भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी ने उनके ही नक्शेकदम पर चलते हुए स्वच्छ भारत अभियान को महात्मा गाँधी की 145वीं जन्मतिथि जोकि 2 अक्टूबर, 2014 है, पर शुरू किया है और इस अभियान का लक्ष्य 2019 तक भारत को एक साफ़ देश में बदलना है। यह अभियान महात्मा गाँधी के सपने को साकार करने का एवं भारत को एक स्वच्छ देश बनाने का प्रयास है।

इस अभियान के मुख्य लक्ष्य खुले में शौच को खत्म करना, इन्सानिट्री टॉयलेट्स को में परिवर्तित करना, मैनुअल मैला ढोना, पूर्ण निपटान और ठोस और तरल कचरे का पुन: उपयोग करना आदि है। इस तरह देश को पूरी तरह स्वच्छ बनाया जाएगा। अभियान के तहत उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री ने भी वांछित कदम उठाते हुए उत्तरप्रदेश के सभी सरकारी दफ्तरों एवं कार्यालयों में गुटखा, पान, तम्बाकू आदि निशेष कर दिए हैं।

निष्कर्ष (Conclusion)

स्वच्छता अभियान से भारत सरकार नागरिकों को स्वच्छता प्रेमी बनान चाहती है और पिछड़े से पिछड़े इलाकों को भी साफ़ बनाना चाहती है। ऐसा करने से देश को प्रगति मिलेगी और विश्व में हमारा देश एक आदर्श देश बनकर उभरेगा। इसमें अभी तक लोगों ने बढचढ कर भाग लिया है और उनकी मेहनत रंग लायी है।

स्वच्छ भारत अभियान, SWACHH BHARAT ABHIYAN ESSAY 5 (300 शब्द)

SWACHH BHARAT ABHIYAN

स्वच्छ भारत अभियान या क्लीन इंडिया मिशन भारत सरकार द्वारा चलाया जा रहा एक सफाई अभियान है जोकि भारत के प्रधानमंत्री नरेन्द्र मोदी द्वारा महात्मा गाँधी की 145वीं जन्मतिथि पर उनके स्वच्छ भारत के सपने को साकार करने के लिए शुरू किया गया था।

इस कैंपेन के तहत सरकार द्वारा विभिन्न प्रयास किये जा रहे हैं और प्रधानमंत्री मोदी ने देश की नागरिको को अपना पूरा योगदान देने को कहा है ताकि भारत जल्द से जल्द एक स्वच्छ देश बन सके। इस कैंपेन के शुरुआत में खुद प्रधानमंत्री ने रोड साफ़ कर इस अभियान का आगाज़ किया था।

स्वच्छ भारत अभियान क्या है? (What is Swachh Bharat Abhiyan in hindi)

स्वच्छ भारत अभियान आज तक का सबसे बड़ा अभियान है जिसमे करीब 30 लाख सरकारी सरकारी कर्मचारियों एवं विद्यार्थियों ने भाग लिया है। अभी भी यह लगातार चल रहा है एवं दिन प्रतिदिन लोग अपने स्तर पर देश को स्वच्छ बनाने की कोशिश कर रहे हैं।

इस अभियान के आगाज़ के दिन प्रधानमंत्री मोदी ने 9 प्रसिद्द हस्तियों को इस अभियान में अपना योगदान देने को एवं आगे 9 लोगों को इसमें भाग लेने के लिए उत्साहित करने को कहा था। उन्होंने इस श्रृंखला को तब तक जारी रखने को कहा था जब तक यह सन्देश देश के हर एक नागरिक तक नहीं पहुँच जाए। इसके परिणामस्वरूप बॉलीवुड जगत के बड़े सितारों ने इसमें भाग लिया और आम लोगों को भी इसमें जुड़ने के लिए प्रोत्साहित किया था।

स्वच्छता अभियान का असर (How it is Observed)

स्वच्छता अभियान के इस तर्ज पर लोकप्रिय होने पर अब आम लोग भी अपने घर एवं आस पड़ोस में सफाई रखने लगे हैं और यदि कहीं कचरा होता है तो उसे कर्मचारियों से शिकायत करने लगे हैं जिससे देश कुछ हद तक स्वच्छ हुआ है। हमारे प्रधानमंत्री ने कई बार देश की आम जनता को इस अभियान में जुड़ने को कहा है और अपने द्वारा की गयी सफाई को फेसबुक, ट्विटर आदि सोशल मीडिया प्लेटफार्म पर डालने के लिए कहा है ताकि और लोग भी इस तरह प्रेरित होकर अपना योगदान दे सके।

इनके अलावा इसी अभियान के समर्थन में मार्च 2017 में, यूपी सीएम योगी आदित्यनाथ ने सरकारी आधिकारिक भवनों में स्वच्छता सुनिश्चित करने के लिए पूरे यूपी में पान, गुटखा और अन्य तंबाकू उत्पादों पर प्रतिबंध लगा दिया है।

स्वच्छता अभियान से भारतीय नागरिकों में शौच, सफाई आदि की जागरूकता फैलने के साथ साथ उनके जीवन स्तर में भी सुधार देखने को मिला है। इस अभियान का यह असर हुआ है की देश के हर कोने से हर व्यक्ति इसमें भाग ले रहा है जिससे देश पहले की तुलना में साफ़ होने लगा है। यदि सभी नागरिक ऐसे ही प्रयास करते रहे तो पूर्ण स्वच्छ भारत का लक्ष्य जल्द ही हासिल होगा।

स्वच्छ भारत अभियान, paragraph on swachh bharat abhiyan in hindi (400 शब्द)

SWACHH BHARAT ABHIYAN

स्वच्छ भारत मिशन या स्वच्छ भारत अभियान नरेन्द्र मोदी द्वारा राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी के स्वच्छ भारत के सपने को साकार करने के लिए शुरू किया गया एक जन आन्दोलन है जिसके अंतर्गत भारत को 5 सालों में एक स्वच्छ देश बनाने का निश्चय किया गया है। यह मिशन राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी की 145वीं जन्मतिथि पर शुरू किया गया था क्योंकि बापू का सपना भारत को एक साफ़ देश बनाना था।

स्वच्छ भारत अभियान का आगाज़ (Launch of Swachh Bharat Campaign)

महात्मा गाँधी के इस सपने को साकार करने की हमारे वर्तमान प्रधानमंत्री ने ठानी है और इसी के तहत उन्होंने बापू की 145वीं जन्मतिथि पर स्वच्छ भारत अभियान शुरू किया जोकि राष्ट्रीय स्तर अभियान है जिसके अंतर्गत अगले पांच वर्षों में भारत को पूरी तरह स्वच्छ बनाने के निश्चय किया गया है।

स्वच्छ भारत अभियान का महत्त्व (Importance of Swachh Bharat Campaign in hindi)

स्वच्छ भारत अभियान के फायदे (benefits of swachh bharat campaign in hindi).

भारत देश यदि पूर्णतया स्वच्छ बन जाता है तो इससे कई फायदे होंगे। इससे सबसे ज्यादा निजी निवेशक हमारे देश में निवेश करेंगे जिससे भारत की जीडीपी बढ़ेगी इसके अलावा यहाँ पर्यटकों की संख्या मे भी इजाफा होगा, रोजगार बढेगा आदि फायदे होंगे। इसके तहत नरेन्द्र मोदी ने देश के प्रत्येक नागरिक को साल में 100 घंटे स्वच्छता को सुपुर्द करने को कहे हैं ताकि देश को साफ़ एवं सुन्दर बनाया जा सके।

इसके साथ ही सरकार द्वारा विभिन्न वस्तुओं पर 0.5% स्वच्छता सेस लगाया गया है ताकि देश की स्वच्छता में सभी नागरिक योगदान दे सकें और इसमें अधिक खर्च हो सकें और 2019 तक भारत के पूर्णतया स्वच्छ देश बन सके। उत्तरप्रदेश के मुख्यमंत्री ने भी अपना एक बड़ा योगदान देते हुए पूरे उत्तरप्रदेश के सरकारी कार्यालयों में गुठका, पान, तम्बाकू आदि बंद कर दिया है।

हालंकि यह अभियान सरकार द्वारा शुरू किया गया है लेकिन इसमें देश के प्रत्येक नागरिक के योगदान के बिना यह सफल नहीं हो पायेगा अतः हमें हमारे देश को स्वच्छ बनाने के लिए निरंतर प्रयास करने होंगे और साथ ही अपने आस पास के लोगों को भी प्रेरित करना होगा ताकि देश के हर एक नागरिक तक इसकी जागरूकता पहुँच सके और निश्चित समय में निश्चित लक्ष्य हासिल हो सके।

स्वच्छ भारत अभियान, SWACHH BHARAT ABHIYAN ESSAY 7 (500 शब्द)

SWACHH BHARAT ABHIYAN

भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी ने कहा था की इंसान के लिए स्वतंत्रता से अधिक महत्वपूर्ण सफाई है और इसी दिशा में उन्होंने अपने जीवनकाल में कई अभियान के तहत लोगों में सफाई के लिए जागरूकता फैलाई थी। उन्होंने लोगों को अपने वातावरण में सफाई रखें के लिए पूरे जीवन भर प्रेरित किया था इसके साथ उन्होंने अपने इन प्रयासों से कई लोगों की जिंदगियां बदली थी। हालंकि उस समय लोगों ने बड़ी संख्या में इसमें भाग नहीं लिया था जिससे इसे सफलता नहीं मिल पायी।

स्वच्छ भारत अभियान का आगाज़ (Who Launched this Initiative)

महात्मा गाँधी के इस सपने को साकार करने की हमारे वर्तमान प्रधानमंत्री ने ठानी है और इसी के तहत उन्होंने बापू की 145वीं जन्मतिथि पर स्वच्छ भारत अभियान शुरू किया जोकि राष्ट्रीय स्तर अभियान है जिसके अंतर्गत अगले पांच वर्षों में भारत को पूरी तरह स्वच्छ बनाने के निश्चय किया गया है। प्रधानमंत्री हमारे राष्ट्रपिता की 150वीं जन्मतिथि तक भारत को पूर्णतया स्वच्छ बनाना चाहते हैं और उन्हें स्वच्छ भारत का तोहफा देना चाहते हैं और इस सपने को साकार करने के लिए उन्होंने भारत के प्रत्येक नागरिक का समर्थन माँगा है।

स्वच्छ भारत अभियान का महत्त्व (Objectives of Swachh Bharat Mission)

स्वच्छ भारत अभियान से भारत सरकार केवल सामान्य सफाई का लक्ष्य ही नहीं पूरा करना चाहती बल्कि साथ में वह अपशिष्ट प्रबंधन समस्याओं का समाधान एवं खुले में शौच की समस्याओं का भी समाधान करना चाहती है कोय्नकी ये समस्याएँ देश को आगे बढ़ने से रो रही है।

स्वच्छ भारत अभियान के फायदे (benefits)

स्वच्छ भारत अभियान एक बहुत ही महत्वपूर्ण अभियान है जिससे पूरे विश्व में भारत नयी उचाईयों तक पहुंचेगा। लेकिन ऐसा संभव हो पाने के लिए देश के हर के नागरिक का इसमें साथ होना जरूरी होगा। यदि हम अपने देश को इस विश्व में नयी उपलब्धियां दिलाना चाहते हैं हैं तो हमें सफाई की और खुद तो भरसक प्रयास करने ही होंगे साथ में दोस्स्रों को भी प्रेरित करने होगा। ऐसा यदि हुआ तो जल्द ही हमारा देश विश्व के सबसे साफ़ देशों में शुमार होगा।

स्वच्छ भारत अभियान निबंध, SWACHH BHARAT ABHIYAN ESSAY 8 (1400 शब्द)

SWACHH BHARAT ABHIYAN

स्वच्छ भारत अभियान या क्लीन इंडिया मिशन भारत सरकार द्वारा शुरू किया गया राष्ट्रीय स्तर का एक सफाई अभियान है जिससे की भारत को साफ़ बनाने का लक्ष्य साधा गया है। एक स्वच्छ भारत हमारे राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी का भी सपना था। अपने जीवनकाल में उन्होंने कहा था की स्वच्छता स्वतंत्रता से अधिक जरूरी है। वे उस समय भारत की स्थिति के जानकार थे अतः उन्होंने इसे स्वच्छ बनाने के जीवनभर प्रयत्न किये लेकिन उन्हें लोगों का वांछित समर्थन नहीं मिला और वे अपने इस सपने को साकार नहीं कर पाए।

महात्मा गाँधी स्वतंत्रता से पहले भारत को साफ़ सुथरा बनान चाहते थे लेकिन भारत को स्वतंत्र हुए आज 71 साल हो गए हैं और आंकड़े दर्शाते हैं की आज भी कुल जनसँख्या में से लगभग 30 प्रतिशत लोगों के पास शौचालय की सुविधा नहीं है जिसके चलते उन्हें खुले में शौच करने की असुविधा उठानी पड़ती है। इसके साथ ही देश में कचरा प्रबंधन की समस्या भी लगातार बढती जा रही है जिससे हमारा देश वांछित दर से प्रगति नहीं कर पर रहा है।

हमारे राष्ट्रपिता के इसी सपने को पूरा करने के लिए यह अभियान शुरू किया गया है और पांच सालो में इस अभियान से सरकार देश को पूरी तरह साफ़ सुथरा बनाना चाहती है और कचरा प्रबंधन और शौचालय की अनुपलब्धि की समस्याओं से निजात पाना चाहती है। हालांकि यह केवल सरकार से किया जाना संभव नहीं है जिसके कारण यह देश के हरेक नागरिक से इसमें बढ़ चढ़कर हिस्सा लेने के लिए प्रोत्साहित कर रही है ताकि जल्द से जल्द स्वच्छ भारत का सपना साकार हो सके और भारत विश्व स्तर पर साफ़ सुथरे देशों की सूचि में शुमार हो सके।

स्वच्छ भारत अभियान एक राष्ट्रीय स्तर का सफाई अभियान है जोकि भारत सरकार द्वारा स्थापित किया गया है। यह अभियान 4041 कस्बों की सफाई का लक्ष्य कर रहा है और इसके लिए इस अभियान को पांच साल का निर्धारित समय दिया गया है। इसके तहत 2019 तक निर्धारित कस्बों की सफाई की जायेगी एवं यह महात्मा गाँधी के स्वच्छ भारत के सपने को साकार करने की दिशा में एक महत्वूर्ण कदम है।

यह अभियान 2 अक्टूबर 2014 जोकि बापू की 145 वीं जयंती है, पर शुरू किया गया तह और  2019 में बापू की 150 वीं जयंती पर इसकी पूर्णता को लक्षित किया गया है। इस अभियान का मुख्या लक्ष्य केवल सामान्य सफाई ही नहीं बल्कि लोगों की नियमित कचरा प्रबंधन समस्याएँ दूर करने के साथ ही शौचालय आदि समस्याओं का भी समाधान करना इस अभियान का लक्ष्य है। इस मिशन का पहला स्वच्छता अभियान (25 सितंबर 2014 को) भारतीय प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा शुरू किया गया था।

स्वच्छ भारत अभियान की जरूरत (Need of Swachh Bharat Abhiyan)

भारत में जब तक स्वच्छ भारत अभियान का लक्ष्य हासिल नहीं हो जाता, नागरिकों को लगातार सफाई रखने के प्रयास जारी रखने होंगे क्योंकि यदि हमारा वातावरण साफ़ होता है तो हम स्वस्थ रहते हैं और एक स्वस्थ व्यक्ति देश के लिए बहुत ज़रूरी होता है क्योंकि यह विकास में एक अस्वस्थ व्यक्ति की तुलना में कहीं अधिक योगदान दे सकता है। नीचे दिए गए कुछ कारण हैं जोकि इस अभियान को ज़रूरी बनाते हैं :

  • भारत में बहुत लोग खुले में शौच करते हैं अतः इस समस्या से छुटकारा पाना होगा और सभी को घर में शौचालय की सुविधा प्रदान करने के लिए इस अभियान का चलना ज़रूरी है।
  • भारत में इन्सैनीटरी टॉयलेट को फ्लश टॉयलेट में बदलने के लिए इस अभियान की ज़रुरत है।
  • नगरपालिका के ठोस कचरे का वैज्ञानिक प्रक्रियाओं, स्वच्छ निपटान, पुन: उपयोग और पुनर्चक्रण के माध्यम से उचित अपशिष्ट प्रबंधन को लागू करने के लिए यह आवश्यक है।
  • भारतीय लोगों के बीच व्यवहारिक परिवर्तन लेन के लिए इस अभियान का चलना ज़रूरी है।
  • भारत को स्वच्छ और हरा-भरा बनाने के लिए इस अभियान की आवश्यकता है।
  • ग्रामीण क्षेत्र में लोगों के जीवन की गुणवत्ता सुधारने के लिए यह आवश्यक है।

शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान की पहुँच (Swachh Bharat Mission in Urban Areas)

शहरी क्षेत्रों के स्वच्छ भारत मिशन का लक्ष्य लगभग 1.04 करोड़ घरों को स्वच्छ बनाना है, ताकि उन्हें हर शहर में 2.6 लाख सार्वजनिक शौचालय, 2.5 लाख सामुदायिक शौचालय उपलब्ध कराए जा सकें। सामुदायिक शौचालयों का निर्माण उन आवासीय क्षेत्रों में करने की योजना बनाई गई है जहां व्यक्तिगत घरेलू शौचालयों की उपलब्धता मुश्किल है और बस स्टेशनों, पर्यटन स्थलों, रेलवे स्टेशनों, बाजारों, आदि सहित निर्दिष्ट स्थानों पर सार्वजनिक शौचालय हैं।

शहरी क्षेत्रों में स्वच्छता कार्यक्रम को 2019 तक पांच वर्षों में पूरा करने की योजना बनाई गई। इस अभियान को सफल बनाने के लिए सरकार ने इसके लिए कुल 14000 करोड़ रुपयों का आवंटन किया जोकि इन 5 वर्षों में विभिन्न क्षेत्रों मिने खर्च होगा।

ग्रामीण स्वच्छ भारत मिशन (Gramin Swachh Bharat Mission)

ग्रामीण स्वच्छ भारत मिशन ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता कार्यक्रमों को लागू करने वाला एक मिशन है। इससे पहले निर्मल भारत अभियान भारत सरकार द्वारा 1999 में ग्रामीण क्षेत्रों को स्वच्छ बनाने के लिए स्थापित किया गया था, लेकिन अब इसे स्वच्छ भारत मिशन में पुनर्गठित किया गया है। हालांकि दोनों अभियानों का एक ही लक्ष्य है लेकिन इस बार इस अभियान लोगों से अधिक तरजीह मिल रही है।

इस अभियान का लक्ष्य ग्रामीण क्षेत्रों को 2019 तक खुले में शौच से मुक्त बनाना है, जिसके लिए लागत का निम्न अनुमान लगाया गया है कि देश में लगभग 11 करोड़ 11 लाख शौचालयों के निर्माण के लिए एक लाख चौंतीस हजार करोड़ रुपये खर्च किए गए हैं। कचरे को जैव-उर्वरक और उपयोगी ऊर्जा रूपों में परिवर्तित करने की एक बड़ी योजना है। इस मिशन में ग्राम पंचायत, पंचायत समिति और जिला परिषद की भागीदारी शामिल है। स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) के उद्देश्य निम्नलिखित हैं:

  • ग्रामीण क्षेत्रों में रहने वाले लोगों के जीवन की गुणवत्ता में सुधार करना।
  • 2019 तक स्वच्छ भारत अभियान के लक्ष्यों को पूरा करने के लिए लोगों को प्रेरित करना।
  • कर्मचारियों को गाँवों में वांछित सुविधाएँ उपलब्ध करने के लिए अनुबंध करना।

स्वच्छ भारत सेस (Swachh Bharat Cess)

स्वच्छ भारत सेस हर  सर्विस पर लगाया गया 0.5 प्रतिशत अतिरक्त कर है जोकि वित्त मंत्रालय ने स्वच्छ भारत मिशन के लिए हर नागरिक से कुछ राशि लेने के लिए लगाया है ताकि इस अभियान को सफलता मिल सके। इसके अंतर्गत हर रूपए पर नागरिक को 50 पैसे सर्विस टैक्स के रूप में अतिरिक्त देने होंगे।

जिस तरह भारत के नागरिक भारत की स्वच्छ बनाने के लिए स्वच्छ भारत अभियान में बढ़ चढ़कर हिस्सा के रहे हैं यह कहा जा सकता है की जल्द ही पूरा भारत साफ़-स्वच्छ एवं हरा-भरा हो जाएगा। हालांकि अब भी हमें सफाई अभियान में योगदान देने के लिए लगातार प्रयत्न करते रहना होगा ताकि हम खुद तो सफाई रखे ही साथ ही दूसरों को भी ऐसा करने के लिए प्रेरित कर सके।

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इस लेख से सम्बंधित यदि आपका कोई भी सवाल या सुझाव है, तो आप उसे नीचे कमेंट में लिख सकते हैं।

बाहरी लिंक:

स्वच्छ भारत वेबसाइट

विकास नें वाणिज्य में स्नातक किया है और उन्हें भाषा और खेल-कूद में काफी शौक है. दा इंडियन वायर के लिए विकास हिंदी व्याकरण एवं अन्य भाषाओं के बारे में लिख रहे हैं.

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Please write essay on barpeerit Kshetra ko kaise bachaya Jaaye

Very good essay

आपके द्वारा लिखे हुए सभी पोस्ट बहुत ही काम के और हेल्पफुल होते है और आपके लेख को पढ़कर समझना भी बहुत आसान होता है. में अक्सर आपके ब्लॉग को पढ़ती हूँ और आपके द्वारा लिखा हुआ पोस्ट मेरी समझ में आसानी से आता है जिसे में अपने दोस्तों के साथ भी शेयर करती हु

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 2023 | Essay on Swachh Bharat Abhiyan In Hindi

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 2023 Essay on Swachh Bharat Abhiyan In Hindi: हर भारतीय का है सपना स्वच्छ हो भारत अपना.

Essay On Swachata & Swachh Bharat Swasth Bharat in Hindi Pdf में आज हम स्वच्छता के लिए शुरू किये गये स्वच्छ भारत अभियान पर हिंदी निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay) पढ़ेगे.

क्लीन इंडिया मिशन पर यहाँ दिया गया छोटा बड़ा निबंध कक्षा 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7, 8, 9, 10 के स्टूडेंट्स के लिए हैं.

वे छोटा भाषण 5 लाइन, 10 लाइन 100, 150, 200, 250, 300, 400, 500 शब्दों में स्वच्छ भारत अभियान निबंध को परिक्षा के दृष्टिकोण से याद भी कर सकते हैं.

Essay on Swachh Bharat Abhiyan In Hindi 2023

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 2023 | Essay on Swachh Bharat Abhiyan In Hindi

Swachh Bharat Abhiyan in eassy Speech Paragraph Hindi language (स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध और भाषण) :

राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने स्वतंत्रता आंदोलन चलाकर देश को गुलामी से मुक्त करवाया. परन्तु क्लीन इण्डिया का उनका सपना पूरा नही हुआ.

विश्व स्वास्थ्य संगठन की द्रष्टि से भारत में स्वच्छता की कमी है.इन्ही बातों का चिन्तन कर देश की वर्तमान स्थति को देखकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रीय स्वच्छता अभियान का शुभारम्भ 2 अक्टूबर 2014 को गांधी जयंती के अवसर पर किया.

इस अभियान से पूरे देश में सफाई एवं स्वच्छता के प्रति जागरूकता लाने, विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों को गंदगी से मुक्त करवाने का संदेश दिया गया

स्वच्छ भारत अभियान निबंध 300 शब्दों में

हमारे देश में नगरों के आस-पास, बस्तियों में गाँवों एवं ढाणियों में शौचालय नही है विद्यालयों में भी पेयजल एवं शौचालयों का नितांत अभाव है. इससे खुले में शौच जाने से गंदगी बढ़ती है तथा पेयजल के साथ ही वातावरण भी दूषित होता है.

गंदगी के कारण स्वास्थ्य खराब रहता है और अनेक बीमारियाँ फैलती है. वर्तमान में देश में लगभग 12 करोड़ शौचालयों की आवश्यकता है. एक सर्वेक्षण के अनुसार 1.56 लाख सरकारी और निजी शिक्षण संस्थानों में शौचालयों की व्यवस्था नही है.

अतः स्वच्छता अभियान का पहला उद्देश्य शौचालयों का निर्माण करना तथा स्वच्छ पेयजल की व्यवस्था करना है. इस तरह देश को गंदगी से मुक्त करवाना इस अभियान का मुख्य लक्ष्य है.

स्वच्छ भारत अभियान का क्षेत्र

भारत सरकार ने इस अभियान को आर्थिक स्थति से जोड़ा है. विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट के अनुसार भारत में गंदगी के कारण प्रत्येक नागरिक को बीमारियों पर औसतन सालाना बारह तेरह हजार रूपये खर्च करना पड़ता है. यह आंकड़ा गरीब परिवारों का बताया गया है.

यदि स्वच्छता रहेगी तो बीमारियों के कारण अनावश्यक आर्थिक बोझ भी नही बढ़ेगा. इस द्रष्टि से सरकार ने बीपीएल एवं लक्षित, लघु सीमांत किसान, भूमिहीन श्रमिक, एवं गरीब परिवारों को शौचालय निर्माण के लिए प्रोत्साहन राशि के रूप में बारह हजार रूपये ‘ स्वच्छ ग्रामीण मिशन ‘ हेतु देने का निर्णय लिया है.

इसके साथ ही स्वच्छ पेयजल, शिशु मल निस्तारण, कूड़ा कचरा एवं गंदा जल निवारण तथा विद्यालयों में शौचालयों के साथ ही साबुन के प्रयोग कर जोर दिया गया है.

स्वच्छ भारत अभियान आरम्भ होने के बाद इस व्यय वर्ष में लगभग चार सौ साठ करोड़ रूपये इस योजना पर खर्च किये जा चुके है. अभी तक विद्यालयों में साठ हजार शौचालय बन पाए है.

ग्रामीण एवं पिछड़े क्षेत्रों में स्वच्छ पेयजल की व्यवस्था पर जोर दिया जा रहा है. गंगा यमुना नदियों की स्वच्छता अभियान चलाया जा रहा है. इस कार्य में सभी प्रदेशो की सरकारे, बड़े कार्पोरेट सेक्टर व समाज के प्रतिष्टित लोग सक्रिय सहयोग कर रहे है.

स्वच्छ भारत अभियान 2023 निबंध 400 शब्दों में

प्रधानमन्त्री श्री नरेंद्र मोदी जी के आवहान पर स्वच्छता अभियान के प्रति लोगों में काफी जूनून देखा जा रहा है. इस अभियान की शुरुआत के बाद मुख्य रूप से सरकारी कर्मचारियों पर व्यापक असर पड़ा है,

जिन्होंने सफाई का काम दूसरों पर टालने की बजाय इसे स्वयं करने की दिशा में कदम बढाए है, जो इस कार्यक्रम के सकारात्मक परिणामों की तरफ संकेत करता है.

स्वच्छ भारत अभियान से लाभ- राष्ट्रीय स्वच्छता अभियान से सबसे बड़ा लाभ स्वास्थ्य के क्षेत्र में रहेगा. आम नागरिकों को अस्वच्छता जनित बीमारियों से छुटकारा मिल सकेगा. इससे दवाओं पर व्यर्थ में पैसा बहाने की आवश्यकता भी नही रहेगी.

इसके साथ ही हमारा पूरा भारत स्वच्छ हो सकेगा जिससे भारत की दूसरें देशों में भी अच्छी छवि जाएगी. यदि हम अपने वातावरण को पूर्णत स्वच्छ बनाने में कामयाब हो पाए तो इससे प्रदूषण का स्तर भी गिरेगा.

जल मल की गंदगी का समुचित निस्तारण होने से हमारा पेयजल भी शुद्ध होगा. गंगा और यमुना जैसी नदियों का जल पूर्व स्थति के अनुसार अमृत जैसा हो पाएगा.

सिचित कृषि उपजों में भी स्वच्छता को बढ़ावा मिलेगा.  स्वच्छ भारत अभियान से हमारे देश का वातावरण हर दिशा में स्वच्छ और प्रदूषण मुक्त हो सकेगा.

उपसंहार-   स्वच्छ भारत अभियान अभी तक अपने शुरूआती चरणों में है. इसे राष्ट्रपिता महात्मा गांधी की 150 वीं जयंती तक चलाकर देश को पूर्ण रूप से स्वच्छ बनाकर प्रस्तुत करना है. भारत सरकार के इस अभियान में जनता के सक्रिय योगदान की महत्वपूर्ण आवश्यकता है.

अभी तक  स्वच्छ भारत अभियान के परिणाम अच्छे सामने आ रहे है. उम्मीद है इसी तरह सरकार का यह कार्यक्रम सफलता प्राप्त करेगा.

स्वच्छ भारत अभियान हिंदी निबंध 500 शब्दों में

प्रस्तावना: स्वच्छता का अर्थ है साफ़ सफाई. साफ़ सफाई से रहना मनुष्य जीवन के लिए अति आवश्यक हैं. यदि इस बात पर हम दृष्टि डाले तो हमारी माताएं सुबह सोकर उठने के बाद सबसे पहले हमारे घर को झाड़ती बुहारती हैं.

और घर के सभी सदस्य नहाने धोने का काम करते हैं. यह स्वच्छता या साफ़ सफाई का काम हमारे दैनिक जीवन में एक सहज प्रक्रिया हैं, क्योंकि इसके पीछे हमारी निरोगी काया बनाये रखने की अवधारणा ही तो हैं.

स्वच्छ भारत अभियान क्या है – स्वच्छता का भाव हमारे मन से जुड़ा हुआ हैं. इसी भाव के प्रति जागरूकता सृजित करने के लिए तथा देश को साफ़ सुथरा व गंदगी से मुक्त बनाने के लिए हमारे प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रव्यापी स्वच्छ भारत सुंदर भारत अभियान का औपचारिक शुभारम्भ 2 अक्टूबर 2014 को गांधी जयंती के शुभ अवसर पर नई दिल्ली में वाल्मीकि बसती में झाड़ू लगाकर किया.

सुंदर भारत, स्वच्छ भारत अभियान की घोषणा – स्वच्छ भारत सुंदर भारत अभियान की घोषणा वर्तमान प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने स्वतंत्रता दिवस के अवसर पर 15 अगस्त 2014 को लाल किले की प्राचीर से राष्ट्र के नाम अपने संबोधन में की थी.

इसके तहत उन्होंने कहा था कि 2019 में महात्मा गांधी की 150 वीं जयंती तक देश को एक स्वच्छ भारत के रूप में प्रस्तुत करना हैं.

उनके अनुसार यही गांधीजी के प्रति सच्ची श्रद्धांजलि होगी, क्योंकि गांधीजी ने ही देशवासियों को क्यूट इंडिया क्लीन इंडिया का संदेश दिया था.

स्वच्छता आंदोलन का आव्हान – प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वच्छता आंदोलन का आव्हान करते हुए संदेश के रूप में कहा था कि हम मातृभूमि की स्वच्छता के लिए अपने आप को समर्पित कर दे. इसके लिए प्रत्येक सप्ताह दो घंटे अर्थात सभी देशवासी प्रतिवर्ष सौ घंटे का योगदान करे.

इसके साथ ही धार्मिक और राजनितिक नेताओं, महापौरों, सरपंचों, उद्योगपतियों से अपील करते हुए उन्होंने कहा कि वे शहरों, आसपास के क्षेत्रों, गाँवों, कार्य स्थलों तथा घरों की स्वच्छता की कार्य योजना बनाकर उसे क्रियान्वित करने में जुट जाए.

इसके लिए उन्होंने प्रत्येक ग्राम पंचायत को 20-20 लाख रूपये सालाना अनुदान देने की घोषणा की और ग्रामीण क्षेत्रों में 11.11 करोड़ शौचालयों का निर्माण के लिए 1.34 लाख करोड़ रूपये की मंजूरी प्रदान की गई हैं.

उपसंहार – स्वच्छता ही जीवन है स्वच्छ रहना, हमारा अनिवार्य कर्म और धर्म है. इस सामाजिक और राष्ट्रीय दृष्टि से स्वच्छ भारत सुंदर भारत अभियान एक महत्वपूर्ण उद्देश्य प्रदान अभियान हैं. इसमें हम सबकी भागीदारी वांछनीय हैं.

स्वच्छ भारत अभियान का निबंध 700 शब्दों में 202 3

स्वच्छता क्या है – निरंतर प्रयोग में आने पर या वातावरण के प्रभाव से वस्तु या स्थान मलित होता रहा हैं. धूल कण धुप कूड़ा करकट की परत को साफ़ करना, धोना, मैल और गंदगी को हटाना ही स्वच्छता कही जाती हैं.

अपने शरीर वस्त्रों, घरों, नालियों, यहाँ तक कि अपने मोहल्लों और नगरों को स्वच्छ रखना हम सबका दायित्व हैं.

.स्वच्छता के प्रकार – स्वच्छता को मोटे रूप में दो प्रकार से देखा जा सकता हैं. व्यक्तिगत स्वच्छता और सार्वजनिक स्वच्छता. व्यक्तिगत स्वच्छता में अपने शरीर को स्नान आदि से स्वच्छ बनाना, घरों में झाड़ू पौछा लगाना, स्नानगृह तथा शौचालयों को विसंक्रमक पदार्थों द्वारा स्वच्छ रखना.

घर और घर के सामने से बहने वाली नालियों की सफाई ये सभी स्वच्छता के अंतर्गत आते हैं. सार्वजनिक स्वच्छता में मोहल्ले और नगर की स्वच्छता आती है

जो प्रायः नगर पालिकाओं और ग्राम पंचायतों पर निर्भर रहती हैं. सार्वजनिक स्वच्छता भी व्यक्तिगत सहयोग के बिना पूर्ण नही हो सकती.

.स्वच्छता के लाभ – कहा गया है कि स्वच्छता इश्वर को प्रिय है ईश्वर का कृपापात्र बनने की दृष्टि से ही नही अपितु मानव जीवन को सुखी, सुरक्षित और तनावमुक्त बनाए रखने के लिए स्वच्छता आवश्यक ही नही अनिवार्य हैं.

मलिनता या गंदगी न केवल आँखों को बुरी लगती हैं. बल्कि इसका हमारे स्वास्थ्य से भी सीधा सम्बन्ध हैं. गंदगी रोगों को जन्म देती हैं.

प्रदूषण की जननी हैं और हमारी असभ्यता की निशानी हैं, अतः व्यक्तिगत और सार्वजनिक स्वच्छता बनाए रखने में योगदान करना प्रत्येक नागरिक का कर्तव्य हैं.

स्वच्छता के उपर्युक्त प्रत्यक्ष लाभों के अतिरिक्त कुछ अप्रत्यक्ष और दूरगामी लाभ भी हैं. सार्वजनिक स्वच्छता से व्यक्ति और शासन दोनों लाभान्वित होते हैं. बीमारियों पर होने वाले खर्च में कमी आती हैं. इस बचत को अन्य सेवाओं में उपयोग किया जा सकता हैं.

स्वच्छ भारत अभियान में हमारा योगदान – स्वच्छता केवल प्रशासनिक उपायों के बलबूते नही चल सकती. इसमें प्रत्येक नागरिक की सक्रिय भागीदारी परम आवश्यक होती हैं. हम अनेक प्रकार से स्वच्छता में योगदान कर सकते हैं, जो निम्नलिखित हो सकते हैं.

घर का कूड़ा करकट गली या सड़क पर न फेके. उसे सफाई कर्मी के आने पर उसकी ठेल या वाहन में ही डाले. कूड़े कचरे को नालियों में न बहाए. इससे नालियाँ अवरुद्ध हो जाती हैं गंदा पानी सड़कों पर बहने लगता हैं.

पोलीथिन का बिलकुल प्रयोग न करे, यह गंदगी बढ़ाने वाली वस्तु तो हैं ही पशुओं के लिए भी बहुत घातक हैं. घरों के शौचालयों की गंदगी नालियों में न बहाएं.

खुले में शौच न करे तथा बच्चों को नालियों या गलियों में शौच न कराएं. नगरपालिका के सफाई कर्मचारियों का सहयोग करे.

उपसंहार : प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने स्वच्छ भारत अभियान चलाया हैं. इसका प्रचार प्रसार मिडिया के माध्यमों से निरंतर किया जा रहा हैं. अनेक जन प्रतिनिधि, अधिकारी, कर्मचारी, प्रसिद्ध सेलिब्रेटी इसमें भाग ले रहे हैं.

जनता को इसमें अपने स्तर से पूरा सहयोग देना चाहिए. इसके साथ ही गाँवों में खुले में शौच करने की प्रथा को समाप्त करने के लिए लोगों को घरों में शौचालय बनवाने के लिए प्रेरित किया जा रहा हैं.

उसके लिए आर्थिक सहायता भी प्रदान की जा रही हैं. इन अभियानों में समाज के प्रत्येक वर्ग को पूरा सहयोग करना चाहिए.

स्वच्छ भारत मिशन पर निबंध 1000 शब्दों में

प्रस्तावना – स्वच्छता मनुष्य की पहचान हैं. अपने शरीर, वस्त्रों और परिवेश को वह साफ़ सुथरा रखना चाहता हैं. मनुष्य ही नहीं पशु पक्षी भी स्वच्छता का ध्यान रखते हैं.

चिड़ियाँ अपने घोंसले में बीट नहीं करती कुत्ता भी बैठता हैं तो अपने स्थान को अपनी पूंछ से बुहार लेता हैं.

स्वच्छता और पवित्रता – भारतीय संस्कृति में पवित्रता स्वच्छता का ही पर्याय हैं धर्म व संस्कृति में लोगों को पवित्रता अपनाने का उपदेश दिया गया हैं.

तन की पवित्रता तो शरीर की स्वच्छता हैं ही, मन की पवित्रता भी मन से बुरे विचारों को हटाकर उसे स्वच्छ बनाना हैं. मन्दिर मस्जिदों को पवित्र बनाए रखने का अर्थ उनको अंदर बाहर की गंदगी से मुक्त करके स्वच्छ बनाना ही हैं.

सार्वजनिक स्थानों की स्वच्छता – भारत में सार्वजनिक स्थानों की स्वच्छता के प्रति उपेक्षा देखी जाती हैं. इसका कारण कुछ तो लोगों की निर्धनता है और कुछ उसका अज्ञान.

हम अपने घर को झाड़कर कूड़ा सड़क पर फेकना बुरा नहीं समझते. घर का पानी हम नालियों में बहा देते हैं पर गली और सड़क को साफ़ करना तो शायद ही कोई सोचता हो, हम समझते हैं कि यह काम हमारा नहीं, नगरपालिका आदि संस्थाओं का हैं.

विदेशों में स्वच्छता – स्वच्छता प्रेम के सम्बन्ध में विदेशी हमसे आगे हैं. वे अपने नगरों को गंदा नहीं करते हैं, कूड़ा करकट इधर उधर नहीं फेकते, उन्हें स्वयं साफ़ करने में संकोच नहीं करते. अपने घर के सामने की सड़क की सफाई करना अनुचित नहीं मानते.

मैंने एक विदेशी को देखा. उसने केले खरीदे, वह पैदल केले खाते हुए चल रहा था परन्तु छिलके अपने कंधे पर लटके थैले में डाल रहा था. आगे कूड़ेदान मिलने पर उसने छिलकों को उसमें डाला. इसके विपरीत भारत में हम केले के छिलकों को सड़क पर फेकना बुरा नहीं मानते.

राष्ट्रीय स्वच्छता अभियान- हमारे प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने भारत को स्वच्छ रखने का बीड़ा उठाया हैं. उन्होंने अपने हाथ में झाड़ू पकड़कर सार्वजनिक स्थानों की सफाई करके स्वच्छता अभियान का आरम्भ किया हैं.

आवश्यकता है इस अभियान को जनता के जीवन में उतारने की, यदि ऐसा नहीं होता है तो यह अखबारों में छपने वाली तथा टीवी पर दिखाई जाने वाली खबर बनकर ही रह जाएगा.

स्वच्छता अभियान से पूर्व भी भारत के कई महान पुरुष अपने आचरण से स्वच्छता के उदहारण प्रस्तुत कर चुके हैं. महात्मा गांधी स्वयं अपने आश्रम की सफाई करते थे. प्रसिद्ध कहानीकार मुंशी प्रेमचन्द अपने घर में स्वयं झाड़ू लगाते थे.

स्वच्छता की प्रेरणा – राष्ट्रीय स्वच्छता का अभियान लोगों को प्रेरित और प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से चलाया गया हैं. किसी कार्य की प्रेरणा दो प्रकार से दी जाती हैं एक पुरस्कार देकर तथा दो अवहेलना के लिए दंड देकर.

भारत का जनसंख्या नियंत्रण अभियान भी पुरस्कृत करने पर आधारित होने के कारण सफल न हो सका हैं. स्वच्छता अभियान को  अधिक सफलता मिलना संदिग्ध हैं.

इन दोनों आंदोलनों की सफलता के लिए उन्हें कठोर दंड की व्यवस्था से जोड़ना भी जरुरी हैं. सड़क पर कूड़ा फेकने, गंदा करने, थूकने, मल मूत्र आदि पर कठोर दंड की व्यवस्था किया जाना आवश्यक हैं.

स्वच्छता के प्रति लोगों को जागरूक भी करना चाहिए. उनको समझाया जाना चाहिए कि उनको स्वास्थ्य का स्वच्छता से गहरा सम्बन्ध हैं. स्वच्छता का उदहारण प्रस्तुत करने वालों को पुरस्कृत किया जाना चाहिए तथा उनको प्रचारित करना भी आवश्यक हैं.

उपसंहार – स्वच्छता का हमारे जीवन से अभिन्न सम्बन्ध हैं. स्वच्छ तन, स्वच्छ मन, स्वच्छ परिवेश, स्वच्छ स्वदेश हमारा संकल्प होना चाहिए.

स्वच्छता रखने से ही देशवासी स्वस्थ रह सकेगे और आनन्दपूर्ण जीवन जी सकेगे. अतः अंतर बाह्य स्वच्छता को जीवन का लक्ष्य बनाने की महत्ती आवश्यकता हैं.

स्वच्छ भारत निबंध 2023

विश्व स्वास्थ्य संगठन की दृष्टि में भारत में स्वच्छता की कमी है, अनेक क्षेत्रों में गंदगी का फैलाव दिखाई देता है. राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी भी क्लीन इंडिया का सपना देखते थे.

उन्ही के सपने को संदेश रूप में लेकर प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने राष्ट्रव्यापी स्वच्छ भारत अभियान का औपचारिक शुभारम्भ 2 अक्टूबर 2014 को गाँधी जयंती के अवसर पर किया.

इस अभियान से सफाई एवं स्वच्छता के प्रति जागरूकता लाने, विशेषकर ग्रामीण क्षेत्रों को गंदगी से मुक्त करने का संदेश दिया गया हैं.

स्वच्छता अभियान का उद्देश्य

हमारे देश में शहरों के आसपास की कच्ची बस्तियों में, गाँवों एवं ढाणियों में शौचालय नहीं है. विद्यालयों में भी पेयजल एवं शौचालयों की कमी है.

इससे खुले में शौच करने से गंदगी बढ़ती है तथा पेयजल के साथ ही वातावरण भी दूषित होता है. गंदगी के कारण स्वास्थ्य खराब रहता है और अनेक बीमारियों पर नागरिकों को खर्चा करना पड़ता हैं.

वर्तमान में देश में सवा ग्यारह करोड़ शौचालयों की जरुरत हैं. लगभग 1.56 लाख विद्यालयों में शौचालय नहीं हैं. अतः स्वच्छता अभियान का पहला उद्देश्य शौचालयों का निर्माण करना एवं स्वच्छ पेयजल की व्यवस्था करना है और देश को गंदगी मुक्त कराना हैं.

स्वच्छता अभियान का व्यापक क्षेत्र

केन्द्रीय सरकार ने इस स्वच्छता अभियान को आर्थिक स्थिति से जोड़ा हैं. विश्व स्वास्थ्य संगठन की रिपोर्ट के अनुसार भारत में गंदगी के कारण प्रत्येक नागरिक को बीमारियों पर सालाना बारह तेरह हजार रूपये का बोझ पड़ता हैं.

यदि स्वच्छता रहेगी तो बीमारियाँ नहीं होंगी और गरीब लोगों को अनावश्यक व्यय बोझ नहीं झेलना पड़ेगा.

इस द्रष्टि से शौचालय निर्माण के लिए पंचायत स्तर पर अनुदान देना प्रारम्भ कर दिया हैं. इस व्यय वर्ष तक विद्यालयों में साठ हजार शौचालय बन गये है और चार सौ करोड़ रूपये स्वच्छता अभियान पर खर्च किये जा रहे हैं.

इसके साथ ही गाँवों में स्वच्छ पेयजल की व्यवस्था पर जोर दिया जा रहा हैं. गंगा यमुना नदियों की स्वच्छता का अभियान चलाया जा रहा हैं. इस कार्य में देश के अनेक प्रतिष्ठित लोग सक्रिय सहयोग कर रहे हैं.

स्वच्छता अभियान से लाभ

इस अभियान से सबसे बड़ा लाभ स्वास्थ्य के क्षेत्र में रहेगा. लोगों को बीमारियों से मुक्ति मिलेगी, दवाइयों पर अपव्यय नहीं करना पड़ेगा.

सारा भारत स्वच्छ बन जाएगा तो देशों में भारत की स्वच्छ छवि उभरेगी. प्रदूषण का स्तर एकदम घट जाएगा और जल मल के उचित निस्तारण से पेयजल भी शुद्ध बना रहेगा, साथ ही कृषि उपजों में भी स्वच्छता बनी रहेगी.

स्वच्छ भारत अभियान अभी प्रारम्भिक चरण में हैं. इसे गांधीजी की 150 वीं जयंती तक चलाकर देश को स्वच्छ भारत के रूप में प्रस्तुत करना हैं.

सरकार के इस अभियान में जनता का सक्रिय सहयोग नितांत अपेक्षित हैं. प्रतिबद्धता रहेगी तो सफलता अवश्य मिलेगी.

स्वच्छता अभियान स्वच्छ भारत मिशन का उद्देश्य पर निबंध  Essay On aim of swachh bharat abhiyan in hindi

स्वच्छ भारत मिशन का लक्ष्य सभी ग्रामीण परिवारों को शौचालय की सुविधा प्रदान करके और स्वच्छता को बढ़ावा देने के लिए सभी ग्राम पंचायतों में ठोस और द्रवित अपशिष्ट प्रबंध क्रियाकलापों के माध्यम से 2 अक्टूबरः 2019 तक देश को खुले में शौच से मुक्त करना हैं.

आज हम swachh bharat abhiyan aim स्वच्छता अभियान के उद्देश्य आपकों इस लेख में बता रहे हैं.

ग्रामीण स्वच्छता को राज्य सरकार का विषय माना जाता है. किन्तु केंद्र सरकार ने राज्य के प्रयासों को सहयोग देने के उद्देश्य से वर्ष 1986 में केन्द्रीय ग्रामीण स्वच्छता कार्यक्रम लागू किया. 1 अप्रैल 1999 से इस कार्यक्रम में संशोधन कर इसे पूर्ण स्वच्छता अभियान के रूप में बदल दिया गया.

इसका नाम भी बाद में निर्मल भारत अभियान कर दिया गया. इस अभियान का उद्देश्य सामुदायिक संतुष्टि दृष्टिकोण अपनाकर ग्रामीण भारत को निर्मल भारत मे परिवर्तित करना और 2022 तक सभी ग्रामीण परिवारों को शत प्रतिशत स्वच्छ करना था.

वर्ष 2014 में 2 अक्टूबरः को निर्मल भारत अभियान का नाम बदलकर पुनः स्वच्छ भारत मिशन कर दिया गया हैं. इसका लक्ष्य सभी ग्रामीण परिवारों को शौचालय की सुविधा प्रदान करके और स्वच्छता को बढ़ावा देने के लिए सभी ग्राम पंचायतों को 2 अक्टूबरः 2019 तक खुले में शौच से मुक्त करना हैं.

इस कार्यक्रम के तहत शौचालय निर्माण हेतु प्रत्येक ग्रामीण परिवार को 12000 रूपये की आर्थिक सहायता दी जा रही हैं. इस प्रकार एक लम्बे समय के पश्चात स्वच्छ भारत मिशन का वर्तमान स्वरूप सामने आया हैं.

स्वच्छ भारत मिशन के मुख्य उद्देश्य

स्वच्छता बनाए रखने या स्वच्छता प्रबंधन के लिए निम्न प्रयास किये जाने चाहिए.

  • प्रतिष्ठान प्रबंधक को प्रदूषण के स्रोतों से दूरी बनाकर रखनी चाहिए, प्रदूषण के स्रोतों में घरेलू जानवर, दूषित पानी, रासायनिक पदार्थ और अन्य प्रदूषक पदार्थ शामिल है.
  • प्रबंधक को चाहिए कि खराब बदबू हानिकारक गैसों तेज गंध युक्त धुआ और भाप निकासी के लिए अच्छे रोशनदान या निकास की व्यवस्था हो.
  • कार्यस्थल को गंदगी से अच्छी तरह अलग रखा जाए, दीवारों फर्श और छत को गंदा ना होने दिया जाए.
  • कच्चे माल का प्रोसेसिंग रूम, उत्पादन प्रक्रिया रूम और पैकिंग रूम अलग अलग होने चाहिए.
  • फर्श दीवार छत को वाटरप्रूफ पदार्थों से साफ़ रखना चाहिए.
  • प्रवेश द्वार खिड़की रोशनदान नालियों पर चूहों, धूल व हानिकारक जीवाणुओं को रोकने के उपकरण लगाने चाहिए.
  • खाद्य पदार्थों को बनाते समय पैकिंग करते समय स्वच्छ रोगाणु रहित तथा कीटाणु रहित स्टील के उपकरणों का प्रयोग करना चाहिए.
  • पदार्थों को ठंडा करने व पुनः अधिक ठंडा एवं गर्म करने के स्थानों पर थर्मामीटर लगे होने चाहिए.
  • गंदे पानी को शुद्ध करने व अन्य गंदगी व्यवस्था को रोकने के लिए सयंत्र लगाए जाने चाहिए.
  • आराम कक्ष में फलश टायलेट तथा गंदगी रोकने के उपकरण लगे हो, वाटरप्रूफ सेप्टिक टैंक होना चाहिए.
  • रेस्ट रूम में हाथ धोने व पौछ्ने के लिए वाशिंग स्टैंड होना चाहिए.
  • मैटल डिटेक्टर का प्रयोग किया जाए.
  • भोजन सम्बन्धी भंडार कक्ष उत्पादन कक्ष तथा पैकिंग कक्ष को स्वच्छतापूर्ण तरीके से प्रबंधित किया जाए.

स्वच्छ भारत अभियान भाषण स्पीच इन हिंदी 2023

आज से सौ साल पहले भारत के राष्ट्रपिता महात्मा गांधी ने एक सपना देखा था, स्वच्छ भारत का. उसे अब साकार करने का कदम भारत सरकार ने उठाया हैं.

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी स्वयं इस मिशन के बागडोर संभाली हैं. गांधी का मानना था, कि स्वतंत्रता से अधिक महत्वपूर्ण स्वच्छता हैं. देश में गंदगी के हालात से वों वाकिफ थे,

स्वयं झाड़ू उठाकर सफाई के अभियान गांधीजी ने भी चलाए थे. मगर उनका वों सपना सफल नही हो सका, जिन्हें अब पूरा करने का बीड़ा नरेंद्र मोदी ने उठाया हैं. मैं क्लीन इण्डिया मिशन पर संक्षिप्त भाषण व निबंध प्रस्तुत कर रहा हूँ.

2 अक्टूबर 2014 को गांधी जयंती के दिन हमारे प्रधानमंत्री ने भारत छोडो आंदोलन की तर्ज पर स्वच्छ भारत अभियान (क्लीन इण्डिया मूवमेंट) की शुरुआत की. भारत के सवा सौ करोड़ लोगों को आंदोलन का हिस्सा बनाने के लिए प्रधानमंत्री ने खुद हाथ में झाड़ू थामी.

अभियान को राजनीति से दूर रखने का ऐलान कर हर नागरिक से आशा जताई कि वह अपने आस-पास स्वच्छता रखेगे. सफाई को सरकारी अभियान के बजाय जनता के आंदोलन के रूप में स्थापित करने का उन्होंने प्रयास किया.

स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान मानव संसाधन विकास मंत्रालय द्वारा चलाया जा रहा हैं. इस कार्यक्रम के साथ देश के सभी विद्यालयों, कॉलेज तथा महाविद्यालयों को जोड़ा गया.

विद्यालय के शिक्षकों व स्टूडेंट्स को प्रतिदिन आधा घंटा निकालकर सफाई करने का सुझाव दिया गया. गांधी जयंती के अवसर पर इन विद्यालयों में स्वच्छ भारत स्लोगन, स्वच्छ भारत अभियान निबंध, क्लीन इंडिया मिशन एस्से लेखन प्रतियोगिताओं का आयोजन भी करवाया जाता हैं.

आज के स्वच्छ भारत अभियान   में मै आपकों इस अभियान से जुड़े कुछ तथ्यों से अगवत कराना चाहुगा. भारत सरकार के इस अभियान के चार साल पूरे होने को हैं.

अक्टूबर 2019 में इसे पूरा करने का लक्ष्य रखा गया हैं. सरकार की ओर से इन वर्षों में घर घर शौचालय देकर व्यक्तिगत तथा सामुदायिक स्वच्छता को बढ़ावा देने के प्रयत्न किए हैं.

सरकार ने आम जन पर इस खर्चे के वसूल के लिए ५ प्रतिशत अतिरिक्त कर भी लगाया हैं. पिछले तीन वर्षों के आकंड़ो के अनुसार अब तक 20 हजार करोड़ रूपये राजकोष में इस मिशन के नाम पर जमा हो चुके हैं.

मगर स्वच्छ भारत अभियान कहाँ तक सफल हो पाया हैं, इसका अंदाजा आप इस तथ्यों के आधार पर लगा सकते हैं.

  • एक सरकारी वेबसाइट ने स्वच्छ भारत अभियान से जुड़े कुछ डाटा हाल में ही प्रकाशित किए हैं, जिनके अनुसार अब तक 1,58,957 गाँवों को खुले में शौच मुक्त शौचालय आवंटन हुए हैं, जबकि 2,57,259 गाँवों तक इस स्कीम को जोड़ने का दावा किया गया जो भारत के कुल गाँवों का मात्र चालीस प्रतिशत ही हैं.
  • सेंटर फॉर पॉलिसी रिसर्च की एक रिपोर्ट के अनुसार मात्र 51 फीसदी ही भारतीय शौचालयों का उपयोग करते हैं. शेष ४० फीसदी लोग अभी भी खुले में शौच करना पसंद करते हैं.
  • स्वच्छ भारत अभियान को सुचारू रूप से चलाने के लिए बजट का समय पर पहुचना आवश्यक हैं. मगर सरकार द्वारा तय राशि का 5 से 50 प्रतिशत तक ही राज्यों को भुगतान हो पाता हैं, जिससे निर्माणधीन कार्य अधूरे ही रह जाते हैं.
  • अभी तक शहरी जीवन व्यतीत करने वाले सभी लोगों तक कचरा उठाने वाली गाड़ी नही पहुचती अथवा उनके घर के कूड़े करकट के निपटान का कोई ठोस उपाय नही निकल पाया हैं.
  • भारत में उपयोग हो रहे शौचालयों के साथ सबसे बड़ी दिक्कत पानी किल्लत हैं. पानी की आपूर्ति नही होने के कारण कई बार सफाई कर्मचारियों को हाथ से मैला ढ़ोना पड़ता हैं.

स्वच्छ भारत अभियान हिंदी में 2023 Swachh Bharat Abhiyan in Hindi

निबंध, कविता और Slogen स्वच्छ भारत अभियान पर स्वच्छता का महत्व पर लेख हिन्दी में  नमस्कार दोस्तों आज हम मोदीजी के स्वच्छ भारत मिशन पर आपके लिए स्वच्छ भारत अभियान पर नारे ,स्लोगन और स्वच्छ भारत के महत्व पर बात करने जा रहे हैं.

स्वच्छ भारत अभियान भारत सरकार द्वारा शुरू किया गया राष्ट्रिय स्तर का अभियान हैं स्वच्छ भारत का मुख्य उद्देश्य भारत की गलियों ,सडको को स्वव्छ भारत का निर्माण करना हैं.

स्वच्छता भारत मिशन – swachh bharat Mission

स्वच्छ भारत अभियान, भारत सरकार द्वारा किया गया है जिसका उद्देश्य देश की गलियों, सड़कों तथा नालियो को पूरी तरह साफ-सुथरा बनाना है।

स्वच्छता भारत मिशन अभियान रास्ट्रपिता महात्मा गाँधी के जन्मदिवस 2 अक्टूबर 2014 को आरम्भ किया गया था ।

गांधी जी ने अपने आसपास के लोगों को स्वच्छता रखने की शिक्षा प्रदान कर देश को एक उत्कृष्ट संदेश दिया था | इसी बात को मध्यनजर रखते हुए प्रधानमन्त्री श्री मोदी जी की सरकार ने स्वच्छ भारत अभियान चलाया | सरकार के इस अभियान का मुख्य उद्देश्य देश को स्वच्छ,साफ सुथरा,और सुंदर भारत की कल्पना को साकार करना हैं ..

हमारे देश के सभी नवयुवको और बहिनों से – हमारी तरफ से विनती हैं की हम अपने आस पास का माहोल साफ सुथरा रखे, गंदजी न फेलाए और न ही फेलाने दे |

इससे हम और हमारा परिवार और बच्चे और हमारा सम्पूर्ण देश स्वस्थ रहेगा और बीमारीयो से मुक्ति मिल सकती हैं |

और हम सभी एक स्वस्थ जीवन जी सकेगे और अपनी पीढियों को एक स्वस्थ भारत दे पायेगे और यही हमारी सरकार का नारा (स्लोगन )हैं,और इस अभियान को हमे जारी रखना हैं और अपने देश को साफ सुथरा बनाना हैं.

स्वच्छ भारत योजना का उद्देश्य – Swachh Bhart Plan Mission

  • देहाती क्षेत्रों में सामान्य जीवन स्तर में सुधार करना।
  •  भारत के सभी ग्राम पंचायतों द्वारा स्वच्छ स्थिति प्राप्त करने के साथ 2019 तक स्वच्छ भारत के लक्ष्य को प्राप्त करने के लिए स्वच्छता के कार्य में तेजी लाना।
  • लोंगो में जागरूकता बढ़ाना और स्वास्थ्य शिक्षा के माध्यम से स्थायी स्वच्छता सुविधाओं को बढ़ावा देने वाले समुदायों और पंचायती राज संस्थाओं को प्रेरित करना।
  • व्यवाहरिक रूप से सुरक्षित और स्थायी स्वच्छता के लिएसस्ती तथा उपयुक्त प्रौद्योगिकियों को बढ़ावा देना।
  •  ग्रामीण भागो में पूर्ण स्वच्छता के लिए ठोस और तरल अपशिष्ट प्रबंधन पर विशेष ध्यान देते हुए, समुदाय प्रबंधित पर्यावरणीय स्वच्छता पद्धति को अपनाना

स्वच्छ भारत स्वच्छ स्कूल मिशन (clean india School Mission)

आज स्वच्छ भारत-स्वच्छ विद्यालय अभियान सभी राजकीय विद्यालयों और केंद्रीय विद्यालयों और नवोदय विद्यालय संगठन में चलाया जा रहा है। इस अभियान में शामिल हैं ये गतिविधियों निम्न हैं –

1 कक्षाकक्ष एव प्रयोगशाला और पुस्तकालयों आदि की साफ सफाई करना। 2 . विद्यालय में लगाई जाने वाली किसी भी मूर्ति या स्कूल की स्थापना करने वाले व्यक्ति के योगदान के बारे में बात करना और इस मूर्तियों की साफ सफाई करना। 3 . स्कूल के शौचालयों और पीने के पानी वाले क्षेत्रों की साफ़ सफाई करना। 4 . रसोईघर और स्टोर रूम की सफाई करना। 5 . खेल के मैदान की साफ़ सफाई करना 6 . बगीचों का रखरखाव और सफाई करना। 7 . विद्यालय के सभी भवनों का वार्षिक रखरखाव रंगाई एवं पुताई के साथ। 8 . निबंध प्रतियोगिता ,वाद-विवाद, चित्रकला, सफाई और स्वच्छता पर प्रतियोगिताओं का आयोजन करना । 9 . प्रारम्भिक शालाओ के दौरान प्रतिदिन बच्चों के साथ सफाई और स्वच्छता के विभिन्न पहलुओं पर SBAविशेष रूप से महात्मा गांधी की स्वच्छता और अच्छे स्वास्थ्य से जुड़ीं शिक्षाओं को समझाना और व्यवहार में उतरने के लिए प्रेरित करना

10. बाल मंत्रिमंडलों का चुनाव करवाना व निगरानी दल बनाना और सफाई अभियान की निगरानी करना। इसके अलावा, किसी फिल्म शो, स्वच्छता पर निबंध / पेंटिंग और अन्य प्रतियोगिताएं, नाटकों आदि का आयोजन करवाके स्वच्छता एवं अच्छे स्वास्थ्य का massage देना ।

शिक्षा विभाग ने इसके अलावा स्कूल के छात्रों, शिक्षकों, अभिभावकों और समुदाय के सदस्यों को शामिल करते हुए 7 दिनों में कम से कम दो बार आधे घंटे तक साफ़ सफाई अभियान शुरू करने का प्रस्ताव रखा है

स्वच्छ भारत स्वस्थ भारत clean india Healthy india

स्वच्छ भारत अभियान देश का राष्ट्रव्यापी साफ़ सफाई अभियान है जिसके शुभारम्भ में तकरीबन 30 लाख स्कूलों और कॉलेजों के छात्रों और सरकारी कर्मचारियों ने हिस्सा लिया था ।

इस कार्यक्रम के शुभारंभ के दिन प्रधानमंत्री ने नौ हस्तियों के नामो की घोषणा की और उनसे अपने क्षेत्र में सफाई अभियान को बढाने और आम जनता को उससे जुड़ने के लिए प्रेरित करने को कहा|

मोदीजी ने यह भी बताया कि इन सितारों को अगले 9 लोगो को इससे जुड़ने के लिए प्रेरित करना है और ये सीरिज तब तक चले जब तक कीसम्पूर्ण देश तक इसका सन्देश न पहुंच जाये|

मोदी जी कहा कि हर एक भारतीय इसे एक चुनौती के रूप में ले और इसे सफल अभियान बनाने के लिए अपना पूरा प्रयास करे। नौ लोगों की सीरिज उस पेड़ पेड़ की एक शाखाओं की तरह है।

मोदी ने देश की आम जनता को इससे जुड़ने के लिए निवेदन किया और कहा की वे सफाई की फोटो सोशल साईट जैसे की फेसबुक, ट्विटर व अन्य वेबसाइट पर भी डालें और अन्य लोगो को भी इस कार्यकर्म से जुड़ने के लिए प्रेरित करे। इस तरह हमारा भारत एक स्वच्छ देश हो सकता है।

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Hindi Yatra

स्वच्छ भारत अभियान निबंध – Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi  – दोस्तों स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध कक्षा 1, 2, 3, 4, 5, 6, 7, 8, 9 ,10, 11, 12 और कॉलेज के विध्याथियो के लिए लिखा गया है। स्वच्छ भारत अभियान निबंधके माध्यम से सभी विद्यार्थी जान पाएंगे

कि यह अभियान हमारे देश के लिए क्यों जरूरी है और इसके उद्देश्य क्या है और इसकी शुरुआत कब हुई थी।  स्वच्छ भारत अभियान एस्से इन हिंदी.

भारत देश जो कभी किसी जमाने में सोने की चिड़िया कहा जाता था, जो कि अपने वैभव और संस्कृति के लिए जाना जाता था उस समय भारत में हर तरह की सुविधा उपलब्ध है और उस समय हमारा देश विकसित देशों की श्रेणी में आता था

लेकिन समय के बदलाव के चलते हमारे देश पर कई बाहरी ताकतों ने राज किया जिससे हमारी देश की हालत खराब हो गई।

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Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

Get Some Essay on Swachh Bharat Abhiyan Essay Hindi School or College Student – 100, 250, 400, 600 or 3400 words.

हमारे देश में स्वच्छता पर बिल्कुल भी ध्यान नहीं दिया जाता है आपने देखा होगा कि हमारे देश का कोई भी बड़ा राज्य हो या शहर हो या फिर गांव हो या फिर कोई गली या मोहल्ला हो वहां पर भी आपको कूड़ा करकट मिलेगा।

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जिसके कारण हमारे देश में अनेक बीमारियां फैल रही हैं और साथ ही हम हमारी जिंदगी गंदगी में जीने को मजबूर हैं। अब तो ऐसा लगता है मानो गंदगी हमारा जीवन हो गया है।

हमारे देश के विकास में बाधा पहुंचाने वाली समस्याओं में एक मुख्य कारण गंदगी भी है क्योंकि इसके कारण लोग हमारे देश में आना पसंद नहीं करते हैं और जिससे हमारे देश को इतनी ख्याति नहीं मिलती है।  

(1) Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi 100 Words

स्वच्छ भारत अभियान हमारे देश को स्वच्छ करने के उद्देश्य से चलाया गया है। इस अभियान से हमारा देश साफ सुथरा होने के साथ-साथ देश के आर्थिक विकास को भी सहारा मिलेगा हर तरफ खुशहाली होगी।

इस अभियान को 2 अक्टूबर 2014 को माननीय प्रधानमंत्री ने दिल्ली की वाल्मीकि बस्ती में सफाई करके इसका उद्घाटन किया था। इस अभियान के अंतर्गत भारत देश के सभी शहरों ग्रामीण इलाकों मोहल्लों और गलियों में साफ सफाई करना है।

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इस अभियान में प्रमुख रुप से खुले में शौच मुक्त भारत बनाने पर जोर दिया गया है क्योंकि आज भी हमारे गांव में अधिकतर घरों में शौचालय की सुविधा नहीं है जिसके कारण लोग बाहर शौच करने जाते हैं  जिससे वातावरण प्रदूषित होता है और साथ ही नई बीमारियां भी जन्म लेती हैं।

(2) स्वच्छ भारत अभियान निबंध (250 शब्द) Swachh Bharat Abhiyan in Hindi

स्वच्छ भारत अभियान को गांधी जी के विचारों से प्रेरित होकर शुरू किया गया है क्योंकि गांधीजी ने आजादी से पहले सपना देखा था कि हमारा देश भी विदेशों की तरह साफ सुथरा हो लेकिन किसी कारण वश वह सपना पूरा नहीं हो सका।

इसलिए  माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने गांधीजी के विचारों से प्रेरणा लेकर उन्हीं के 145 वीं जन्मदिवस पर इस अभियान का प्रारंभ किया था।

नरेंद्र मोदी जी ने इस अभियान को पूरा करने के लिए 5 साल का लक्ष्य रखा था और उन्होंने कहा था कि महात्मा गांधी जी के 150 वीं जयंती तक पूरे भारत को स्वच्छ करने का लक्ष्य रखा है। इसमें उन्होंने प्रत्येक भारतवासी से आग्रह किया था

कि वे इस अभियान से जुड़ें और अपने आसपास के क्षेत्रों की साफ-सफाई करें। इस अभियान को सफल बनाने के लिए उन्होंने देश के 11 महत्वपूर्ण एवं प्रभावी लोगों कोई इसका प्रचार प्रसार करने के लिए चुना है।

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जिनमें कुछ क्रिकेटर, कुछ फिल्मकार, और कुछ महान लोग हैं जिनको लोग सुनना पसंद करते हैं और उनकी बातों पर अमल भी करते हैं। मोदी जी ने कहा था कि हर एक व्यक्ति को इस अभियान में 9 लोगों को जोड़ना है और फिर वह दूसरा व्यक्ति भी 9 लोगों को जोड़ेगा इससे अभियान का प्रचार प्रसार भी होगा और लोगों में उत्साह भी होगा कि अपने  आसपास सफाई रखनी आवश्यक है।

इस अभियान को सफल बनाने के लिए स्वयं मोदी जी ने सड़कों पर साफ सफाई की थी। इसको देखकर लोगों में साफ सफाई के प्रति नया उत्साह पैदा हो गया और लोगों ने साफ सफाई भी करना चालू कर दिया है।

इस अभियान का उद्देश्य है कि 2019 तक पूरा भारत स्वच्छ एवं साफ सुथरा हो।

(3) Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi 400 words

स्वच्छ भारत अभियान से हमारा देश केवल स्वच्छ ही नहीं होगा इससे देश में हर तरफ खुशहाली आएगी और लोग खुश रहेंगे। क्योंकि अगर हमारे आसपास की जगह साफ सुथरी होगी तो हम भी खुश रहेंगे।  

भारत का अगर हर एक शहर, गांव, सड़के, गलियां साफ-सुथरी होंगी तो हमारा वातावरण भी शुद्ध रहेगा जिससे लोग बीमार कम पड़ेंगे और इससे देश के आर्थिक विकास में भी सहायता होगी।

स्वच्छ भारत अभियान से हमारा पर्यटन क्षेत्र भी तेजी से उन्नति करेगा क्योंकि आज देश में हर जगह कूड़ा करकट और गंदगी फैल होने के कारण विदेशी पर्यटक हमारे देश में आना पसंद नहीं करते हैं। इसलिए जैसे ही हमारा देश साफ सुथरा हो जाएगा तो विदेशी पर्यटक भी हमारे देश में आने के लिए आकर्षित होंगे।

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स्वच्छ भारत अभियान को तत्कालीन प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने 2 अक्टूबर 2014 को आरंभ किया था। उन्होंने कहा था कि अगर देश में विकास चाहिए तो सबसे पहले देश को साफ सुथरा होना आवश्यक है। इस अभियान के अंतर्गत है शहर और ग्रामीण क्षेत्रों के लिए अलग-अलग योजनाएं बनाई गई है ।

जिनमें शहरों में सार्वजनिक स्थलों जैसे बस स्टैंड, पोस्ट ऑफिस, बैंक, मुख्य बाजार, रेलवे स्टेशन, सरकारी कार्यालयों आदि के पास सार्वजनिक शौचालय बनाने की योजना है और साथ ही जिन आवासीय कॉलोनियों में घरों में शौचालय बनाने की जगह नहीं है वहां पर सामुदायिक शौचालय बनाने की योजना है।

ग्रामीण क्षेत्रों की बात करें तो वहां पर लोग आज भी घरों से बाहर शौच करने जाते हैं इसकी मुख्य वजह उनके घर में शौचालय नहीं होना है और शौचालय बनाने के लिए उनके पास इतनी धनराशि भी नहीं है।  

इसलिए सरकार ने ग्रामीण इलाकों में प्रत्येक घर में शौचालय बनवाने के लिए प्रत्येक घर को 12000 रुपए देने की योजना बनाई है। जिससे वहां के लोग शौचालय का निर्माण करवा सकें और भारत को स्वच्छ करने में अपना सहयोग दें।

इस अभियान को आगे बढ़ाते हुए उत्तर प्रदेश की मुख्यमंत्री योगी आदित्यनाथ ने भी सरकारी कार्यालयों एवं सार्वजनिक स्थलों पर पान, गुटखा, धूम्रपान  जैसे गंदगी फैलाने उत्पादों पर रोक लगा दी।

अब सरकारी कार्यालयों में लोग पान गुटखा खाकर कहीं भी थूक नहीं सकते है। क्योंकि लोग पान गुटखा खाकर सार्वजनिक स्थलों की दीवारों पर थूकते हैं जिससे दीवारें खराब हो जाती हैं। योगी आदित्यनाथ ने स्वच्छता अभियान  मैं लोगों की रुचि बढ़ाने के लिए सड़कों की साफ सफाई भी की थी। जिससे लोगों मैं साफ सफाई के प्रति चेतना उत्पन्न हो।

इस अभियान का मुख्य उद्देश्य यह है कि देश के प्रत्येक घर में पक्के शौचालय का निर्माण हो और लोग इसका उपयोग करके भारत को स्वच्छता की ओर बढ़ाने में सहयोग करें।

(4) स्वच्छ भारत अभियान निबंध (600 शब्द) Swachh Bharat Abhiyan Par Nibandh

गांधी जी ने आजादी से पहले ही भांप लिया था कि हमारे देश को अगर आगे बढ़ना है तो हमारे देश कहां सोच होना बहुत जरूरी है। क्योंकि सोचता ही मनुष्य की रीड की हड्डी है अगर वही टूट जाएगी, तो देश का विकास कैसे होगा।

गांधी जी का मानना था कि लोग जब तक स्वच्छता के प्रति सचेत नहीं होंगे तब तक हमारा देश स्वच्छ एवं साफ सुथरा नहीं हो सकता है।

इस अभियान को महात्मा गांधी जी के 145 वी जयंती पर आरंभ किया गया था। इसका उद्घाटन 2 अक्टूबर 2014 माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने दिल्ली की वाल्मीकि बस्ती में सड़कों पर सफाई करके किया था।

इस अभियान का मुख्य उद्देश्य यह है कि पूरे भारत देश को स्वस्थ एवं साफ-सुथरा बनाना है। क्योंकि आपने देखा होगा कि हमारे भारत देश  के शहरों ग्रामीण इलाकों मोहल्ला और गलियों में कूड़ा करकट और गंदगी का अंबार लगा रहता है। जिसके कारण बहुत ही भयंकर बीमारियां जन्म लेती हैं और लोगों का स्वास्थ्य खराब हो जाता है इसके साथ ही हमारा पूरा वातावरण भी प्रदूषित होता है।  

इस अभियान को  देश के हर क्षेत्र मैं पहुंचाने के लिए मोदी जी ने देश के 9 प्रभावी लोगों को चुना है  जिनके नाम इस प्रकार हैं – सचिन तेंदुलकर, प्रियंका चोपड़ा, महेंद्र सिंह धोनी, अनिल अंबानी, बाबा रामदेव, सलमान खान, तारक मेहता का उल्टा चश्मा की टीम, कमल हसन, शशि थरूर आदि व्यक्तियों को चुना गया है।

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 इन लोगों का कार्य है कि अपने अपने क्षेत्र में स्वच्छता अभियान का प्रचार प्रसार करें और अपने से 9 व्यक्तियों को भी चुने जो कि इस अभियान को आगे बढ़ाएंगे। ऐसा करके यह यह अभियान व्यक्ति दर व्यक्ति आगे बढ़ता जाएगा।

स्वच्छ भारत अभियान को आगे बढ़ाते हुए तत्कालीन मानव संसाधन मंत्री श्रीमती स्मृति ईरानी ने स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान का आरंभ किया था इसके अंतर्गत उन्होंने स्कूल के शिक्षकों और बच्चों को विद्यालय की साफ सफाई करने का लक्ष्य रखा था।

इस अभियान का उद्देश्य केवल स्वच्छता तक ही सीमित नहीं है क्योंकि इस अभियान के अंतर्गत है हमारे वातावरण का भी ध्यान रखा गया है इसमें नए पेड़ पौधे लगाने, जंगलों को बचाने, पानी बचाने जैसे मुख्य मुद्दे भी शामिल हैं।

इस अभियान के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में कचरे के निस्तारण के लिए सरकार ने तरल एवं ठोस अपशिष्ट पदार्थों और अन्य कूड़ा करकट के लिए वेस्ट मैनेजमेंट  की नई तकनीकों को बढ़ाने पर जोर दिया है। जिससे गंदगी भी कम होगी और कचरे का सदुपयोग भी हो जाएगा।

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इसके अंतर्गत शहरी क्षेत्रों में सामुदायिक एवं सार्वजनिक शौचालय बनाने की योजना है और  ग्रामीण क्षेत्रों में प्रत्येक घर में शौचालय बनाने की योजना है। स्वच्छ भारत अभियान में गरीब लोगों एवं आर्थिक रूप से पिछड़े हुए लोगों को शौचालय बनवाने के लिए सरकार की तरफ से अनुदान भी दिया जाएगा।

प्रधानमंत्री मोदी जी ने स्वच्छ भारत अभियान के मुख्य उद्देश्य के लक्ष्य को पाने के लिए 5  साल की योजना बनाई है जोकि 2019 में पूरी होगी इसके अंतर्गत पूरे भारत को खुले में शौच मुक्त करना है। अगर लोग इसी प्रकार  श्रमदान करते रहे तो यह लक्ष्य भी पा लिया जाएगा।

इस अभियान का एक और मुख्य उद्देश्य है कि लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता पैदा करना। क्योंकि लोग स्वच्छता के प्रति आज भी लापरवाह है इसी लापरवाही के कारण आए दिन में नई बीमारी से जूझते रहते हैं।

इसलिए जब लोग स्वच्छता के प्रति जागरुक होंगे तो वह समय साफ सफाई की ओर ध्यान देंगे और देश स्वच्छता की ओर अग्रसर होगा।  इसकी शुरुआत हमें खुद से ही करनी होगी क्योंकि जब तक हम हैं समय साफ-सफाई नहीं करेंगे तब तक भारत के स्वच्छ होने का सपना नहीं देखा जा सकता है।

इसलिए हमें स्वच्छ भारत अभियान में बढ़ चढ़कर हिस्सा लेना चाहिए और कुछ नहीं तो हमें कम से कम रोज हमारे घर के सामने की गली को ही साफ कर लेना चाहिए। आप भी इस अभियान से जुड़ सकते हैं

इस अभियान से जुड़ने के लिए सिर्फ आपको अपने आसपास के क्षेत्र में साफ सफाई रखनी होगी और स्वच्छता के प्रति लोगों को जागरुक करना होगा।

(5) Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi 3400 Words

स्वच्छ भारत अभियान – swachh bharat abhiyan.

हमारा देश भी पूर्णतया स्वच्छ हो इसके लिए कई महापुरुषों ने जिसके सपने देखे थे और इन को साकार करने की भी कोशिश की थी लेकिन वह किसी कारण सफल नहीं हो पाए उनमें से एक महात्मा गांधी जी भी थे जिन्होंने भारत को एक निर्मल और स्वच्छ देश बनाने का सपना देखा था।

वे चाहते थे कि विदेशों की तरह हमारा देश भी साफ सुथरा दिखे इसके लिए उन्होंने इसके लिए लोगों को जागरूक भी करना चालू किया था लेकिन उस समय देश की आजादी का आंदोलन भी जोरों पर था जिसके कारण लोगों ने स्वच्छ भारत योजना पर ध्यान नहीं दिया था।

लेकिन आजादी के इतने सालों के बाद भी हमारा देश सोच नहीं हुआ है बल्कि और ज्यादा कूड़े-करकट और गंदगी से भर गया है। क्योंकि हमारे देश के किसी भी सरकार ने स्वच्छ भारत की ओर ध्यान नहीं दिया। और अगर उन्होंने ध्यान भी दिया तो उस पर पूरी तरह से अमल नहीं हो पाया जिसके कारण आज हमारा देश गंदगी के ढेर पर बैठा है।

आज भी हमारे देश के कुछ ही घरों में शौचालय की सुविधा है, गाँवो में तो लोग आज भी शौच करने बाहर ही जाते हैं जिसके कारण गाँवो में भी गंदगी फैल जाती है। और शहरों की बात करें तो शहरों में शौचालय तो है

लेकिन वहां पर अन्य गंदगी यहां बहुत ज्यादा है जैसे की फैक्ट्रियों का  अपशिष्ट कूड़ा करकट, गंदे नाले और घरेलू अपशिष्ट जोकि सड़कों पर इतनी ज्यादा मात्रा में पाया जाता है कि हमारे देश की सड़कें दिखाई नहीं देती हैं सिर्फ और सिर्फ कूड़ा करकट दिखाई देता है।

स्वच्छ भारत अभियान क्या है – Swachh Bharat Abhiyan Kya Hai

हमारे देश को स्वच्छ बनाने के लिए भारत सरकार ने एक नई योजना निकाली है जिसका नाम स्वच्छ भारत अभियान रखा गया है। इस अभियान के तहत सभी देशवासियों को इसमें शामिल होने के लिए कहा गया है। यह अभियान आधिकारिक रूप से 1999 से चला रहा है पहले इसका नाम ग्रामीण स्वच्छता अभियान था  लेकिन सरकार ने इसका पुनर्गठन करते हुए इसका नाम पूर्ण स्वच्छता अभियान कर दिया था।

लेकिन 1 अप्रैल 2012 को प्रधानमंत्री मनमोहन सिंह ने इस योजना में बदलाव करते हुए इस योजना का नाम निर्मल भारत अभियान रख दिया और बाद में स्वच्छ भारत अभियान के रूप में 24 सितंबर 2014 को केंद्रीय मंत्रिमंडल से इस को मंजूरी मिल गई।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्घाटन माननीय प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने 2 अक्टूबर 2014 को गांधी जयंती पर किया था। क्योंकि गांधी जी का सपना था कि हमारा देश भी विदेशों की तरह पूर्ण स्वस्थ और निर्मल दिखाई दे।  इस बात को मध्य नजर रखते हुए प्रधानमंत्री जी ने उन्हीं के जन्मदिवस पर इस अभियान की शुरुआत दिल्ली के राजघाट से की थी।

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी जी ने लोगों में स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाने के लिए दिल्ली कि वाल्मीकि बस्ती में सड़कों पर झाड़ू लगाई थी। जिससे देश के लोगों में यह जागरुकता है कि अगर हमारे देश का प्रधानमंत्री देश को स्वच्छ करने के लिए सड़क पर झाड़ू लगा सकता है तो हमें भी अपने देश को स्वच्छ रखने के लिए अपने आसपास सफाई रखनी होगी।

स्वच्छ भारत अभियान का उद्देश्य – Swachh Bharat Abhiyan ka Uddeshya

स्वच्छ भारत अभियान एक राष्ट्रीय स्तर का अभियान है जिसके अंतर्गत हमारे पूरे देश को स्वच्छ करने का लक्ष्य लिया गया है।

  • इस अभियान का प्रथम उद्देश्य है कि  देश का कोना कोना साफ सुथरा हो।
  • लोगों को बाहर खुले में शौच करने से रोका जाए।
  • भारत के हर शहर और ग्रामीण इलाकों के घरों में शौचालय का निर्माण करवाया जाए।
  • शहर और गांव की प्रत्येक सड़क गली और मोहल्ले साफ-सुथरे हो।
  • हर एक गली में कम से कम एक कचरा पात्र आवश्यक रूप से लगाया जाए।

स्वच्छ भारत अभियान की जरूरत क्यों पड़ी – Swachh Bharat Abhiyan ki Jarurat Kyo Padi

आपने देखा होगा कि हमारे देश में कोई भी ऐसी जगह नहीं है जहां पर कूड़ा करकट नहीं फैला हो। हमारे भारत देश के हर शहर, हर गांव, हर एक मोहल्ला, हर एक गली कूड़े-करकट और गंदगी से अटी पड़ी है।

जिसके कारण लोग आए दिन बीमार पड़ रहे हैं और नई-नई बीमारियां जन्म ले रही हैं, आर्थिक रूप से भी गरीब बना रही है। जिसके कारण हमारे देश आर्थिक विकास नहीं हो पा रहा है।

हमारे देश के गाँवो में शौचालय नहीं होने के कारण के लोग आज भी खुले में शौच करने जाते हैं जिसके कारण हर जगह गंदगी फैलती है और यह गंदगी नई बीमारियों को आमंत्रण देती है। और गाँवो में अच्छी चिकित्सा सुविधा नहीं होने के कारण कई बार तो लोगों को मौत का मुंह अभी देखना पड़ जाता है।  

आपने देखा होगा कि हर शहर के नुक्कड़ पर सड़कों पर गंदगी इतनी फैली होती है कि वहां पर लगा कचरा पत्थर भी कचरे से भरा होता है और उसके आसपास बहुत ज्यादा कूड़ा करकट और गंदगी रहती है।

जिसके कारण हर समय बीमारियां होने का खतरा रहता है। हमारे आसपास के सभी नदी  नाले भी कचरे से इस तरह से रहते हैं जैसे कि पानी की जगह कचरा बह रहा हो।

इस कूड़ा करकट और गंदगी कारण लोग हमारे देश में खाना कम ही पसंद करते हैं जिसके कारण हमारे देश को आर्थिक नुकसान होता है।  इस कचरे के कारण हमारे साथ-साथ अन्य जीव जंतुओं को भी नुकसान होता है और साथ ही हमारी पृथ्वी भी प्रदूषित होती है।

पृथ्वी के प्रदूषित होने के कारण हमें हवा, जल और अन्न भी प्रदूषित ही मिलता है। गंदगी हमारे वातावरण के लिए हर तरह से खतरनाक है  यह कहीं महामारी का रूप धारण कर ले इसलिए स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की गई है।

इस गंदगी और कूड़े-करकट का जिम्मेदार भी हम और आप ही हैं क्योंकि हम लोग भी कभी जानबूझकर और कभी अनजाने में कहीं भी कचरा फेंक देते हैं जिसके कारण हमारे देश में हर तरफ कचरा फैल जाता है और इसके साथ ही हमारा पूरा वातावरण प्रदूषित हो जाता है।

यह गंदगी और कूड़ा करकट दिन-ब-दिन बढ़ते ही जा रहे हैं जिसके कारण अनेकों परेशानियां खड़ी हो रही हैं इसलिए स्वच्छ भारत अभियान की जरूरत पड़ी जिसके तहत देश के सभी घरों में शौचालय बनवाए जाएंगे और सभी लोग इसमें श्रमदान करके अपने गली मोहल्ले की रोज सफाई रखेंगे जिससे कि हमारा पूरा भारत स्वच्छ और साफ दिखाई दें।

हमारे देश स्वच्छ नहीं होने के कारण – Hamare Desh Ke Swachh Nahi Hone ke Karan

हमारे देश की सोच नहीं होने का सबसे पहला कारण आप और हम ही है क्योंकि गंदगी और कूड़ा करकट मनुष्य जाति के द्वारा ही फैलाया जाता है।  आप और हम कहीं भी कूड़ा करकट फेंक देते हैं

और हर तरफ गंदगी फैला देते हैं और उसका दोष हम दूसरों को देते हैं लेकिन हम कभी अपने आप को नहीं देखते हैं कि हम क्या कर रहे हैं। हमारे देश के स्वच्छ और साफ सुथरा नहीं होने के कई कारण है जिनमें से है प्रमुख कारण यहां पर लिख रहे हैं।

1. शिक्षा का अभाव –

हमारा देश शिक्षा के क्षेत्र में बहुत पिछड़ा हुआ है हालांकि शिक्षा के क्षेत्र में धीरे-धीरे क्रांति आई है लेकिन अभी भी शिक्षा का घर घर पहुंचना बाकी है। क्योंकि अगर लोग शिक्षित नहीं होंगे तो उन्हें पता ही नहीं होगा कि वे अनजाने में अपने आसपास के वातावरण को प्रदूषित कर रहे हैं,

और वातावरण के प्रदूषित होने के कारण उनको क्या नुकसान हो रहा है। लोगों में स्वच्छ और साफ सुथरे भारत के लिए शिक्षा का प्रचार प्रसार बहुत जरूरी है।

2. खराब मानसिकता –

हमारे देश का गंदगी से अटे रहने का एक और कारण लोगों की खराब मानसिकता भी है क्योंकि ऐसी मानसिकता वाले लोग मानते हैं कि हमारी थोड़े से कचरा फैलाने से देश गंदा थोड़ी ना होगा।  इस प्रकार की मानसिकता वाले लोग हर जगह कचरा फैलाते रहते हैं जिसके कारण वह थोड़ा-थोड़ा कचरा बहुत ही ज्यादा बन जाता है।

और हमारे देश की सभी सड़कें गलियां इस कचरे की भेंट चढ़ जाती हैं। ऐसे लोग सरकार को दोष देते हैं कि वह सफाई नहीं करती लेकिन वह खुद के फैलाए कचरे के बारे में कभी ध्यान नहीं देते हैं।

3. घरों में शौचालयो का नहीं होना –

आपने देखा होगा कि अक्सर गांव में घरों में शौचालय नहीं पाए जाते हैं जिसके कारण लोग सोच करने के लिए या तो खेतों में जाते हैं या फिर रेल की पटरियों के पास जाकर शौच करते हैं जिसके कारण हर तरफ गंदगी का माहौल पैदा हो जाता है।

जो कि सिर्फ मनुष्य जाति के लिए ही नहीं पृथ्वी की हर जीव जंतु के लिए बहुत ही हानिकारक होता है। इससे गंदगी तो फैलती है और साथ में वायु प्रदूषण भी होता है। जिससे लोगों को गंभीर बीमारियां होने का खतरा पैदा हो जाता है इसलिए हर घर में शौचालय बनवाना आवश्यक है।

4. अत्यधिक जनसंख्या –

हमारा भारत देश जनसंख्या के मामले में विश्व में दूसरे स्थान पर आता है, अगर इसी प्रकार से जनसंख्या बढ़ती रही तो आने वाले वर्षों में  जनसंख्या के मामले में पहला नंबर हमारे देश का ही होगा।

अधिक जनसंख्या होने के कारण कचरा और गंदगी भी अधिक होती है जिसका निस्तारण करना बहुत ही मुश्किल होता है। गंदगी अधिक अधिक होने के कारण इस गंदगी को साफ करने के लिए हमारे देश के आर्थिक विकास में लगने वाली पूंजी गंदगी की सफाई में ही लग जाती है।  

इसलिए मैं जनसंख्या वृद्धि पर रोक लगाने चाहिए सरकार ने इसके लिए प्रयास भी किए हैं और लोगों में जागरूकता फैलाने के लिए स्लोगन भी लिखे हैं जैसे की हम दो हमारे दो।

5। सार्वजनिक शौचालय का अभाव –

हमारे देश में सार्वजनिक शौचालयों का अभाव हर जगह पाया जाता है जिसके कारण लोग कहीं भी सड़क के किनारे या कोई कोना देखकर सोच कर लेते हैं जिससे बहुत ज्यादा गंदगी फैलती है। हमें देश में हर मुख्य स्थान पर सार्वजनिक शौचालय बनाने की अत्यधिक जरूरत है। अगर सार्वजनिक शौचालय होंगे तो लोग उनका इस्तेमाल करेंगे और बाहर सड़कों पर गंदगी कम फैलेगी।

6. कचरे की सही निस्तारण का अभाव –

हमारे देश में कचरा बहुत बड़ी समस्या है, 2017 के आंकड़ों के अनुसार भारत प्रति दिन 1,00,000 मीट्रिक टन कचरा उत्पन्न करता है। इतनी बड़ी संख्या में कचरा निकलने के बावजूद भी इसके निस्तारण के सही उपाय नहीं किए गए हैं

जिसके कारण वह कचरा हमें सड़कों और गली मोहल्लों में दिखाई देता है। कभी-कभी तो कचरा और गंदगी कारण लोगों में इंशा भी हो जाती है जिससे जान माल की हानि होती है। इसलिए कचरे के सही निस्तारण के  लिए जब तक कोई ठोस कदम नहीं उठाए जाएंगे तब तक कचरे के कारण फैली गंदगी हमारे जीवन को प्रभावित करती रहेगी।

7. उद्योगों का अपशिष्ट पदार्थ –

हमारे देश में छोटे बड़े मिलाकर बहुत सारे उद्योग धंधे हैं, जिनसे अलग-अलग प्रकार का बहुत बड़ी मात्रा में अपशिष्ट पदार्थ निकलता है  जिसे साधारण शब्दों में हम गंदगी का भंडार कर सकते हैं।

इन उद्योग-धंधों को चलाने वाले लोग इस अपशिष्ट पदार्थ का निस्तारण करने का सही उपाय नहीं खोजते हैं और पास ही बहरे नदी नालों में इसको बहा देते हैं जिससे कि पूरा वातावरण ही प्रदूषित हो जाता है क्योंकि अगर नदियां ही प्रदूषित हो जाएंगे तो उनसे मिलने वाला जल भी प्रदूषित होगा और उनका जल पीने वाला हर प्राणी इसका शिकार हो जाएगा।

अगर इस पर जल्द ही कोई कार्यवाही नहीं होती है तो एक दिन हमारी सभी नदियों का जल जहर बन जाएगा।  इसलिए सरकार को इसके खिलाफ ठोस कदम उठाकर नए कानून बनाने चाहिए और उद्योग-धंधों को चलाने वाले लोगों को सख्त हिदायत दी जानी चाहिए कि वह अपना अपशिष्ट पदार्थ किसी भी नदी नाले नहीं फेकेंगे।

हमारे भारत देश को स्वच्छ रखने के उपाय – Hamare Bharat Desh Ko Swachh Rakhne ke Upay

हमारे भारत देश को स्वच्छ  और साफ सुथरा रखने के लिए हमें आज ही अपने से शुरुआत करनी होगी क्योंकि जब तक लोग खुद जागरुक नहीं होंगे तब तक हमारे देश में साफ सफाई का होना नामुमकिन है।

इसलिए हमें अपने घरों के साथ-साथ अपने गली-मोहल्लों को भी खुद ही साफ रखना होगा वहां पर किसी भी प्रकार की गंदगी नहीं फैलानी होगी जो भी कचरा होगा सदैव कचरा पात्र में ही डालें।

  • हमें  देश के हर घर में शौचालय बनवाने होंगे।
  • हर शहर हर हर गांव की सार्वजनिक स्थलों पर सार्वजनिक शौचालय बनवाने होंगे।
  • लोगों में साफ सफाई और स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलानी होगी।
  • हमें जगह-जगह कचरा पात्रों का निर्माण करना होगा।
  • शिक्षा के प्रचार-प्रसार को बढ़ावा देना होगा।
  • लोगों की मानसिकता बदलने के लिए साफ सफाई के संदेश गांव गांव तक पहुंचाना होगा।
  • लोगों को गंदगी के गंभीर परिणामों के बारे में बताना होगा जिससे की  उनको पता चले कि उनके गंदगी फैलाने से उनके साथ साथ पूरे वातावरण को कितना नुकसान होता है।
  • हमें बढ़ती हुई जनसंख्या को कम करना होगा।
  • हमें कचरे के निस्तारण की सही विधि का पता लगाकर उस को अमल में लाना होगा जैसे कि पहाड़ जैसे कचरे के ढेरों को हटाया जा सके।
  • हमें उद्योग धंधे चलाने वाले लोगों में जागरूकता फैलाने होगी कि उनके छोटे से स्वार्थ के कारण हमारा पूरा वातावरण कितना प्रदूषित हो रहा है।
  • हमें नए कानूनों का निर्माण करना होगा जिससे कि लोग कहीं भी गंदगी ना फैलाएं।

स्वच्छ भारत अभियान के लिए चुने गए प्रभावी व्यक्ति – (Swachh Bharat Abhiyan ke Prabhavi Vyakti)

प्रधानमंत्री नरेंद्र मोदी ने स्वच्छ भारत अभियान के प्रचार प्रसार के लिए कुछ प्रभावी व्यक्तियों को चुना था जिनका काम अपने अपने क्षेत्र में लोगों को स्वच्छता के प्रति जागरुक करना है उन लोगों के नाम इस प्रकार हैं-

  • सचिन तेंडुलकर (क्रिकेटर)
  • प्रियंका चोपड़ा (अभिनेत्री)
  • अनिल अंबानी (उद्योगपति)
  • बाबा रामदेव
  • सलमान खान (अभिनेता)
  • शशि थरूर (संसद के सदस्य)
  • तारक मेहता का उल्टा चश्मा की टीम
  • मृदुला सिन्हा (लेखिका)
  • कमल हसन (अभिनेता)
  • विराट कोहली (क्रिकेटर)
  • महेन्द्र सिंह धोनी (क्रिकेटर)
  • ईआर। दिलकेश्वर कुमार

शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान (Shari chetro me Swachh Bharat Abhiyan) –

स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत हमारे भारत के शहरों को साफ सुथरा रखने के लिए एक अलग से रणनीति बनाई गई है। इस अभियान का उद्देश्य है कि देश के विभिन्न शहरों के 1।4 लाख करोड लोगों को शामिल करते हुए 2.5 लाख सामुदायिक और 2.6 लाख सार्वजनिक शौचालय बनाने का लक्ष्य रखा गया है।

क्योंकि हमारे देश में शौचालयों की बहुत कमी है इस कमी के कारण लोग शौच करने बाहर जाते हैं जिससे कि गंदगी बहुत अधिक मात्रा में फैलती है। इस अभियान के तहत जहां पर सार्वजनिक शौचालय बनाना संभव नहीं है वहां पर सामुदायिक शौचालय बनवाए जाएंगे।

इस अभियान का प्रथम चरण 2 अक्टूबर 2019 को पूरा होगा, इस 5 साल की अवधि में 4401 शहरों को शामिल किया जाएगा । इसमें शहरों के प्रमुख स्थान जैसे कि सार्वजनिक अस्पताल, बस स्टैंड, बैंक, पोस्ट ऑफिस, रेलवे स्टेशन, मुख्य बाजार, सरकारी कार्यालयों आदि के पास  सार्वजनिक शौचालय बनाए जाएंगे

क्योंकि लोग इन्हीं प्रमुख स्थलों पर बहुत ज्यादा आते हैं, और अगर उनको इन्हीं प्रमुख स्थलों पर शौचालय नहीं मिलता है तो वे इधर उधर कहीं भी शोच करते है। जिसका परिणाम आपने देखा होगा कि हर सार्वजनिक स्थल पर कूड़ा करकट और गंदगी का अंबार लगा रहता है।

इस अभियान को सफल बनाने के लिए 62,009 करोड़ रुपयों का बजट बनाया गया है, जिसमें से 14,623 करोड़ रुपये केंद्र सरकार द्वारा इस  अभियान में लगाए जाएंगे। हमारे देश में ठोस अपशिष्ट पदार्थ का कचरा बहुत ज्यादा उत्पन्न होता है उसके स्थाई समाधान के लिए 7,366 करोड़ लगाए जाएंगे।

चूँकि हमारे देश में घरों में शौचालय की बहुत कमी है इसलिए सरकार ने इसको भी मध्य नजर रखते हुए 4,165 करोड़ रुपये व्यक्तिगत घरेलू शौचालय बनवाने का बजट रखा है। इसके साथ ही 1,828 करोड़ रुपये स्वच्छ भारत अभियान के प्रचार प्रसार में खर्च किए जाएंगे और 655 करोड़ रुपये सामुदायिक शौचालय का बजट रखा गया है।

इस अभियान का मुख्य लक्ष्य है कि लोगों में जितना हो सके स्वच्छता के प्रति जागरूकता फैलाई जाए और खुले में शौच की रोकथाम, गंदगी से भरे शौचालयों को स्वचालित फ्लश शौचालय  में बदलना, ठोस अपशिष्ट का प्रबंधन करना।

इसके साथ ही लोगों को स्वच्छता के लाभ बताना और उनको व्यापार में कैसे लाया जाए यह भी लोगों को बताया जाएगा। जिससे लोग खुद साफ सफाई की ओर ध्यान देने लगे।  और देश को स्वच्छ करने के इस अभियान में अपना समर्थन दें।

ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान (Gramin chetro me Swachh Bharat Abhiyan) –

आपने देखा होगा कि जितनी तेजी से हमारे शहरों का विकास हुआ है ग्रामीण क्षेत्र उतना ही पिछड़ा हुआ है  हालांकि सरकार ने ग्रामीण क्षेत्रों को भी सुख सुविधा पूर्ण बनाने के लिए बहुत प्रयास किए हैं लेकिन उन योजनाओं का पूरा लाभ ग्रामीण क्षेत्रों में देखने को नहीं मिला है

जिस कारण आज भी ग्रामीण क्षेत्रों के ज्यादातर घरों में शौचालय नहीं पाए जाते है। जिस कारण वहां के लोग आज भी  खुले में शौच करने को मजबूर है, इसलिए सरकार ने स्वच्छ भारत अभियान के अंतर्गत है ग्रामीण क्षेत्रों को भी शामिल किया है।

गाँवो में यह अभियान 1999 से निर्मल भारत अभियान योजना के नाम से चलता आ रहा है । और 24 सितंबर 2014 में इस कार्यक्रम का पुनर्गठन किया गया जिसमें इसका नाम स्वच्छ भारत अभियान रख दिया गया।

ग्रामीण इलाकों में कचरे के प्रबंधन के लिए ग्रामीण लोगों को कचरे से खाद कैसे बनाई जाए इसके बारे में बताया जाएगा और इस कचरे से बनी खाद के क्या लाभ हैं यह भी बताया जाएगा ताकि लोग अपने खेतों में इस तरह की खाद का उपयोग करें।

इस अभियान के तहत ग्रामीण क्षेत्रों में 11 करोड़ 11 लाख शौचालय निर्मित करने की योजना है। इस अभियान को गांव के हर एक व्यक्ति तक पहुंचाने के लिए स्कूल के शिक्षको, स्कूली छात्र छात्राओं  और पंचायत समिति एवं ग्राम पंचायत को भी इस से जोड़ा जाएगा ताकि जल्द से जल्द लोगों में स्वच्छता के प्रति  चेतना उत्पन्न हो।

इस अभियान के तहत है ग्रामीण इलाकों के प्रत्येक घर में शौचालय बनवाने के लिए प्रत्येक घर पर 10000 रुपए आवंटित किए गए थे। लेकिन इन सालों में महंगाई बढ़ने के कारण यह राशि 10000 से बढ़ाकर 12000 रुपए कर दी गई है।

स्वच्छ भारत अभियान के तहत ग्रामीण इलाकों में यह कार्य किए जाएंगे-

  • ग्रामीण इलाकों को खुला शौच मुक्त करना।
  • ग्रामीण इलाकों के प्रत्येक घर में शौचालय का निर्माण करवाना।
  • कूड़े-करकट और कचरे  को उपयोगी बनाकर उसे खाद का निर्माण करना।
  • गंदे पानी के निकास के लिए नालियां बनवाना।
  • ग्रामीण इलाकों के सार्वजनिक स्थलों पर कचरा पात्र का निर्माण करवाना।
  • लोगों में स्वच्छता के प्रति  चेतना जगाना।

स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान – Swachh Bharat Swachh Vidyalaya Abhiyan

स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान भारत की तत्कालीन मानव संसाधन विकास मंत्री स्मृति ईरानी ने 25 सितंबर 2014 में इसका उद्घाटन किया था। इस अभियान को शिक्षकों और स्कूली छात्र छात्राओं के लिए बनाया गया था

और इस अभियान में माननीय मंत्री स्मृति ईरानी ने भी भाग लिया था। इस अभियान के अंतर्गत शिक्षकों और विद्यार्थियों को अपने विद्यालय में साफ सफाई रखनी थी।

इस अभियान को 25 सितंबर 2014 से 31 अक्टूबर 2014 तक चलाया गया था  इसके अंतर्गत विभिन्न विद्यालयों में विभिन्न प्रकार की गतिविधियां की गई जिनमें से कुछ इस प्रकार हैं-

  • स्कूलों के हर एक कक्षा में कचरा पात्र रखवाए गए।
  • स्कूलों के मैदानों और बगीचों को साफ किया गया।
  • कक्षा पुस्तकालय सभा स्थल एंव प्रयोगशाला में साफ सफाई की गई।
  • स्कूलों का वार्षिक रखरखाव करना जिनमें टूटी-फूटी देना कि फिर से मरमत करना और  स्कूल की दीवारों पर रंग रोगन करना।
  • स्कूल  की पानी की टंकियों की सफाई करना।
  • स्वच्छता के प्रति चेतना के लिए वाद विवाद एवं नाटकों की प्रतियोगिता करना।
  • चित्रकला प्रतियोगिता का आयोजन करना जिसमें स्वच्छता से संबंधित चित्रों का चित्रण करना।
  • स्कूलों में हरियाली के लिए पेड़ पौधे लगाना।
  • सभी बच्चों को बताया गया कि खाना खाने से पहले हाथ धोना और खाना खाने के बाद भी हाथ धोना चाहिए।
  • सभी बच्चों की साफ-सुथरी वेशभूषा रखने के लिए प्रेरित करना।

उपसंहार –

हमारे भारत में जहां स्वच्छता होती है वहां पर ईश्वर निवास करते हैं इस प्रथा को माना जाता है इसलिए हमें भी सोचता को अपनाना चाहिए। इसकी शुरुआत हमें और आपको मिलकर करनी होगी

जिससे कि हमारा पूरा देश साफ सुथरा हो जाए। स्वच्छ भारत अभियान भारत को स्वच्छ करने के लिए एक कड़ी का काम कर रहा है। लोग इसके उद्देश्य से उत्साहित होकर स्वच्छता के प्रति सचेत हो रहे हैं। यह भारत सरकार द्वारा उठाया गया एक सराहनीय कदम है।

स्वच्छ भारत अभियान से हमारे आने वाला कल बहुत ही सुंदर एवं अकल्पनीय होगा। अगर आप और हम मिलकर स्वच्छ भारत अभियान के लक्ष्य को पूरा करने में लग जाए तो वह दिन दूर नहीं जब हमारा पूरा देश विदेशों की तरह पूरी तरह से साफ सुथरा दिखाई देगा।

स्वच्छ भारत अभियान में आप भी भागीदार बनें लोगों को स्वच्छता के प्रति जागरुक बनाएं।

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42 thoughts on “स्वच्छ भारत अभियान निबंध – Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi”

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Easy Hindi

केंद्र एव राज्य की सरकारी योजनाओं की जानकारी in Hindi

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध | Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

Swachh Bharat Abhiyan Essay

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi:- स्वच्छ भारत अभियान को स्वच्छ भारत मिशन,यह सभी पिछड़े वैधानिक कस्बों को साफ करने के लिए भारत सरकार द्वारा चलाया गया एक राष्ट्रीय स्तर का अभियान है। इस अभियान में शौचालयों का निर्माण, ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता कार्यक्रमों को बढ़ावा देना, देश को आगे ले जाने के लिए गलियों, सड़कों की सफाई और देश के बुनियादी ढांचे को बदलना शामिल है। यह अभिया न 2 अक्टूबर 2014 को राजघाट, नई दिल्ली में महात्मा गांधी की 145 वीं जयंती पर प्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी द्वारा आधिकारिक तौर पर शुरू किया गया था। इस लेख में हम आपको स्वच्छ भारत अभियान निबंध प्रस्तुत करेंगे जिसके जरिए आपको इस मिशन की सारी जानकारियां मुहैया कराई जाएगी।स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध , Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi , स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 500 शब्दों में,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध pdf,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 1000 शब्द,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 100 शब्दों में,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 300 शब्द,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 250 शब्दों में,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 150 शब्द,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध pdf download,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 10 लाइन,स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध लिखें।

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi 

टाइटलस्वच्छ भारत अभियान निबंध
लेख प्रकारनिबंध
स्वच्छ भारत अभियान शुरुआत2 अक्टूबर 2014
स्वच्छ भारत अभियान कौन सी सरकार पहल हैकेंद्रीय सरकार
स्वच्छ भारत अभियान भारत की कौन सी सीटी में शुरु किया गयादिल्ली
स्वच्छ भारत अभियान किसके द्वारा लॉंच किया गयाप्रधान मंत्री नरेंद्र मोदी
साल2023
देश का सबसे स्वच्छ शहरइंदौर

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 1000 शब्द

मनुष्य की पहचान स्वच्छता से ही होती है। हर मनुष्य अपने शरीर को, कपड़ों को और घर के आसपास के माहौल को साफ सुथरा रखना चाहता है। मनुष्य ही नहीं बल्कि पशु-पक्षी भी सफाई का ध्यान रखते हैं। चिड़िया अपने घोसले में बीट नहीं करती है और कुत्ता भी अपने स्थान पर बैठता है, तो वह भी उस जगह को अपनी पूंछ से बुहार लेता है। 

राष्ट्रपिता महात्मा गांधी भी क्लीन इंडिया का सपना देखते थे। उन्हीं के सपने को संदेश रूप में लेकर पीएम नरेंद्र मोदी ने देशभर में स्वच्छ भारत अभियान का शुभारम्भ 2 अक्टूबर 2014 को गांधी जयंती के अवसर पर किया था। प्रधानमंत्री ने शहरी और ग्रामीण क्षेत्रों को गंदगी से मुक्त करने का संदेश दिया गया है। 

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध लिखें

पवित्रता- भारतीय संस्कृति में पवित्रता ही स्वच्छता का पर्याय बताया गया है। धर्म व संस्कृति में लोगों को पवित्रता अपनाने का उपदेश दिया गया है। तन की पवित्रता तो जरूरी है ही इसके साथ ही मन की स्वच्छता का भी हमें खयाल रखना चाहिए। मन में उठ रहे बुरे विचारों को हटाकर उन्हें स्वच्छ बनाना चाहिए। मंदिर-मस्जिदों को पवित्र बनाए रखने का अर्थ उनको अंदर और बाहर की गंदगी से मुक्त करके साफ बनाना है। 

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 100 शब्दों में

  • सार्वजनिक स्थानों की स्वच्छता 

अक्सर देखा जाता है कि भारत में सार्वजनिक स्थानों की स्वच्छता के प्रति उपेक्षा देखी जाती है। इसकी एक वजह तो लोगों की निर्धनता है और कुछ लोगों का अज्ञान है। कई लोग घर का कूड़ा बाहर रोड पर फेक देते हैं। हमारे मन में यही सोच रहती है कि यह काम तो नगरनिगम या पालिका का है। विदेशों में स्वच्छता – स्वच्छता प्रेम के संबंध में विदेशी हमसे आगे हैं। वे अपने नगर और शहरों को गंदा नहीं करते हैं। कूड़े को कूड़ेदान में ही फेकते हैं।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध pdf

  • राष्ट्रीय स्वच्छता अभियान 

हमारे प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी ने भारत को स्वच्छ रखने का जिम्मा उठाया है। उन्होंने अपने हाथों से झाड़ू पकड़कर सार्वजनिक जगहों की सफाई करके स्वच्छता अभियान की शुरुआत की । इस अभियान को जनता के जीवन में उतारने की जरूरत होती है। यदि ऐसा नहीं होता है, तो यह सिर्फ अखबारों में छपने वाली खबर ही रह जाएगी। हमारे देश में पहले भी कई महान पुरुषों ने अपने आचरण से स्वच्छा के उदाहरण प्रस्तुत किए हैं। महात्मा गांधी स्वयं अपने आश्रम की सफाई करते थे। प्रसिध्द कहानीकार मुंशी प्रेमचंद्र भी घर की सफाई करते थे। 

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 300 शब्द

  • स्वच्छता की प्रेरणा 
  • राष्ट्रीय स्वच्छता का अभियान लोगों को प्रेरित और प्रोत्साहित करने के उद्देश्य से चलाया गया है। किसी काम की प्रेरणा दो प्रकार से दी जाती है, एक पुरस्कार देकर और दूसरी अवहेलना के लिए दंड देकर। भारत का जनसंख्या नियंत्रण अभियान भी पुरस्कार पर आधारित होने की वजह से सफल नहीं हो सका है। स्वच्छता अभियान को अधिक सफलता मिलना संदिग्ध है। इन दोनों आंदोलनों की सफलता के लिए उन्हें दंड की व्यवस्था से जोड़ना भी जरूरी है। सड़क पर कूड़ा फेकने, गंदा करने, थूकने, मल-मूत्र आदि पर दंड का प्रावधान करना जरूरी है। स्वच्छता के प्रति लोगों को जागरुक भी करना चाहिए। उनको समझाया जाना चाहिए कि उनको स्वास्थ्य का स्वच्छता से गहरा संबंध है। स्वच्छता को बढ़ावा देने वालों का सम्मान किया जाना चाहिए।  

स्वच्छ अभियान का उद्देश्य हमारे देश में शहरों के आसपास की कच्ची बस्तियों में, गांवों में आज भी कई पुरुष-महिलाओं को घर के बाहर शौंच के लिए जाना पड़ता है। आज भी कई लोगों के घर पर शौचालय नहीं बनी है, जबकि पीए ने हर घर शौचालय के लिए एक योजना भई चलाई थी। इसके अलावा स्कूलों में भी पेयजल और शौचालयों की कमी है। इससे खुले में शौच करने से गंदगी बढ़ती है तथा पेयजल के साथ ही वातावरण भी गंदा होता है। गंदगी की वजह से लोगों की सेहत खराब होती है और कई तरह की बीमारियों से जूझना पड़ता है। वर्तमान में देश को लगभग ग्यारह करोड़ शौचालयों की आवश्यकता है।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 250 शब्दों में

  • स्वच्छ भारत अभियान रैंकिंग 

 स्वच्छ भारत अभियान के तहत सरकार शहरों को रैंकिंग प्रदान करती है। इसके लिए सरकार ने कुछ नियम भी निर्धारित किए हैं। जैसे – सूखा कचड़ा अलग और गीले कचड़े को अलग कूड़ेदान में डालना, दोनों तरह के कचरे का निष्पादन भी अलग करना । इस प्रतियोगिता में जो शहर सबसे साफ सुथरा होता है, उसे नंबर वन की पोजीशन पर रखा जाता है। नंबर वन की रेस हर शहर की लगी रहती है। जो यह स्थान पा लेता है, उस शहर की वाहवाही और सम्मान तो होता ही है, साथ ही उचित राशि इनाम के तौर पर भी दी जाती है। मध्यप्रदेश का इंदौर शहर लगातार चौथी साल साफ-सफाई में नंबर वन की पोजीशन पर बना हुआ है। अब देखना होगा कि पांचवी बार कौन यह बाजी मारता है। 

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 500 शब्दों में

  • स्वच्छता अभियान एप 

 स्वच्छ भारत अभियान के तहत एक स्वच्छता ऐप जारी किया गया है। इस ऐप को आप प्ले स्टोर से आसानी से इंस्टॉल करके अपने आस-पास की जगह को स्वच्छ बनाए रखने में सहायता कर सकते हैं। अगर आपको किसी जगह पर गंदगी दिखती है तो इस ऐप के जरिए आप गंदे स्थान की फोटो अधिकारियों के पास भेज सकते हैं। जीपीएस सिस्टम लगे होने से संदर्भ अधिकारियों तक लोकेशन खुद ही पहुंच जाएगा और वे नियत समय में आकर उस जगह की सफाई कर देंगे। 

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध 150 शब्द

  • जागरुकता में वृध्दि 

 स्वच्छ भारत अभियान अपने उद्देश्य में अभी तक पूरी तरह से सफल तो नहीं हुआ है, लेकिन लोगों में सफाई के लिए एक जागरुकता की लहर पैदा जरूर कर दी है। मध्यप्रदेश का इंदौर शहर इस मामले में काफी आगे निकल गया है। इंदौर लगातार चौथी साल भारत का सबसे स्वच्छ शहर बना हुआ है। 2014 से इस अभियान की शुरुआत हुई और 2019 तक पूरे भारत को स्वच्छ बनाना था, लेकिन अभी भी काफी प्रयास की जरूरत है। सिर्फ सरकारी प्रयास से यह काम मुमकिन नहीं, बल्कि इसके लिए लोगों की तरफ से पहल करना जरूरी है। हर वर्ग को सफाई के इस अभियान में साथ आना होगा, तभी यह कारगार सिध्द होगा। इस अभियान की सराहना पूरे विश्व भर में हुई है, इससे भारत का सर भी गर्व से ऊंचा हुआ है। 

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध pdf download

इस अभियान से सबसे बड़ा फायदा स्वास्थ्य के क्षेत्रों में होगा। लोगों को बीमारियों से मुक्ति मिलेगी, दवाइयों पर फालतू का खर्च नहीं करना पड़ेगा। देश की छवि पूरी दुनिया में उभरेगी, प्रदूषण एकदम घट जाएगा और पेयजल भी शुध्द होगा।

FAQ’s Swachh Bharat Abhiyan Essay

Q. स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत कब हुई .

Ans. 2 अक्टूबर 2014 से स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत हुई।

Q. स्वच्छ भारत अभियान से क्या होगग ? 

Ans. भारत स्वच्छ और देशवासी स्वस्थ्य होंगे।

Q.  स्वच्छ भारत अभियान कब तक चलेगा ? 

Ans. वैसे तो इसका लक्ष्य 2019 तक रखा गया था, लेकिन यह एक सतत प्रक्रिया है।

Q.  स्वच्छ शहर का पता कैसे चलता है ?

Ans. इसका पता अधिकारी शहर की गुणवत्ता के आधार पर पॉइंट जारी करता है, फिर रैंकिंग जारी की जाती है।

इस ब्लॉग पोस्ट पर आपका कीमती समय देने के लिए धन्यवाद। इसी प्रकार के बेहतरीन सूचनाप्रद एवं ज्ञानवर्धक लेख easyhindi.in पर पढ़ते रहने के लिए इस वेबसाइट को बुकमार्क कर सकते हैं

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध | Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi | Essay in Hindi | Hindi Nibandh | हिंदी निबंध | निबंध लेखन | Essay on Swachh Bharat Abhiyan in Hindi

By: savita mittal

स्वच्छ भारत : एक कदम स्वच्छता की ओर | Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

यह सर्वविदित है कि 2 अक्टूबर भारतवासियों के लिए कितने महत्त्व का दिवस है। इस दिन हमारे राष्ट्रपिता महात्मा गाँधी का जन्म हुआ था। इस युग पुरुष ने भारत सहित पूरे विश्व को मानवता की नई राह दिखाई। हमारे देश में प्रत्येक वर्ष गाँधीजी का जन्मदिवस एक राष्ट्रीय पर्व के रूप में मनाया जाता है और इसमें कोई सन्देह नहीं है कि उनके प्रति हमारी श्रद्धा प्रतिवर्ष बढ़ती जाती है। वर्ष 2014 में भी 2 अक्टूबर को ससम्मान गाँधीजी को याद किया गया, लेकिन ‘स्वच्छ भारत अभियान’ की शुरुआत के कारण इस बार यह दिन और भी विशिष्ट रहा।’स्वच्छ भारत अभियान’ एक राष्ट्र स्तरीय अभियान है। 

गाँधीजी की 145वीं जयन्ती के अवसर पर माननीय प्रधानमन्त्री श्री नरेन्द्र मोदी ने इस अभियान के आरम्भ की घोषणा की। यह अभियान प्रधानमन्त्री जी की महत्त्वाकांक्षी परियोजनाओं में से एक है। 2 अक्टूबर, 2014 को उन्होंने राजपथ पर जनसमूह को सम्बोधित करते हुए सभी राष्ट्रवासियों से स्वच्छ भारत अभियान में भाग लेने और इसे सफल बनाने की अपील की। साफ़-सफ़ाई के सन्दर्भ में यह अभियान अब तक का सबसे बड़ा स्वच्छता अभियान है, जिसकी प्रशंसा अन्तर्राष्ट्रीय स्तरों पर की गई है, क्योंकि यह अभियान अपने आस-पास की सफाई के साथ व्यक्ति चरित्र की शुद्धि और पवित्रता पर भी बल देता है।

Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

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प्रधानमन्त्री की घोषणा के साथ स्वच्छ भारत अभियान प्रारम्भ

2 अक्टूबर, 2014 को प्रधानमन्त्री नरेन्द्र मोदी ने महात्मा गाँधी के स्वच्छता के स्वप्न को साकार करने के उद्देश्य से सर्वप्रथम गाँधीजी को राजघाट पर श्रद्धांजलि अर्पित की और फिर नई दिल्ली स्थित वाल्मीकि बस्ती में जाकर झाड़ू लगाई। कहा जाता है कि वाल्मीकि बस्ती दिल्ली में गाँधीजी का सबसे प्रिय स्थान था, वे अकसर यहाँ आकर ठहरते थे।इसके बाद, मोदी जी ने जनपथ जाकर स्वच्छ भारत अभियान की शुरुआत की। इस अवसर पर उन्होंने स्वच्छता के प्रति लोगों को जागरूक करने का प्रयास किया। 

अपने भाषण के दौरान उन्होंने महात्मा गाँधी और लालबहादूर शास्त्री का जिक्र करते हुए बड़ी ही खूबसूरती से इन दोनों महापुरुषों को इस अभियान से जोड़ दिया, उन्होंने कहा-“गांधीजी ने आजादी से पहले नारा दिया था ‘क्विट इण्डिया क्लीन इण्डिया’ आजादी की लड़ाई में उनका साथ देकर देशवासियों ने क्विट इण्डिया’ के सपने को तो साकार कर दिया, लेकिन अभी उनका ‘क्लीन इण्डिया’ का सपना अधूरा ही है।” इसके लिए उन्होंने 2 अक्टूबर, 2019 तक का लक्ष्य निर्धारित किया।

प्रधानमन्त्री जी ने पाँच साल में देश को साफ-सुथरा बनाने के लिए लोगों को शपथ दिलाई कि न मैं गन्दगी करूंगा और न ही गन्दगी करने दूंगा। अपने अतिरिक्त में सौ अन्य लोगों को साफ-सफाई के प्रति जागरूक करूंगा और उन्हें सफाई की शपथ दिलवाऊंगा। उन्होंने कहा कि प्रत्येक व्यक्ति साल में 100 घण्टे का श्रमदान करने की शपथ ले और सप्ताह में कम-से-कम दो घण्टे सफाई के लिए निकाले। अपने भाषण में प्रधानमन्त्री ने स्कूलों और गाँवों में शौचालय निर्माण की आवश्यकता पर भी बल दिया। इस प्रकार से अनेक उद्देश्यों को इसमें शामिल किया गया।

स्वच्छ भारत के उद्देश्य

  • स्वच्छ भारत के लिए स्वच्छता की ओर बढ़ते हुए प्रमुख उद्देश्यों को चिह्नित किया गया है ।
  • स्वच्छता साफ-सफाई तथा खुले में शौच के अन्मूलन को बढ़ावा देकर ग्रामीण क्षेत्रों में जीवन की सामान्य गुणवत्ता को बढ़ावा देना। 
  • ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छता को बढ़ावा देकर 2 अक्टूबर, 2019 तक स्वच्छ भारत के स्वप्न को साकार करना।
  • जागरूकता लाकर तथा स्वास्थ्य शिक्षा के माध्यम से समुदायों को प्रेरित करना। 
  • ग्रामीण क्षेत्रों में सम्पूर्ण स्वच्छता हेतु वैज्ञानिक ठोस एवं तरल अपशिष्ट पदार्थ प्रबन्धन पर बस देते हुए स्वच्छता को प्रोत्साहित करना। 
  • जेण्डर पर सकारात्मक प्रभाव डालना तथा समाज से जुड़ने के लिए प्रोत्साहित करना।

स्वच्छता हेतु कार्यनीतियाँ

स्वच्छता को बढ़ावा देने हेतु व्यवहारगत परिवर्तन पर बल दिया गया। संस्थागत क्षमता को बढ़ावा दिया गया। इसके अन्तर्गत ‘क्लीन इंण्डिया’ नाम से एक नई बेबसाइट की शुरुआत की गई और फेसबुक जैसी प्रसिद्ध सोशल नेटवर्किंग साइट के माध्यम से भी लोगों को इससे जोड़ा गया। ट्विटर पर भी Mycleanindin के नाम से एक हैण्डल का शुभारम्भ किया गया। 

प्रत्येक नागरिक की सक्रिय भागीदारी सुनिश्चित करने के लिए प्रधानमन्त्री जी ने सभी से अपील की कि लोग पहले गन्दगी वाली जगह के फोटो नेटवर्किंग साइट्स पर अपलोड करें और फिर उस स्थान को साफ करके उसकी वीडियो तथा फोटो भी अपलोड करें। इस अभियान में प्रधानमन्त्री जी ने मशहूर हस्तियों को भी शामिल किया, उन्होंने इसके लिए, नौ लोगों को नॉमिनेट किया। इतना ही नहीं समाचार-पत्रों, विज्ञापनों ने इसे बढ़ाया दिया है, जो वर्तमान में जारी है। इसके लिए अन्तःकरण की स्वच्छता पर भी बल दिया गया।

यह सत्य है कि चरित्र की शुद्धि और पवित्रता बहुत आवश्यक है, लेकिन बाहर की सफाई भी उतनी ही आवश्यक है। यदि हमारे आस-पास का परिवेश ही स्वच्छ नहीं होगा, तो मन भला किस प्रकार शुद्ध रह सकेगा? अस्वच्छ परिवेश का प्रतिकूल प्रभाव हमारे मन पर भी पड़ता है। जिस प्रकार एक स्वस्थ शरीर में स्वस्थ मस्तिष्क का वास होता है, उसी प्रकार एक स्वस्थ और शुद्ध व्यक्तित्व का विकास भी स्वच्छ और पवित्र परिवेश में ही सम्भव है।

अतः अन्तःकरण की शुद्धि का मार्ग बाहरी जगत की शुद्धि और स्वच्छता से होकर ही गुजरता है। साफ-सफाई के अभाव से हमारे आध्यात्मिक लक्ष्य तो प्रभावित होते ही हैं, साथ ही हमारी आर्थिक प्रगति भी बाधित होती है। अपने भाषण में प्रधानमन्त्री जी ने विश्व स्वास्थ्य संगठन के एक आकलन का संकेत देते हुए कहा है कि गन्दगी के कारण औसत इसमें शामिल न किया जाए, तो यह आंकड़ा 12 से 15 हजार तक पहुँच सकता है। इस प्रकार, देखा जाए तो हम स्वच्छ रूप से प्रत्येक भारतीय को प्रतिवर्ष लगभग 6,500 का अतिरिक्त आर्थिक बोझ उठाना पड़ता है। 

स्वच्छ भारत की उपलब्धियाँ 

स्वच्छता की ओर बढ़ते हुए भारत को 2 अक्टूबर, 2019 को खुले में शौच १ मुक्त किया गया। प्रधानमन्त्री ने किं देशभर में 60 करोड़ से अधिक लोगों को खुले में शौच मुक्त कराया गया है। साथ ही जनभागीदारी के महत्व पर वा देते हुए जल जीवन मिशन तथा वर्ष 2022 तक प्लास्टिक के प्रयोग की समाप्ति का सामूहिक प्रयास का आदान दिया गया। इस प्रकार स्वच्छ भारत का लक्ष्य समय से पूरा किया गया। इसके अन्तर्गत 11 करोड नए शौचालय का निर्माण कराया गया। इतना ही नहीं देश के अनेक राज्य ‘खुले में शौच मुक्त’ भी घोषित कर दिए हैं, जैसे- सिक्किम, हिमाचल प्रदेश, केरल, उत्तराखण्ड एवं हरियाणा आदि। 

इतना ही नहीं स्वच्छता को बनाए रखने हेतु स्वच्छ भारत मिशन (ग्रामीण) के दूसरे चरण की घोषणा फरवरी, 2010 में की गई है। इसके अन्तर्गत वर्ष 2020-21 से 2024-25 तक की अवधि के लिए ₹ 1,40,581 करोड़ रपय लक्ष्य है। वहीं ग्रामीण स्वच्छता को बनाए रखने हेतु 10 वर्षीय ग्रामीण स्वच्छता रणनीति 2019-29 की घोषणा भी की गई है, जिसके अन्तर्गत कई प्रावधान शामिल किए गए हैं, जो इस प्रकार है,

 देश के ग्रामीण क्षेत्रों में ठोस तथा तरल अपशिष्ट प्रबन्धन पर ध्यान केन्द्रित करने तथा उसे अधिक समय बनाने के लिए यह रणनीति तैयार की गई है। इस रणनीति के अन्तर्गत सभी घरों में शौचालय को प्राथमिकता प्रदान की गई है। शौचालय निर्माण सम्बन्धी सुविधाएँ उपलब्ध कराने पर बल दिया गया है। इसमें खुले में शौच मुक्त (ODF) से आगे की योजनाओं के लिए रूपरेखा तैयार करने पर बल दिया गया है। इसे | ODF नाम दिया गया है। ODF + के अन्तर्गत भी अनेक मानदण्ड रखे गए हैं। ग्रामीण स्वच्छता रणनीति 2019-20 में विकास के भागीदारी, राज्य सरकारों, सिविल सोसायटी तथा अन्य सहयोगी समूहों को साथ लेने को महत्त्व दिया गया है।

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध/Swachh Bharat Abhiyan par nibandh/Essay on swachh bharat abhiyan video

निष्कर्ष 

इस प्रकार, स्वच्छता समान रूप से हम सभी की नैतिक जिम्मेदारी है। हर समय कोई सरकारी संस्था या बाहरी बल हमारे पीछे नहीं लगा रह सकता। हमें अपनी आदतों में सुधार करना होगा और स्वच्छता को अपनी दिनचर्या का हिस्सा • बनाना होगा, हालांकि आदतों में बदलाव करना आसान नहीं होगा, लेकिन यह इतना कठिन भी नहीं है। प्रधानमन्त्री ने ठीक ही कहा है कि यदि हम कम-से-कम खर्च में अपनी पहली ही कोशिश में मंगल ग्रह पर पहुँच गए तो हम स्वच्छ भारत को भी क्यों नहीं बनाए रख सकते हैं। 

इसके लिए हमें अपनी जिम्मेदारियों को निभाते हुए स्वच्छता से स्वच्छ तन, स्वच्छ मन, स्वच्छ खाद्य, स्वच्छ विचार व स्वच्छ पर्यावरण को भी बना सकते हैं। सहयोगात्मक रूप में व्यवहार में बदलाव लाकर ग्रामीण स्वच्छता रणनीति 2019-29 को पूरा करना आवश्यक है, तभी ग्रामीणों में स्वास्थ्य सुधार लाकर गाँवों के देश भारत को स्वच्छ रखा जा सकेगा।

reference Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

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मेरा नाम सविता मित्तल है। मैं एक लेखक (content writer) हूँ। मेैं हिंदी और अंग्रेजी भाषा मे लिखने के साथ-साथ एक एसईओ (SEO) के पद पर भी काम करती हूँ। मैंने अभी तक कई विषयों पर आर्टिकल लिखे हैं जैसे- स्किन केयर, हेयर केयर, योगा । मुझे लिखना बहुत पसंद हैं।

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Swachh Bharat Abhiyan Essay

Swachh Bharat Abhiyan, a cleanliness drive, was launched aiming to cover 4,041 statutory cities and towns all through the country in order to keep India clean by cleaning the streets, roads, hospitals, ghats, temples, all crowded public places  and other infrastructures. Swachh Bharat Abhiyan is a cleanliness campaign run by the government of India and initiated by the Honourable Prime Minister, Narendra Modi in 2014. It is a most important topic which our kids and students must know about and be aware of this mission in detail.

Long and Short Essay on Swachh Bharat Abhiyan with Headings in English

It is a general and most important topic which students are generally given in their schools to write essay, paragraph or narrate speech on Swachh Bharat or Swachh Bharat Abhiyan. So, in order to help them, we have provided below some simply written essays on Swachh Bharat Abhiyan for your kids/students to get participated in the essay writing competitions or group discussions or speech narration.

You can select any Swachh Bharat Abhiyan essay given below:

Swachh Bharat Abhiyan Essay 1 (100 words)

Swachh Bharat Abhiyan is also called as the Clean India Mission or Clean India Drive or Swachh Bharat Campaign. It is a biggest national level campaign run by the Indian Government to cover all the backward statutory towns to keep them clean.

This campaign involves the construction of latrines, promoting sanitation programmes in the rural areas, cleaning streets, roads, crowded public places and changing the infrastructure of the country to lead the country ahead. This campaign was officially launched by the Prime Minister, Narendra Modi on 145th birth anniversary of the Mahatma Gandhi on 2nd of October in 2014 at Rajghat, New Delhi.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 2 (150 words)

‘Swachh Bharat Abhiyan’ or ‘Clean India Mission’ is an initiative led by the Government of India on 2nd of October in 2014 to make our country a clean country. It was 145th birth anniversary of Indian Freedom Fighter Mahatma Gandhi when this campaign was officially launched by the Government of India. It was launched at the Rajghat, New Delhi which is the cremation ground of Mahatma Gandhi.

This campaign was launched to make India a clean country by 2nd of October 2019 that was 150th birth anniversary of Mahatma Gandhi. And, yes, it has proved itself a successful campaign. Now, the aim is to keep India always clean. It is a politics free campaign inspired by the patriotism and nationalism. And it is a best award to Indian citizens by the government and citizens itself.

It is launched as a responsibility of each and every citizen living in the country to make India a Swachh country. This campaign has motivated people globally towards cleanliness. Teachers, students, political people, and other social groups including common people join this ‘Clean India Campaign’ time to time very actively with commitment. Under this campaign, another cleanliness initiative was started by the UP CM, Yogi Adityanath in March 2017. He has banned chewing paan, gutka and other tobacco products in the government offices all over UP.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 3 (200 words)

Introduction

Swachh Bharat Abhiyan is a nationwide cleanliness campaign that was launched by the Indian Prime Minister, Narendra Modi. It was implemented to fulfil the vision and mission of clean India by 2019.

Swachh Bharat Abhiyan – An Inspired by, Dedicated to and Successful Cleanliness Campaign

It was launched especially on the birth anniversary of Mahatma Gandhi as he always dreamed of Clean India and was very keen to make this country a clean country. He had tried for clean India during his time by motivating people through his campaigns and slogans however it was partially successful because of the limited involvement of Indian citizens.

But after so many years, Swachh Bharat Mission was again started by the Government of India to make the Mahatma Gandhi’s dream of clean India come true till his 150th birth anniversary in 2019. It was started in 2014 on 2nd of October at 145th birth anniversary of Mahatma Gandhi. It was a big challenge for all the citizens of India. And it was only possible if each and every person living in India understand – this campaign, their own responsibility and take part actively together to make it, a successful mission.

In the starting, the mission was promoted by many famous Indian personalities to spread this mission as an awareness programme throughout the country. And, yes of course, it is a successful campaign by date. And we can say: this campaign is inspired by Mahatma Gandhi’s dream, dedicated to Mahatma Gandhi and proved to be a Successful Cleanliness Campaign.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 4 (250 words)

Swachh Bharat Mission or Swachh Bharat Abhiyan is a campaign run by the Government of India as a huge mass movement to initiate the theme of cleanliness all through the country. It was launched in seeking the way to create a ‘Clean India’ target by 2nd of October 2019 that was the 150th birth anniversary of Mahatma Gandhi.

Importance of this Cleanliness Initiative

The father of the nation, Mahatma Gandhi had always dreamed of cleanliness to make India a clean country and always put his hard efforts towards the cleanliness in India. This is the reason, why Swachh Bharat Abhiyan was launched on 2nd of October 2014 means the birthday of Mahatma Gandhi. To complete the vision of the father of the nation, Indian government had decided to launch this campaign in 2014 and make it successful by 2019. Also, in March 2017, UP CM Yogi Adityanath has also banned chewing of paan and gutka to ensure the cleanliness in UP government offices.

Aim of the Mission

The aim of the mission is to cover all the rural and urban areas in order to present this country as an Ideal Clean Country in front of the world. The mission had targeted aims like eliminating the open defecation, converting insanitary toilets into pour flush toilets, eradicating manual scavenging, complete disposal and reuse of solid and liquid wastes.

Swachh Bharat Abhiyan aims at bringing behavioural changes in people and to motivate health practices, spreading cleanliness awareness among people and strengthening the cleanliness systems in all the areas of country. It helps in creating user friendly environment for all private sectors interested for investing in India for cleanliness maintenance. This mission had targeted an interesting theme of inviting nine new people by each person involved in the campaign and continuing this chain until each and every citizen of India gets involved in this campaign.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 5 (300 words)

Swachh Bharat Abhiyan is a nationwide cleanliness campaign run by the Government of India. It was initiated by the Prime Minister, Narendra Modi on 2nd of October 2014 at 145th birth anniversary of the Mahatma Gandhi. It was launched to fulfil the aim of cleanliness all over India.

What is Swachh Bharat Abhiyan

The campaign of Swachh Bharat is a biggest ever cleanliness drive of India. During the launch of this abhiyan around 3 million government employees including students from schools and colleges participated in the campaign.

On the day of launch, Prime Minister has nominated the names of nine famous personalities of India to initiate the campaign in their own areas at their decided dates so that cleanliness can be promoted among common public. He also requested all nine personalities to invite other nine people from their end to individually participate in this event as well as to continue this chain of inviting nine people until the message reach to each and every Indian citizen.

How it is Observed

People across the nation clean their locality and pledge to keep their surroundings clean and green. Prime Minister requested that every Indian should take this campaign as a challenge and try his/her best to make it a successful campaign ever. The chain of nine people is like a branching of the tree. He requested common people to involve in this event and upload the videos or images of cleanliness over the internet via various social media websites like Facebook, Twitter etc. So that others can also get motivated to do the same in their own area. In this way India can be a clean country.

In the continuation of this mission, UP CM Yogi Adityanath has banned chewing paan, gutka and other tobacco products all over UP in March 2017 to ensure cleanliness in the government official buildings.

This mission is leaving no stones unturned in providing as well as improving cleanliness and sanitation facilities in the country. The effect of the mission has already started showing its result in almost all the corners of the country with the active involvement of people from all walks of life. If the same pace continues in future, our country will look clean and green always.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 6 (400 words)

The father of the nation, Mahatma Gandhi had once said that, “Sanitation is more important than Independence” during his time before the independence of India. He was well aware of the bad and unclean situation of India. He had emphasized a lot to the people of India about cleanliness and sanitation as well as its implementation in the daily lives. However, it was not so effective and remained unsuccessful because of the incomplete participation of people.

Launch of Swachh Bharat Campaign

The Former President of India, Mr. Pranab Mukherjee has said in June 2014 while addressing the Parliament that, “For ensuring hygiene, waste management and sanitation across the nation a Swachh Bharat Mission will be launched. He said it will be our tribute to Mahatma Gandhi on his 150th birth anniversary that is to be celebrated in 2019”. In order to fulfil the vision of Mahatma Gandhi and make India an ideal country in the world, the Prime Minister of India had initiated a campaign called Swachh Bharat Abhiyan on the birth anniversary of Mahatma Gandhi (2nd of October 2014). This campaign had targeted the completion of mission till 2019 i.e. 150th birth anniversary of the Mahatma Gandhi.

Importance of Swachh Bharat Campaign

Through this campaign, the Government of India has solved the sanitation problems by enhancing the waste management techniques. Clean India movement is completely associated with the economic strength of the country.

The basic goals behind launching the Swachh Bharat Mission were to make the country full of sanitation facilities as well as eliminate all the unhealthy practices of people in daily routines.

Benefits of Swachh Bharat Campaign

This mission would indirectly draw the attention of business investors in India, enhance the GDP growth, draw tourist’s attention from all over the world, bring variety of sources of employment, reduce health costs, reduce death rate, and reduce lethal disease rate and many more. Clean India would bring more tourists and enhance its economical condition. The Prime Minister of India had requested every Indian to devote their 100 hours per year for the cleanliness in India which was very sufficient to make this country a clean country by 2019. Swachh Bharat cess was also started to get some fund for this campaign. Everyone has to pay extra 0.5% tax (50 paise per 100 rupee) on all the services in India.

To make India shine in the world, we required the most is active participation of each and every individual irrespective of caste, creed or religion. It is also required spreading the awareness of Swachh Bharat Mission then only the dream of Mahatma Gandhi could be achieved in real sense.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 7 (500 words)

Swachh Bharat Abhiyan is a Clean India drive and Mission launched as a national campaign by the Indian Government in order to cover 4041 statutory towns aiming to maintain cleanliness of streets, roads and infrastructure of the country.

Who Launched this Initiative?

Indian Prime Minister, Narendra Modi had officially launched this mission on 2 nd October 2014, Mahatma Gandhi’s birth anniversary at Rajghat, New Delhi (cremation ground of Bapu). While launching the event PM himself had cleaned the road. It is the biggest cleanliness drive ever in India where approximately 3 million government employees including students from schools and colleges took part in the cleanliness activities.

On the day of its launch, PM nominated nine people to participate in it in their own areas. PM also requested all those nine nominees to call another nine people to participate in this event. The aim is to continue the chain of nominating nine people by each and every participated candidate of the mission until the message reaches every Indian in every corner of the country to make it a national mission.

Objectives of Swachh Bharat Mission

The mission aimed to connect each and every individual from all walks of life by making the structure of branching of a tree. The major objectives of Swachh Bharat Abhiyan was to construct individual sanitary latrines for household purposes especially for the people living below poverty line, removing the trend of open defecation, changing insanitary toilets into pour flush toilets, removal of manual scavenging, proper disposal of solid and liquid wastes, bring behavioural changes among people, enhance awareness about sanitation, and facilitating the participation of private sectors towards cleanliness facilities.

People Nominated for the Swachh Bharat Campaign

First nine nominated people by the PM were Salman Khan, Anil Ambani, Kamal Hassan, Comedian Kapil Sharma, Priyanka Chopra, Baba Ramdev, Sachin Tendulkar, Shashi Tharoor and team of ‘Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah’ (a most famous TV series). Indian film actor Aamir Khan was invited on the launch of the mission. There were various brand ambassadors who were chosen by the PM to initiate and promote the campaign in various fields.

He also nominated some other dignitaries like Akhilesh Yadav, Swami Rambhadracharya, Mohammad Kaif, Manoj Tiwari, Deviprasad Dwivedi, Manu Sharma, Kailash Kher, Raju Srivastava, Suresh Raina etc on 8th November 2014 and Sourav Ganguly, Kiran Bedi, Padmanabha Acharya, Sonal Mansingh, Ramoji Rao etc on 25 th December 2014.

Effects of Swachh Bharat Mission

There were many positive results of the campaign. Programmes like Swachh Bharat Run, Swachh Bharat apps, Real-time monitoring system, Swachh Bharat short film, Swachh Bharat Nepal – Swasth Bharat Nepal Abhiyan were initiated and implemented to actively support the purpose of the mission.

To ensure cleanliness in the official buildings of UP, chewing of paan, gutka and other tobacco products were completely banned by the UP CM. In order to continue and make this campaign successful, Finance Ministry of India has started a programme named Swachh Bharat cess to raise fund for this campaign.

This Mission should not only be the responsibility of government or ministries, it is the unison responsibility of every citizen of the country. Let us pledge together continuing this mission to keep our surroundings and environment clean and green to make India shine in the world.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 8 (1400 words – Long Essay)

Swachh Bharat Abhiyan was started by the Indian government to make Mahatma Gandhi’s dream “Sanitation is more important than Independence” come true. He was well aware of the poor and dirty condition of the country that’s why he made various efforts to complete his dream however could not be successful.

As he dreamt of clean India one day, he said that both cleanliness and sanitation are integral parts of healthy and peaceful living. Unfortunately, India is still lagging behind in cleanliness and sanitation even after 77 years of independence. According to the statistics, it was noted that very less percentage of total population had access to the toilets. It is a programme run by the government to seriously work to fulfil the vision of Father of Nation (Bapu) by calling people from all walks of life to make it a successful campaign globally.

This mission had to be completed by 150th birth anniversary of Bapu (i.e. 2nd October 2019) in next five years (from the launch date). It was urged by the government to the people to spend at least 100 hours in a year towards cleanliness in their surrounding areas or other places of India to make it a successful campaign. There are various implementation policies and mechanisms for the programme including three important phases such as planning phase, implementation phase and sustainability phase.

Swachh Bharat Abhiyan is a national cleanliness campaign established by the Government of India. It was aimed covering 4041 statutory towns in order to clean roads, streets, and infrastructure of the India to create a Clean India by 2019. It is a step ahead to the Mahatma Gandhi’s dream of swachh Bharat for healthy and prosperous life.

This mission was launched on 2nd October 2014 (145th birth anniversary of Bapu) by targeting its completeness in 2019 on 150th birth anniversary of Bapu. The mission was implemented to cover all the rural and urban areas of India under the Ministry of Urban Development and the Ministry of Drinking Water and Sanitation accordingly.

The first cleanliness drive held on 25th September 2014 was started by Indian PM, Narendra Modi earlier to its launch. This mission had targeted to solve the sanitation problems as well as better waste management all over India by creating sanitation facilities to all.

Need of Swachh Bharat Abhiyan

Swachh Bharat mission is very necessary to run continuously in India until it gets it’s all the goals. It is very essential for the people in India to really get the feeling of physical, mental, social and intellectual well being. It is to advance the living status in India in real means which can be started by bringing all over cleanliness. Below I have mentioned some points proving the urgent need of ‘Swachh Bharat Abhiyan’ in India:

  • It is really very essential to eliminate the open defecation in India as well as making toilets facility available to everyone.
  • It is needed in India to convert the insanitary toilets into flushing toilets.
  • It is necessary in order to eradicate the manual scavenging system.
  • It is to implement the proper waste management through the scientific processes, hygienic disposal, reuse, and recycling of the municipal solid wastes.
  • It is to bring behavioural changes among Indian people regarding maintenance of personal hygiene and practice of healthy sanitation methods.
  • It is to create global awareness among common masses living in rural areas and link it to the public health.
  • It is to support working bodies to design, execute and operate the waste disposal systems locally.
  • It is to bring private-sector participation to develop sanitary facilities throughout India.
  • It is to make India a clean and green India.
  • It is necessary to improve the quality of life of people in rural areas.
  • It is to bring sustainable sanitation practices by motivating communities and Panchayati Raj Institutions through the awareness programmes like health education.
  • It is to bring the dream of Bapu to come true.

Swachh Bharat Mission in Urban Areas

The Swachh Bharat Mission of urban areas aimed to cover almost 1.04 crore households in order to provide them 2.6 lakhs of public toilets, 2.5 lakhs of community toilets together with the solid wastes management in every town. Community toilets were planned to be built in the residential areas where availability of individual household toilets is difficult and public toilets at designated locations including bus stations, tourist places, railway stations, markets, etc.

Cleanliness programme in the urban areas (around 4,401 towns) was planned to be completed over five years till 2019. The cost of programmes was set, like Rs. 7,366 crore on solid waste management, Rs. 1,828 crore on public awareness, Rs. 655 crore on community toilets, Rs. 4,165 crore on individual household toilets etc.

Programmes which were targeted to be completed are complete removal of open defecation, converting unsanitary toilets into flush toilets, eradicating manual scavenging, bring behavioral changes among public, and solid waste management.

Gramin Swachh Bharat Mission

Gramin Swachh Bharat Mission is a mission implementing cleanliness programmes in the rural areas. Earlier the Nirmal Bharat Abhiyan (also called Total Sanitation campaign, TSC) was established by the Government of India in 1999 to make rural areas clean however now it has been restructured into the Swachh Bharat Mission (Gramin).

This campaign was aimed to make rural areas free from open defecation till 2019 for which the estimated cost was one lakh thirty four thousand crore rupees for constructing approximately 11 crore 11 lakh toilets in the country. It planned converting waste into bio-fertilizer and useful energy forms. This mission involved the participation of gram panchayat, panchayat samiti and Zila Parishad. Following are the objectives of Swachh Bharat Mission (Gramin):

  • To improve quality of life of people living in the rural areas.
  • Motivate people to maintain sanitation in rural areas to complete the vision of Swachh Bharat by 2019.
  • To motivate local working bodies (such as communities, Panchayati Raj Institutions, etc) to make available the required sustainable sanitation facilities.
  • Develop advance environmental sanitation systems manageable by the community especially to focus on solid and liquid waste management in the rural areas.
  • To promote ecologically safe and sustainable sanitation in the rural areas.

Swachh Bharat – Swachh Vidyalaya Campaign

The Swachh Bharat Swachh Vidyalaya campaign run by the Union Ministry of Human Resource Development had aimed for cleanliness in the schools. A major programme was organized under it from 25th of September 2014 to 31st of October 2014 in the Kendriya Vidyalayas and Navodaya Vidyalya Sangathans.

Lots of cleanliness activities were held such as discussions over various cleanliness aspects in the school assembly by the students, teachings of Mahatma Gandhi related to cleanliness, cleanliness and hygiene topics, cleaning activities (in the class rooms, libraries, laboratories, kitchen sheds stores, playgrounds, gardens, toilets, pantry areas, etc).

The cleaning of statue in the school area, speech over the contribution of great people, essay writing competitions, debates, art, painting, film, shows, role plays related to hygiene including other many activities on cleanliness and hygiene were also conducted. It was also planned to hold a half an hour cleaning campaign in the schools twice a week involving the cleanliness activities by the teachers, students, parents and community members.

Swachh Bharat Cess

Swachh Bharat cess is an improvement in the service tax by 0.5% on all the services in India. It was started by the Finance Ministry to collect some fund from each and every Indian citizen for the Swachh Bharat Abhiyan in order to make it a huge success. Everyone has to pay extra 50 paise for each 100 rupees spent as service tax for this cleanliness campaign.

Another Cleanliness Initiative in Uttar Pradesh

Yogi Adityanath (Chief Minister of Uttar Pradesh), in March 2017, has banned chewing of paan, paan masala, gutka and other tobacco products (especially in the duty hours) in the government offices to ensure cleanliness. He started this initiative after his first visit to the secretariat annex building when he saw betel-juice stained walls and corners in that building.

We can say Swachh Bharat Abhiyan, is a nice welcome step to keep India clean and green. As we all heard about the most famous proverb that “Cleanliness is Next to Godliness”, we can surely say that Clean India Campaign (Swachh Bharat Abhiyan) will really bring godliness all over the country in few years if it is followed by the people of India in an effective manner.

So, the cleanliness activities to warm welcome the godliness have been started but it should not need to be ended if we really want godliness in our lives forever.

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Essay On Swachh Bharat Abhiyan | Swachh Bharat Abhiyan Essay for Students and Children in English

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Reported by Pankaj Bhatt

Published on 9 August 2024

Essay on Swachh Bharat Abhiyan (स्वच्छ भारत अभियान) : Swachh Bharat Abhiyan is a campaign launched by our Hon’ble Prime Minister to highlight the importance of cleanliness in the surroundings. It was inaugurated on 2nd October 2014 to honour the vision of cleanliness of Mahatma Gandhi.

If you are looking for an essay on Swachh Bharat Abhiyan, you have arrived at the right page. Here, we are providing you with two essays based on the word limit. One is a short essay with approximately 400 words and the other being a long essay with 1200+ words.

essay-on-swachh-bharat-abhiyan

Short Essay on Swachh Bharat Abhiyan

“ When there is both inner and outer cleanliness, it approaches Godliness .” – Mahatma Gandhi

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Swachh Bharat Abhiyan, an initiative by our Hon’ble Prime Minister Narendra Modi is an attempt towards a cleaner India. It was launched on Oct 2nd, 2014 to celebrate the 145th birth anniversary of our Father of Nation, Mahatma Gandhi, and his ideologies about cleanliness. It is a nationwide cleanliness drive run under the Ministry of Drinking and Sanitation (rural areas) and the Ministry of Housing and Urban Affairs (urban areas). The campaign was sighted for five years and believed in accomplishing the proposed plans by Oct 2nd, 2019 which marks the 150th birth anniversary of Mahatma Gandhi.

The main objective of Swachh Bharat Abhiyan is to aware the citizens of the country of their utmost priority and responsibility towards cleanliness in the nearby surroundings and the spread of filth and infectious parasites. The campaign primarily focuses on eradicating the unhealthy practices of open defecation and provide basic sanitation facilities by constructing toilets, solid-liquid waste disposal systems, supplying clean drinking water, etc. It aims at covering around 4041 statutory towns and cities across the country for cleaner streets, roads, towns, and infrastructure.

PM Modi nominated nine public figures to spread the word which include Sachin Tendulkar, Priyanka Chopra, Salman Khan, Baba Ramdev, Shashi Tharoor, Kamal Hassan, Anil Ambani , Mridula Sinha, and the entire star-cast of the famous TV series- Taarak Mehta ka Oolta Chashma. They were asked to create a chain system by further nominating nine people.

PM Modi assures that this mission is to awake a sense of patriotism among the people and is not any political agenda. He encouraged people to work together as a team and dedicate 100 hours per year to the mission as it can’t be fulfilled by one person or the government alone. On the contrary, it is the sole duty and responsibility of each and every citizen of India to keep the country clean and green.

The total cost of the project is estimated to be Rs. 62,009 crore for the duration of five years. Out of the whole estimated budget, Rs. 14,623 crore has been funded by the central government. World Bank also provided some financial assistance for the successful implementation of the campaign.

The success of the mission resulted in reduced death & lethal disease rates and annual benefits of Rs. 50,000 per household in rural areas. Clean India attracted many tourists worldwide and ultimately enhanced the GDP and economy of the nation with an increase in the number of employment sources.

Swachh Bharat Abhiyan is a great accomplishment and proved out to a one of a kind project in the history of India. We must carry forward the practices of cleanliness with the same enthusiasm and zeal and help each other by keeping our Mother India clean and beautiful.

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Long Essay on Swachh Bharat Abhiyan

“Cleanliness is next to Godliness” – Mahatma Gandhi

Swachh Bharat Abhiyan, also known as Clean India Mission was launched on Oct 2nd, 2014 by our Hon’ble Prime Minister, Narendra Modi. The mission was initiated by keeping in mind the vision of Clean India by the Father of Nation, Mahatma Gandhi, and India of his dreams. The campaign was sighted for five years and believed in accomplishing the proposed plans by Oct 2nd, 2019 which marks the 150th birth anniversary of Gandhiji. PM Modi inaugurated the mission by himself sweeping the road of Rajghat, New Delhi.

Health is wealth is the motive behind the drive. Lakhs of people suffer from malignant diseases caused due to improper sanitation and hygiene. The campaign primarily focuses on eradicating the unhealthy practices of open defecation and provide basic sanitation facilities by constructing toilets, solid-liquid waste disposal systems, supplying clean drinking water, etc. It aims at covering around 4041 statutory towns and cities across the country for cleaner streets, roads, towns, and public infrastructure. The mission asked to devote 100 hours annually towards the cleanliness drive.

Swachh Bharat Abhiyan: Ek Kadam Swachhta Ki Aur

Swachh Bharat Abhiyan is a reminder for the citizens of the nation to respect nature and not stain its beauty. Also, it is the sole duty of each and every citizen to keep the surroundings clean and green. Alone we can only think, together we can bring change. It is the collective effort that counts in the end. Cursing the government every time and not doing anything for the same will not yield any results. The mission must be a combined endeavour of the people and its government.

Swachh Bharat Abhiyan consists of two components and is run under two different departments.

  • Ministry of Home and Urban Affairs , which monitors the cleanliness drive in the urban parts of the country. The project is called Swachh Bharat Mission- Urban.
  • Ministry of Drinking Water and Sanitation , which oversees sanitation coverage in rural areas. The project is called Swachh Bharat Mission- Gramin.

PM Narendra Modi received the Global Goalkeeper award from Gates Foundation for his efforts towards Swachh Bharat Abhiyan to make India a cleaner country. He was presented with the award on 25th Sept 2019 in New York.

Swachh-bharat-essay

Need of Swachh Bharat Abhiyan

Mahatma Gandhi believed that Sanitation is more important than independence . A mission like Swachh Bharat Abhiyan was the need of the hour if we look back at the situation in 2014. It was becoming very crucial to maintain right cleanliness, proper sanitation and hygienic surroundings. Young children were prone to suffer from diseases like diarrhoea, cholera, etc. due to poor hygiene and malnutrition. Consequently, 1000 children a day die of diarrhoeal deaths. A UN report said almost 60% of people in India practice open defecation and inclined towards poor health and lethal diseases.

According to a World Bank report, 6.4% of GDP is declining annually in India due to poor health conditions of people. During the launch of the event, PM Modi underlined how the mission could be an economic activity, the growth of GDP rates, fewer healthcare costs, and sources of employment.

Ganga river is one of the most substantial sources of water in North India. The water of the river is considered to be unsafe for bathing as it contains 120 times the amount of permitted faecal coliform bacteria. The reason being the open defecation of excreta.

India bears the cost of 600,000 lives every year due to poor hygiene and sanitation facilities. Also, 1/3rd of the nation’s women population is exposed to the risk of rapes and sexual assault due to lack of toilets.

PM Modi in the pursuit of fulfilling the dream of Mahatma Gandhi of a cleaner India launched the Swachh Bharat Abhiyan with great zeal and high spirits. The government aimed at accomplishing the following objectives by the 150th birth anniversary of Gandhiji i.e. 2nd October 2019.

  • Complete and proper sanitation facilities
  • Total eradication of open defecation practices
  • Elimination of manual scavenging
  • Conversion of insanitary toilets into pour-flush toilets
  • Scientific approach towards the solid waste management system
  • Spread awareness about public hygiene and healthy sanitation practices
  • Capacity augmentation of Urban Local Bodies (ULB)
  • Installation of water pipelines to ensure regular water supply to all households.

The aforementioned objectives of the mission will ensure the good health of the people. It will also lower the rates of pollution and assurance of cleaner air, water, parks, roads and homes.

Swachhta-pledge

Implementation

An online portal called Swachh Bharat has been launched. It encourages people to participate in Swachhta related activities and facilitates them accordingly. The Department of Drinking Water and Sanitation also launched an app named SwachhApp that monitors the improvement in sanitation coverage in rural areas. With the help of this app, anyone can view the number of toilets constructed in a particular area.

The eligible beneficiaries in rural areas who were constructing private household toilets on their own were awarded Rs. 12,000 as an incentive , which also included the water storage provisions.

The government also certified cities as ODF+ or ODF++ that have maintained proper sanitation and water supply.

The total cost of the project was estimated to be Rs. 62,009 crores, out of which the central government provides assistance of Rs. 14,623 crore. A total amount of Rs. 11,300 crore was allocated for the project in the 2016-17 Union budget, out of which Rs. 9,000 crore was for the rural areas and Rs. 2,300 crore for the urban parts of the country. The government also collected 0.5% additional tax as Swachh Bharat cess on various goods and services. An amount of Rs. 9,851.41 crore was added to the budget from the tax.

Swachh Bharat Abhiyan also sought help from the World Bank. It approved a loan of amount US $1.5 billion to support the campaign in 2015.

Benefits & Impacts of Swachh Bharat Abhiyan

Swachh Bharat Abhiyan is an ambitious battle. India has failed terribly whenever it came to cleanliness. Since the launch of the campaign, there have been major positive impacts on healthcare, tourism, employment, environment , and the economy.

Clean India attracted many tourists worldwide. Tourism industry alone produces around 6.6% of the total Indian GDP. A boost in employment sources is observed. Poor hygiene & cleanliness contributed to poor health. With this cleanliness drive, the health of the people improved and there is a deduction in the death rates since then. Annually. Rs. 6,500 are saved per household because of better health. It also lowered pollution rates. The garbage is now separated as biodegradable and non-biodegrade waste and is treated accordingly.

Under the Ministry of Housing and Urban Affairs, more than 62 lacs toilets were constructed and 4,340 cities were declared Open Defecation Free (ODF).

SBM-urban-stats

Swachh Bharat Mission Grameen also produced fruitful results and more than 10 crore household toilets were built. Also, more than 6 lacs villages were declared ODF. The household toilet coverage reached the perfect score of 100% as of Oct 2, 2019 which started from 38.70% in 2014.

Swachh Survekshan 2022

Each year, Swachh Survekshan conducts a Swachhta survey to monitor the progress of the mission and facilitate cities and people for their outstanding determination towards cleanliness.

SBM-facts

  • No. of cities participated – 4242
  • No. of ODF+ ULBs – 1098
  • No. of ODF++ ULBs – 483
  • Cleanest city – Indore, MP
  • Dirtiest city – Gonda, UP
  • Door-to-door collection of garbage – 2606 ULBs
  • 404 cities where 75% of residential areas were found significantly clean
  • Gujarat has a maximum of 12 cities among the top 50 cleanest cities.

Check Swachh Survekshan 2020 report.

Gandhiji rightly said, “Be the change you want to see in the world” . Swachh Bharat Abhiyan is a great accomplishment and proved out to a one of a kind project in the history of India. We must take the pledge not to litter and throw garbage on the roadside. We must carry forward the practices of cleanliness with the same enthusiasm and zeal and help each other by keeping our Mother India clean and beautiful.

Frequently Asked Questions

Swachh Bharat Abhiyan is a cleanliness drive run across the country for proper sanitation coverage and solid waste management treatment.

Swachh Bharat Abhiyan was launched by the Hon’ble Prime Minister of India, Narendra Modi.

Swachh Bharat Abhiyan: Ek Kadam Swachhta Ki Aur.

Yes. The Swachh Bharat Abhiyan is also known as Clean India Mission or Swachh Bharat Mission (SBM).

The campaign was launched on 145th birth anniversary of Mahatma Gandhi i.e. Oct 2nd, 2014.

The SBM was planned for the time duration of five years i.e. Oct 2nd, 2019.

According to Swachh Survekshan 2020, the cleanest city is Indore, Madhya Pradesh.

According to Swachh Survekshan 2020, the filthiest city is Gonda, Uttar Pradesh.

The main objective of the SBM is to completely eradicate the open defecation practices and provide proper sanitation facilities to the people.

Some of the benefits of SBM are deduction in healthcare costs, more sources of employment, increase in GDP, etc.

ODF+ and ODF++ are the distinctions certified by the government to those ODF cities which have maintained the proper sanitation and water supply in their localities.

Yes. The government, as well as the citizens, enthusiastically participated in the campaign and there has been a reduction in healthcare costs and death rates.

Do not litter on the roadside, spread awareness about the ill effects of dirty surroundings, lessen the use of plastics, follow the motto of reducing, recycle and reuse, create less pollution, etc.

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Pankaj Bhatt

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Essay on Swachh Bharat Abhiyan

Students are often asked to write an essay on Swachh Bharat Abhiyan in their schools and colleges. And if you’re also looking for the same, we have created 100-word, 250-word, and 500-word essays on the topic.

Let’s take a look…

100 Words Essay on Swachh Bharat Abhiyan

Introduction.

Swachh Bharat Abhiyan is a national cleanliness campaign established by the Government of India. Launched on 2nd October 2014, its aim is to make India clean and free of open defecation.

This campaign has impacted greatly on India’s cleanliness. People are now more aware of cleanliness and hygiene. The campaign has also encouraged community participation in cleanliness drives.

Also check:

250 Words Essay on Swachh Bharat Abhiyan

Swachh Bharat Abhiyan, also known as the Clean India Mission, is a significant initiative launched by the Government of India to address the pressing issue of sanitation and cleanliness. Initiated by Prime Minister Narendra Modi on October 2, 2014, it aims to make India open defecation free and improve waste management systems.

Objectives and Implementation

The primary objective of this campaign is to eliminate open defecation by constructing household-owned and community-owned toilets. It also seeks to create awareness about cleanliness and its link to public health. The government mobilized its resources to implement this Abhiyan in both urban and rural areas, involving panchayats, municipalities, community organizations, and NGOs.

Impact and Challenges

The Swachh Bharat Abhiyan has made a considerable impact, with millions of toilets built and numerous cities declared open-defecation free. However, it faces challenges such as changing people’s traditional habits and ensuring the regular use and maintenance of toilets. Additionally, solid waste management remains a significant issue.

In conclusion, the Swachh Bharat Abhiyan is a commendable initiative that has brought cleanliness and sanitation to the forefront of national discourse. However, its success lies in the hands of the citizens. A clean India can only be achieved when every citizen understands their responsibility towards cleanliness and works towards it. The mission should not be seen as a government initiative only, but as a national movement for a healthier and cleaner India.

500 Words Essay on Swachh Bharat Abhiyan

Swachh Bharat Abhiyan, also known as the Clean India Mission, is a nationwide campaign launched by the Government of India in 2014. The primary objective of this initiative is to ensure cleanliness in every corner of the country by eliminating open defecation and improving waste management practices.

The Genesis of Swachh Bharat Abhiyan

The primary objectives of the Swachh Bharat Abhiyan include eliminating open defecation, eradicating manual scavenging, promoting modern and scientific waste management, and bringing about behavioral change regarding healthy sanitation practices.

To achieve these objectives, the government has implemented various strategies. These include the construction of household-owned and community-owned toilets and establishing an accountable mechanism of monitoring toilet use. The campaign also focuses on providing assistance to different states in India to create Waste Management Infrastructure.

Impact and Achievements

Swachh Bharat Abhiyan has made significant strides towards achieving its goals. The campaign claims to have constructed over 110 million toilets across the country, reducing the number of people without access to safe sanitation facilities.

The initiative has also sparked a behavioral change among the citizens, with more people now understanding the importance of cleanliness and sanitation. It has also led to a reduction in diseases caused by poor sanitation and has improved the overall health of the population.

Challenges and Future Prospects

Swachh Bharat Abhiyan has been a revolutionary step towards improving sanitation and cleanliness in India. It has not only improved the health and hygiene of millions but has also brought a significant behavioral change in society. The success of this mission lies in its continuous implementation and the collective effort of the government and the citizens. The journey towards a cleaner and healthier India continues, and every step taken in this direction brings us closer to the vision of a ‘Swachh Bharat’.

Apart from these, you can look at all the essays by clicking here .

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स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi

इस लेख में हमने स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi) लिखा है। इस पृष्ठ पर आप भारत मे स्वच्छ भारत क्रांति की शुरुवात एयर इसके महत्व के विषय मे पूरी जानकारी दी है। यह निबंध लगभग 700-800 शब्दों में हमने स्कूल और कॉलेज के विद्यार्थियों के लिए लिखा है।

तो आईये शुरू करते हैं ‘स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध’ …

Table of Contents

प्रस्तावना Introduction

हम स्वच्छता के बारे में लोगों से कहते हुए सुनते हैं की साफ-सफाई हमारे जीवन का एक महत्वपूर्ण पहलू है। स्वच्छता हमारे जीवन की प्रथम प्राथमिकता है। स्वच्छ भारत अभियान के शुरुवात होने के बाद भारत मे लोगों को कई हद तक स्वच्छता का महत्व समझ आया है। भारत मे कई गांव तो अब पूर्ण रूप से स्वच्छ गांव भी माने जाने लगे हैं।

साफ-सफाई या स्वछता का अर्थ और महत्व Meaning of Cleanliness in Hindi

साफ-सफाई का मतलब स्वच्छता से रहने की आदत है। सफाई से रहने से हमारा शरीर स्वस्थ रहता है। गंदगी हमारी आसपास के वातावरण एवं जीवन को नकारात्मक रूप से प्रभावित करती है। हमें व्यक्तिगत रूप से आसपास भी साफ सफाई रखनी चाहिए इससे एक सकारात्मक वातावरण बनता है।

गंदगी वह जड़ है जो कई प्रकार के बीमारियों को जन्म देती है। रोगियों की बढ़ती हुई जनसंख्या के कारण अस्पतालों में स्वच्छता को ध्यान में रखते हुए हमेशा वहां की साफ-सफाई करनी चाहिए तथा कचरे का प्रबंध नियम अनुसार करना चाहिए।

स्वच्छ भारत अभियान क्या है और कब इसकी शुरुआत हुई? History of Swachh Bharat Abhiyan in Hindi

महात्मा गांधी जी के सपने से प्रेरित होकर भारत के प्रधानमंत्री श्री नरेंद्र मोदी जी ने स्वच्छ भारत अभियान 2 अक्टूबर 2014 को गांधी जयंती के दिन प्रारंभ किया। गांधी जी का सपना, स्वच्छ भारत का था जिसके संदर्भ में गांधी जी ने कहा था ‘स्वच्छता स्वतंत्रता से ज्यादा जरूरी है’। 

गांधी जी का सपना था की हमारे आसपास का वातावरण साफ सुथरा रहे। सफाई या स्वच्छता भारत के सभी नागरिकों की एक सामाजिक ज़िम्मेदारी बनती है। स्वच्छता से भारत की आर्थिक स्थिति में सुधार होगा। यदि हम इस पुण्य कार्य में अपना दो घंटा का समय देते हैं तो भारत को एक पूर्ण स्वच्छ देश की कल्पना साकार होना असंभव नहीं है।

स्वच्छ भारत का अभियान एक राष्ट्रीय स्तर का अभियान है जिसका उद्देश्य गली-गली में साफ-सफाई को बढ़ावा देना तथा सार्वजनिक शौचालयों का निर्माण करके खुले में शौच को बंद करना है।

स्वच्छ भारत मिशन की सफलता हेतु किये गए प्रयास Steps taken under Swachh Bharat Mission

छोटे बच्चे सर्वप्रथम परिवार से स्वच्छता का पाठ सीखते हैं। फिर पाठशाला में जा करके सफाई व स्वास्थ्य के महत्व के बारे में सीखते  हैं। वह गंदगी कूड़े कचरे से होने वाले नुकसान को भी समझते हैं। बच्चे स्वास्थ्य व सफाई के महत्व को जब समझेंगे तो उनमें अच्छे संस्कारों और विचारों का भी जन्म होगा।

इसीलिए हर साल 2 अक्टूबर को देश में विद्यालयों में कार्यक्रम रखे जाते हैं जिसमें बच्चों को साफ सफाई के बारे में बताया जाता है। परिवार की भूमिका यहां पर बहुत ही महत्वपूर्ण है कि वे व्यक्तिगत रूप से साफ-सफाई के बारे मे बच्चों को इसका महत्व समझाएं।

स्वच्छता पर प्राथमिकता हर गांव को देनी होगी। हर गांव में कचरे के प्रबंधन के लिए लोगों को जागरूक करना तथा ज्यादा से ज्यादा शौचालय का निर्माण करना होगा। 

इस कार्य में नगर निगम व पंचायत की विशेष भूमिका है। हम सब की स्वच्छता पर यह कोशिश मानव श्रृंखला बनकर और विस्तार पा सकती है। हम सभी को मिलजुलकर के स्वच्छता का ध्यान रखना चाहिए जिससे यह अभियान सफल हो सके। 

संचार माध्यमों के द्वारा प्रचार व चर्चाओं के द्वारा लोगों को इसकी जानकारी मिलेगी और वे अंततः प्रेरित होंगे। भारत में स्वच्छता का होना बहुत जरूरी है क्योंकि-

  • भारत वासियों को स्वस्थ रखने हेतु 
  • पर्यटकों का आकर्षण बढ़ाना हेतु
  • नई नई बीमारियों के निवारण हेतु

स्वच्छ भारत अभियान चलाने हेतु भारत सरकार ने इसे तीन भागों में विभाजित कर दिया

  • शहारी क्षेत्र में स्वच्छ भारत अभियान।
  • ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान।
  • स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान।

शहरी क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान Swachh Bharat Abhiyan in Urban India

सरकार के अनुसार शहरी क्षेत्रों में स्वच्छता अभियान 5 वर्षों में पूरा किया जायेगा इसमें कुओं का प्रबंध, सामूहिक शौचालय का निर्माण, सार्वजनिक शौचालयों का निर्माण (बस स्टेशनों, सड़कों, बाजारों, रेलवे स्टेशनों आदि सम्मिलित है)।

ग्रामीण क्षेत्रों में स्वच्छ भारत अभियान Swachh Bharat Abhiyan in Rural India

ग्रामीण स्वच्छ भारत अभियान, निर्मल भारत अभियान 1999 का पुनर गठित रूप है। इनका मुख्य उद्देश्य ग्रामीण को खुले में शौच करने से रोकने की प्रक्रिया है। तथा उनके जीवन स्तर में सुधार लाना है।

स्वच्छ भारत स्वच्छ विद्यालय अभियान Swachh Bharat Abhiyan in Indian Schools

यह अभियान केंद्रीय मानव संसाधन द्वारा चलाया गया है। इसका उद्देश्य स्कूलों में स्वच्छता लाना है।

उपसंहार Conclusion

वर्तमान में लोग इस ओर स्वत: प्रेरित हैं। लोगों को स्वच्छता की ओर इस तरह हाथ बढ़ाना होगा जिससे की कुछ वर्षों बाद हमारा भारत एक पूर्ण रूप से स्वस्थ देश की गिनती में जाना जायेगा। एक कदम स्वच्छता की ओर का यह पवित्र विचार हमें इस दिशा में आगे बढ़ने की प्रेरणा देगी। आशा करते हैं आपको यह स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध (Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi) अच्छा लगा होगा।

1 thought on “स्वच्छ भारत अभियान पर निबंध Swachh Bharat Abhiyan Essay in Hindi”

Aapka likhne ka tareka lajwab hai I like this article

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Essay on Swachh Bharat Abhiyan in English

# swachh bharat abhiyan essay in english 700.

“Sanitation is more important than Independence” – these powerful words of Mahatma Gandhi have laid the foundation for the Swachh Bharat Abhiyan (Clean India Campaign). Led by Prime Minister Narendra Modi on Gandhi Jayanti, 2nd October 2014, this nationwide campaign aims to clean up India within the next five years, recognizing that Gandhiji not only fought for independence but also for a clean and hygienic nation.

The Swachh Bharat Abhiyan targets 4041 statutory towns to clean the streets, roads, and infrastructure across the country. Its inauguration witnessed a momentous event, with millions of students, employees, and citizens actively participating in cleaning various localities. Prime Minister Modi himself set an example by cleaning the roads in Delhi and emphasized that cleanliness is not just the responsibility of municipal workers, but of every citizen.

As part of the campaign, nine public figures, including Sachin Tendulkar, Salman Khan, and Priyanka Chopra, were invited to contribute and invite nine others, forming a chain to encourage widespread participation. Modi urged every Indian to dedicate 100 hours annually to this drive and stressed the need for building toilets to ensure proper sanitation.

Modi believes that cleanliness is not only achieved through efficient drives but also through the active involvement of citizens who are aware of their responsibilities and refrain from littering. Many eminent personalities, including Ravi Kishan and Smriti Irani, have wholeheartedly supported the Clean India campaign, demonstrating their commitment to making India green and clean.

The campaign sets its sights on fulfilling the dream of a clean India by the 150th birth anniversary of Gandhiji in 2019. Modi has made surprise visits to various offices to check the campaign’s progress, and his team of ministers has actively participated in cleaning activities. Students from Delhi University have taken up the task of studying the impact of the campaign and suggesting areas for improvement, to be documented upon completion of five years.

The success of the Clean India campaign lies in the collective efforts of every citizen. A cleaner India can boost international tourism and contribute to the nation’s overall growth. Modi firmly believes that Indians have the capability to achieve this goal. As the nation progresses economically, maintaining cleanliness at the ground level is vital for India to truly become a world-class country.

The Swachh Bharat Abhiyan is not just a campaign; it is a vision to transform India into a cleaner, healthier, and more prosperous nation. Let us come together, like the united citizens that reached Mars with minimal resources, to clean our beloved nation and fulfill the dream of Mahatma Gandhi.

#Also Read in hindi: Essay on Swachh Bharat Abhiyan in English

# Article Writing with Format on: Swachh Bharat Abhiyan -Transforming India’s Cleanliness Landscape 1000-1200 words.

Introduction: “Sanitation is more important than Independence,” said Mahatma Gandhi, emphasizing the significance of cleanliness in building a healthy and prosperous nation. Inspired by this vision and determined to create a cleaner India, Prime Minister Narendra Modi launched the Swachh Bharat Abhiyan (Clean India Campaign) on 2nd October 2014, coinciding with the birth anniversary of the Father of the Nation. This nationwide campaign aims to address the pressing issue of cleanliness and sanitation, with the goal of transforming India into a clean and hygienic nation. In this essay, we will delve into the significance of the Swachh Bharat Abhiyan, its objectives, impact, challenges, and the road ahead.

The Need for Swachh Bharat Abhiyan:

India is a country of diverse cultures, rich heritage, and significant achievements, yet it has long struggled with the issue of cleanliness. Lack of proper waste management, open defecation, and unhygienic practices have posed serious threats to public health and the environment. This necessitated a concerted effort to address the prevailing unclean conditions and lay the foundation for a cleaner, healthier future.

Objectives of Swachh Bharat Abhiyan:

The Swachh Bharat Abhiyan encompasses a range of objectives, all aimed at creating a clean and sanitized India. Some of the key objectives include:

  • Eliminating Open Defecation: The campaign seeks to build millions of household and community toilets across the country to eradicate the practice of open defecation, a major health hazard in rural areas.
  • Solid Waste Management: Proper waste management systems are being established to handle and dispose of solid waste effectively, reducing the burden on landfills and promoting recycling.
  • Cleanliness Awareness: The campaign emphasizes creating awareness and behavior change among citizens to maintain cleanliness and hygiene in their surroundings.
  • Public Toilets and Infrastructure: The focus is on constructing public toilets and maintaining existing facilities in urban areas, ensuring access to clean and safe sanitation for all.
  • Swachh Bharat for a Green India: The initiative aims to promote cleanliness in public spaces, parks, streets, and tourist destinations, contributing to a greener and more inviting environment.

Impact of Swachh Bharat Abhiyan:

Since its launch, the Swachh Bharat Abhiyan has had a significant impact on various fronts:

  • Decline in Open Defecation: The campaign has led to a substantial decrease in open defecation rates, particularly in rural areas, promoting better health and hygiene practices.
  • Improved Sanitation Facilities: Millions of toilets have been constructed across rural India, ensuring increased access to sanitation facilities for millions of households.
  • Behavioral Change: Swachh Bharat Abhiyan has ignited a sense of responsibility and ownership among citizens towards cleanliness, resulting in a cleaner and more aware society.
  • Cleaner Public Spaces: Urban areas have witnessed a transformation, with cleaner streets, public toilets, and improved waste management systems.
  • Health Benefits: With better sanitation facilities and reduced open defecation, there has been a positive impact on public health, leading to a decline in waterborne diseases.

Challenges and Roadblocks:

While Swachh Bharat Abhiyan has achieved commendable progress, several challenges hinder its full realization:

  • Infrastructural Deficits: Despite significant progress, the campaign faces infrastructural gaps, particularly in remote and underserved areas, hindering effective implementation.
  • Behavior Change: Changing deep-rooted habits and practices related to cleanliness remains a persistent challenge, necessitating continued awareness campaigns and community engagement.
  • Waste Management: Proper waste disposal and management pose ongoing challenges, with a need for comprehensive solutions, including recycling and waste segregation.
  • Funding and Resources: Sustainable financing and adequate resources are crucial to sustain the campaign’s momentum and achieve its ambitious targets.

The Way Forward:

To further strengthen the Swachh Bharat Abhiyan and realize its full potential, various measures can be undertaken:

  • Strengthening Infrastructural Facilities: Ensuring adequate and accessible sanitation facilities across the country, particularly in remote areas, is essential for success.
  • Engaging Local Communities: Active involvement and ownership of local communities are crucial to drive lasting behavioral change and sustainability.
  • Public-Private Partnerships: Collaboration with private entities can augment resources and expertise, leading to more effective implementation and innovative solutions.
  • Waste Management Solutions: Developing comprehensive waste management systems, including recycling and waste segregation, is imperative to address waste-related challenges.
  • Continuous Awareness Campaigns: Sustained public awareness campaigns, utilizing various media platforms, can reinforce the importance of cleanliness and hygiene.

Conclusion:

The Swachh Bharat Abhiyan embodies the aspiration of millions of Indians for a cleaner, healthier, and more prosperous nation. Through its commendable efforts, the campaign has already brought about significant changes, from reducing open defecation to promoting better sanitation practices. However, challenges persist, and the journey towards a completely clean India continues.

With collective efforts, collaboration, and sustained commitment, India can realize the dream of Mahatma Gandhi – a nation where cleanliness is not just a campaign but a way of life. Swachh Bharat Abhiyan paves the path for a greener, healthier, and more sustainable India, where the spirit of cleanliness transcends boundaries and unites all citizens in the pursuit of a brighter future. Let us unite, shoulder our responsibilities, and contribute wholeheartedly to this transformative movement, building a Swachh Bharat that we can be proud of, for generations to come.

#Also Read in Hindi: स्वच्छता के महत्व पर निबंध or अपने आसपास की सफाई पर निबंध

  • महान व्यक्तियों पर निबंध
  • पर्यावरण पर निबंध
  • प्राकृतिक आपदाओं पर निबंध
  • सामाजिक मुद्दे पर निबंध
  • स्वास्थ्य पर निबंध
  • महिलाओं पर निबंध

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Swachh Bharat Abhiyan Essay – Clean India Mission Essay

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Swachh Bharat Abhiyan Essay: The Swachh Bharat Abhiyan was launched by Prime Minister Narendra Modi on 2nd October 2014. It was an initiative taken to fulfill the dream of Mahatma Gandhi to make India clean and green. The campaign was launched on the 145th birth anniversary of the leader. The mission was to motivate and mobilize the people of India to take up cleanliness as a way of life. The Swachh Bharat Abhiyan was launched keeping in mind the principle of ‘Sabka Saath Sabka Vikas’. The campaign has been successful in creating awareness about cleanliness and sanitation among the people of India. It has also helped in improving the infrastructure for sanitation and solid waste management in the country.

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Long and Short Essay on Swachh Bharat Abhiyan with Headings in English

It is a general topic that students are generally given in their schools to write or say something on Swachh Bharat or Swachh Bharat Abhiyan.

Below are some written essays on Swachh Bharat Abhiyan to make your kids participate in the essay writing competition.

You can select any Swachh Bharat Abhiyan essay given below:

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Swachh Bharat Abhiyan Essay 100 words

Swachh Bharat Abhiyan is also called the Clean India Mission, Clean India drive, or Swachh Bharat Campaign. It is a national-level campaign run by the Indian Government to cover all the backward statutory towns to make them clean. This campaign involves the construction of latrines, promoting sanitation programs in the rural areas, cleaning streets and roads, and changing the country’s infrastructure to lead the country ahead. This campaign was officially launched by Prime Minister Narendra Modi on the 145th birth anniversary of Mahatma Gandhi on 2nd October 2014 at Rajghat, New Delhi.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 150 words

‘Swachh Bharat Abhiyan’ or ‘Clean India Mission is an initiative the Government of India led to make India a clean India. This campaign was launched officially by the Government of India on the 145th birth anniversary of the great person Mahatma Gandhi on 2nd October 2014. It was launched at the Rajghat, New Delhi (the cremation ground of Mahatma Gandhi). Through this campaign, the Government of India has aimed to make India a clean India by 2nd October 2019 (which means the 150th birth anniversary of Mahatma Gandhi).

It is a politics-free campaign inspired by patriotism. It is launched as a responsibility of every Indian citizen to make this country a Swachh country. This campaign has initiated people globally towards cleanliness. Teachers and students of schools are joining this ‘Clean India Campaign’ very actively with great fervor and joy. Under this campaign, another cleanliness initiative was started by UP CM Yogi Adityanath in March 2017. He has banned chewing paan, gutka, and other tobacco products in government offices all over UP.

Swachh Bharat Abhiyan Essay 200 words

Swachh Bharat Abhiyan is a campaign launched by Prime Minister Narendra Modi as a nationwide cleanliness campaign. It is implemented to fulfill the vision and Mission of clean India one day. It was launched especially on the birth anniversary of Mahatma Gandhi as he always dreamed and was keen to make this country a clean one. He had tried to clean India during his time by motivating people through his campaigns and slogans; however, it was only partially successful because of the limited involvement of the people of India.

But after so many years, Swachh Bharat Mission was again started by the Government of India to make the dream of a clean India come true till the 150th birth anniversary of Mahatma Gandhi. It was started in 2014 on 2nd October on the 145th birth anniversary of Mahatma Gandhi. It is a big challenge for all the citizens of India. It is only possible if everyone in India understands this campaign and their responsibility and tries to join hands to make it a successful mission.

Many famous Indian personalities promote Mission to spread this Mission as an awareness program throughout the country. To ensure cleanliness, UP CM, Yogi Adityanath, has banned chewing of paan, gutka, and other tobacco products in the government offices across the state since March 2017. Article on Swachh Bharat Abhiyan

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Swachh Bharat Abhiyan Essay 250 words

Swachh Bharat Mission or Swachh Bharat Abhiyan is a campaign run by the Government of India as a massive mass movement to initiate the theme of cleanliness throughout India. This campaign was launched in seeking a way to create a ‘Clean India’ target by 2019, 2nd October, the 150th birth anniversary of Mahatma Gandhi.

Importance of this Initiative

The father of the nation, Mahatma Gandhi, had always dreamed of making India a clean India and always put his hard efforts toward cleanliness in India. This is why Swachh Bharat Abhiyan was launched on 2nd October (the birthday of Mahatma Gandhi). To complete the vision of the father of the nation, the Indian Government has decided to launch this campaign. In March 2017, UP CM Yogi Adityanath also banned chewing paan and gutka from ensuring cleanliness in UP government offices.

The Mission aims to cover all the rural and urban areas to present this country as an ideal country before the world. The Mission has targeted aims like eliminating open defecation, converting unsanitary toilets into pour flush toilets, eradicating manual scavenging, and complete disposal and reuse of solid and liquid wastes.

The Swachh Bharat Abhiyan aims to bring behavioral changes in people and motivate health practices, spread cleanliness awareness among people, and strengthen the cleanliness systems in all areas. It helps create a user-friendly environment for all private sectors interested in investing in India for cleanliness maintenance. This Mission has an interesting theme of inviting nine new people by each person involved in the campaign and continuing this chain until every citizen of India gets involved in this campaign. Environment Essay

Swachh Bharat Abhiyan Essay 300 words

Swachh Bharat Abhiyan is a nationwide cleanliness campaign run by the Government of India and initiated by Prime Minister Narendra Modi on 2nd October 2014, on the 145th birth anniversary of Mahatma Gandhi.

This campaign has been launched to fulfill the aim of cleanliness all over India. The Prime Minister has requested the people of India to involve in the Swachh Bharat Mission and promote others to do the same to lead our country as the best and clean country in the world. This campaign was initiated by Narendra Modi himself by cleaning the road on the way going to launch the campaign.

What is Swachh Bharat Abhiyan

The campaign of Swachh Bharat is the biggest ever cleanliness drive in India, during the launch of which around 3 million government employees and students from schools and colleges participated.

On the day of launch, Prime Minister nominated the names of nine famous personalities of India to initiate the campaign in their areas at their decided dates and promote the campaign to the common public. He also requested all nine personalities to invite nine other people from their end to participate in this event individually and to continue this chain of inviting nine people until the message reaches every Indian citizen.

How it is Observed

People across the nation clean their locality and pledge to keep their surroundings clean and green. Prime Minister requested that every Indian take this campaign as a challenge and try their best to make it a successful campaign ever. The chain of nine people is like a branching of a tree. He requested common people to involve in this event and upload videos or images of cleanliness over the internet via various social media websites like Facebook, Twitter, etc., so that others can also get motivated to do the same in their area. In this way, India can be a clean country.

In the continuation of this Mission, in March 2017, UP CM Yogi Adityanath banned chewing paan, gutka, and other tobacco products to ensure cleanliness in government buildings.

The Swachh Bharat Abhiyan leaves no stones unturned in providing and improving the country’s cleanliness and sanitation facilities. The effect of the Mission has already started showing its result in almost all the parts with the active involvement of people from all walks of life. If the same pace continues in making the country clean and green, then the dream of Mahatma Gandhi will come true on his 150th birth anniversary in 2019.

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Swachh Bharat Abhiyan Essay 400 words

The father of the nation, Mahatma Gandhi, had once said that “Sanitation is more important than Independence” during his time before the independence of India. He was well aware of the bad and unclean situation of India. He greatly emphasized cleanliness and sanitation to the people of India and their implementation in their daily lives. However, it was not so effective and was unsuccessful because of the incomplete participation of people. After so many years of independence, a most effective clean-up campaign is launched to call people for active participation and complete the cleanliness mission.

Launch of Swachh Bharat Campaign

The Former President of India, Mr. Pranab Mukherjee, said in June 2014, while addressing the Parliament, “For ensuring hygiene, waste management, and sanitation across the nation, a Swachh Bharat Mission will be launched. This will be our tribute to Mahatma Gandhi on his 150th birth anniversary in 2019”. To fulfill the vision of Mahatma Gandhi and make India an ideal country in the world, the Prime Minister of India initiated a campaign called Swachh Bharat Abhiyan on the birth anniversary of Mahatma Gandhi (2nd October 2014). This campaign aims to complete the Mission by 2019, i.e., the 150th birth anniversary of Mahatma Gandhi.

Importance of Swachh Bharat Campaign

Through this campaign, the Government of India solves the sanitation problems by enhancing waste management techniques. The clean India movement is completely associated with the country’s economic strength. The birth date of Mahatma Gandhi is targeted in both the launch and the completion of the Mission.

The basic goals behind launching the Swachh Bharat Mission are to make the country full of sanitation facilities and eliminate all people’s unhealthy practices in daily routines. The first cleanliness drive in India was started on 25th September 2014 and was initiated by Prime Minister Narendra Modi by cleaning up the road.

Benefits of the Swachh Bharat Campaign

The completion of this Mission would indirectly draw the attention of business investors in India, enhance the GDP growth, draw tourists’ attention from all over the world, bring a variety of sources of employment, reduce health costs, reduce the death rate, and reduce lethal disease rate and many more. Clean India would bring more tourists and enhance its economic condition. The Prime Minister of India has requested that every Indian devote 100 hours per year to cleanliness in India, which is sufficient to make this country clean by 2019. Swachh Bharat cess is also started to get some funds for this campaign. Everyone has to pay an extra 0.5% tax (50 paise per 100 rupees) on all the services in India.

UP CM Yogi Adityanath also started a cleanliness drive in 2017 in Uttar Pradesh to ensure cleanliness in the official buildings. He has banned eating paan, gutka, and other tobacco products in government offices.

Swachh Bharat Abhiyan is one of the most important initiatives taken by the Government to make India shine in the world. But what it requires the most is the active participation of every individual irrespective of caste, creed, or religion. If we want our country to be respected and revered in the world, we should devote ourselves to this campaign by contributing to the cause and spreading awareness of the Swachh Bharat Mission. Then only the dream of Mahatma Gandhi could be achieved in a real sense.

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Long Essay on Swachh Bharat Abhiyan from 500 – 1400 words

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Swachh Bharat Abhiyan is a Clean India drive and Mission launched as a national campaign by the Indian Government to cover the 4041 statutory towns aiming to maintain the cleanliness of the country’s streets, roads, and infrastructure.

Who Launched this Initiative

Indian Prime Minister Narendra Modi officially launched this Mission on 2nd October (the birth anniversary of Mahatma Gandhi) in 2014 at the Rajghat, New Delhi (cremation ground of Bapu). While launching the event Prime Minister himself cleaned the road. It is the biggest cleanliness drive ever in India, where approximately 3 million government employees, including students from schools and colleges, took part in the cleanliness activities.

On the day of the event launch, PM nominated nine people to participate in the cleanliness drive in their areas. Schools and colleges participated in the event by organizing many cleanliness activities according to their themes. Students of India participated in this event with full zeal and zest.

PM also requested all those nine nominees to nominate another nine people separately to participate in this cleanliness drive. The aim is to continue the chain of nominating nine people by every participating candidate for the Mission until the message reaches every Indian in every corner of the country to make it a national mission.

Objectives of Swachh Bharat Mission

The Mission aims to connect every individual from all walks of life by making the structure of branching of a tree. Swachh Bharat mission aims to construct individual sanitary latrines for household purposes, especially for the people living below the poverty line, convert dry latrines into low-cost sanitary latrines, providing facility of hand pumps, safe and secure bathing facilities, set up sanitary marts, construct drains, proper disposal of solid and liquid wastes, enhancing health and education awareness, providing household and environmental sanitation facilities and many more.

Earlier, many awareness programs (such as the Total Sanitation Campaign, Nirmal Bharat Abhiyan, etc.) about environmental sanitation and personal cleanliness were launched by the Indian Government; however, they were not very effective in making India a clean India.

The major objectives of Swachh Bharat Abhiyan are removing the trend of open defecation, changing insanitary toilets into pour flush toilets, removal of manual scavenging, proper disposal of solid and liquid wastes, bringing behavioral changes among people, enhancing awareness about sanitation, facilitating the participation of private sectors towards cleanliness facilities.

People Nominated for the Swachh Bharat Campaign

The first nine nominated people by the Prime Minister for this campaign were Salman Khan, Anil Ambani, Kamal Hassan, comedian Kapil Sharma, Priyanka Chopra, Baba Ramdev, Sachin Tendulkar, Shashi Tharoor, and a team of ‘Taarak Mehta Ka Ooltah Chashmah’ (a most famous TV series). Indian film actor Aamir Khan was invited to the launch of the Mission. The PM chose various brand ambassadors to initiate and promote the campaign of Swachh Bharat in various fields.

He also nominated some other dignitaries like Akhilesh Yadav, Swami Rambhadracharya, Mohammad Kaif, Manoj Tiwari, Deviprasad Dwivedi, Manu Sharma, Kailash Kher, Raju Srivastava, Suresh Raina, etc. on 8th November in 2014 and Sourav Ganguly, Kiran Bedi, Padmanabha Acharya, Sonal Mansingh, Ramoji Rao, etc. on 25th December in 2014.

Effects of Swachh Bharat Mission

There were many positive results of the campaign. Many other programs like Swachh Bharat Run, Swachh Bharat apps, Real-time monitoring system, Swachh Bharat short film, and Swachh Bharat Nepal – Swasth Bharat Nepal Abhiyan were initiated and implemented to support the purpose of the Mission actively.

To ensure cleanliness in the official buildings of UP, chewing of paan, gutka, and other tobacco products was banned entirely by the Chief Minister of Uttar Pradesh. To continue and make this campaign successful, the Finance Ministry of India has started a program named Swachh Bharat cess, according to which everyone has to pay 0.5% tax on all the services in India (i.e., 50 paise per 100 rupees), which will fund this cleanliness campaign.

‘Swachh Bharat Abhiyan’ or the ‘Clean India Mission’ should not only be the Government or the ministries; it is the responsibility of every citizen residing in the country. Achieving the goal of a clean India will never be possible until and unless we collaborate and join hands to clean our surroundings and stop others from making them dirty.

The participation and involvement of people in this campaign were huge. Also, they started showing positive results in recent times, but the most important thing is the continuation of this process. Let us pledge to continue doing our bit to make our surroundings and environment clean and green and make our country respected in the world.

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Swachh Bharat Abhiyan Essay in 1400 words

The Government starts Swachh Bharat Abhiyan to make India an immaculate India. Clean India was a dream seen by Mahatma Gandhi, who once said, “Sanitation is more important than Independence.” During his time, he was well aware of the poor and dirty conditions of the country; that’s why he made various efforts to complete his dream; however, he could not succeed.

As he dreamt of a clean India one day, he said that cleanliness and sanitation are integral parts of healthy and peaceful living. Unfortunately, India is still lagging in cleanliness and sanitation even after 71 years of independence. According to the statistics, it has been seen that a very less percentage of the total population has access to toilets. It is a program run by the Government to seriously work to fulfill the vision of Father of Nation (Bapu) by calling people from all walks of life to make it a successful campaign globally.

This Mission has to be completed by the 150th birth anniversary of Bapu (i.e., 2nd October of 2019) in the next five years (from the launch date). It is urged by the Government to spend at least 100 hours a year on cleanliness in their surrounding areas or other places of India to make it a successful campaign. There are various implementation policies and mechanisms for the program, including three important phases the planning phase, the implementation phase, and the sustainability phase.

Swachh Bharat Abhiyan is a national cleanliness campaign established by the Government of India. This campaign covers 4041 statutory towns to clean India’s roads, streets, and infrastructure. It is a mass movement to create a Clean India by 2019. It is a step ahead of Mahatma Gandhi’s dream of swachh Bharat for a healthy and prosperous life.

This Mission was launched on 2nd October 2014 (the 145th birth anniversary of Bapu) by targeting its completeness in 2019 on the 150th birth anniversary of Bapu. The Mission has been implemented to cover all the rural and urban areas of India under the Ministry of Urban Development and the Ministry of Drinking Water and Sanitation accordingly.

The first cleanliness drive (on 25th September 2014) of this Mission was started by the Indian Prime Minister, Narendra Modi, before its launch. This Mission has targeted solving the sanitation problems and better waste management all over India by creating sanitation facilities for all.

Need for Swachh Bharat Abhiyan

Swachh Bharat’s Mission must run continuously in India until it achieves its goal. India’s people need physical, mental, social, and intellectual well-being. It is to advance the living status in India in real means, which can be started by bringing all over cleanliness. Below I have mentioned some points proving the urgent need for ‘Swachh Bharat Abhiyan’ in India:

  • It is essential to eliminate open defecation in India and make toilets available to everyone.
  • It is needed in India to convert the insanitary toilets into flushing toilets.
  • It is necessary to eradicate the manual scavenging system.
  • It is to implement the proper waste management through the scientific processes, hygienic disposal, reuse, and recycling of the municipal solid wastes.
  • It brings behavioral changes among Indian people regarding maintaining personal hygiene and practicing healthy sanitation.
  • It creates global awareness among the common masses living in rural areas and links it to public health.
  • It supports working bodies to design, execute and operate the waste disposal systems locally.
  • It is to bring private-sector participation to develop sanitary facilities throughout India.
  • It is to make India a clean and green India.
  • Improving the quality of life of people in rural areas is necessary.
  • It is to bring sustainable sanitation practices by motivating communities and Panchayati Raj Institutions through the awareness programs like health education.
  • It is to bring the dream of Bapu come true.

Swachh Bharat Mission in Urban Areas

The Swachh Bharat Mission of urban areas aims to cover almost 1.04 crore households to provide them with 2.6 lakhs of public toilets and 2.5 lakhs community toilets and solid waste management in every town. Community toilets have been planned to be built in the residential areas where the availability of individual household toilets is difficult and public toilets at designated locations including bus stations, tourist places, railway stations, markets, etc.

Cleanliness programs in the urban areas (around 4,401 towns) have been planned to be completed over five years till 2019. The costs of programs are set at Rs. 7,366 crores for solid waste management, Rs. 1,828 crores for public awareness, Rs. 655 crores for community toilets, and Rs. 4,165 crores for individual household toilets, etc.

Programs targeted to remove open defecation, convert unsanitary toilets into flush toilets, eradicating manual scavenging, bring behavioral changes among the public, and solid waste management.

Gramin Swachh Bharat Mission

Gramin Swachh Bharat Mission is a mission implementing cleanliness programs in rural areas. Earlier, the Government of India established the Nirmal Bharat Abhiyan (also called Total Sanitation campaign, TSC) in 1999 to make rural areas clean; however, now it has been restructured into the Swachh Bharat Mission (Gramin).

This campaign aims to free rural areas from open defecation until 2019. The estimated cost is one lakh thirty four thousand crore rupees for constructing approximately 11 crores and 11 lakh toilets in the country. There is a big plan to convert waste into bio-fertilizer and useful energy forms. This Mission involves the participation of gram panchayat, panchayat Samiti and Zila Parishad. Following are the objectives of the Swachh Bharat Mission (Gramin):

  • To improve the quality of life of people living in the rural areas.
  • Motivate people to maintain sanitation in rural areas to complete the vision of Swachh Bharat by 2019.
  • To motivate local working bodies (such as communities, Panchayati Raj Institutions, etc.) to make available the required sustainable sanitation facilities.
  • Develop advanced environmental sanitation systems manageable by the community, especially to focus on solid and liquid waste management in rural areas.
  • To promote ecologically safe and sustainable sanitation in rural areas.

Swachh Bharat-Swachh Vidyalaya Campaign

The Swachh Bharat Swachh Vidyalaya campaign is run by the Union Ministry of Human Resource Development having the objective of cleanliness in the schools. A major program was organized under it from 25th September 2014 to 31st October 2014 in the Kendriya Vidyalayas and Navodaya Vidyalya Sangathan.

Lots of cleanliness activities were held, such as discussions over various cleanliness aspects in the school assembly by the students, teachings of Mahatma Gandhi related to cleanliness, cleanliness and hygiene topics, cleaning activities (in the classrooms, libraries, laboratories, kitchen sheds, stores, playgrounds, gardens, toilets, pantry areas, etc.).

The cleaning of statues in the school area, speech about the contribution of great people, essay writing competitions, debates, art, painting, film, shows, role plays related to hygiene including other many activities on cleanliness and hygiene were also conducted. It was also planned to hold a half an hour cleaning campaign in the schools twice a week involving cleanliness activities by the teachers, students, parents, and community members.

Swachh Bharat Cess

Swachh Bharat cess is an improvement in the service tax by 0.5% on all the services in India. The Finance Ministry started it to collect some funds from every Indian citizen for the Swachh Bharat Abhiyan to make it a huge success. Everyone has to pay extra 50 paise for every 100 rupees spent as service tax for this cleanliness campaign.

Another Cleanliness Initiative in Uttar Pradesh

Yogi Adityanath (Chief Minister of Uttar Pradesh), in March 2017, banned the chewing of paan, paan masala, gutka, and other tobacco products (especially during duty hours) in government offices to ensure cleanliness. He started this initiative after his first visit to the secretariat annex building when he saw betel-juice-stained walls and corners in that building.

We can say Swachh Bharat Abhiyan is a nice welcome step to make India clean and green by 2019. As we all heard about the most famous proverb, “Cleanliness is Next to Godliness, “we can surely say that the Clean India Campaign (Swachh Bharat Abhiyan) will bring godliness all over the country for years if the people of India follow it effectively.

So, the cleanliness activities to warm welcome godliness have been started, but they should not need to be ended if we want godliness in our lives forever. A healthy country and society need its citizens to be healthy and clean in every walk of life.

Cleanliness is next to Godliness Essay

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FAQs on Swachh Bharat Abhiyan

How do you write a train journey.

To write about a train journey, vividly describe the sights, sounds, and emotions experienced during the trip. Begin with an engaging introduction, narrate the journey's details, and use descriptive language to engage your readers. Share personal anecdotes or reflections to make your account unique and relatable.

How do you write a journey by train essay?

Crafting a journey by train essay involves structuring your narrative. Start with an introduction, set the scene, and introduce any characters or events. Describe the journey, including scenery and experiences, and reflect on its significance or impact. Conclude by summarizing your thoughts and feelings.

What is a journey by train called?

A journey by train is commonly referred to as a train journey or simply traveling by train. It encompasses the experience of traveling on a train, often involving scenic views, interactions with fellow passengers, and the unique ambiance of train travel.

Is it travel by train or by train?

Both travel by train and by train are grammatically correct. You can use either phrase based on your preference. For example, you can say, I prefer to travel by train or I enjoy the experience of traveling by train.

Why should we travel by train?

Traveling by train offers several advantages. It's an eco-friendly mode of transportation, reducing carbon emissions. Trains are often cost-effective, comfortable, and allow passengers to appreciate scenic routes. Additionally, train travel can be less stressful than other modes, as it avoids issues like traffic congestion.

How was your first train journey?

My first train journey was a memorable experience filled with excitement. Traveling with my family, I marveled at the changing landscapes, relished train food, and enjoyed the camaraderie of fellow passengers. The rhythmic sounds of the train and the anticipation of the destination made it an unforgettable adventure.

Do we say travel by bus?

Yes, you can say travel by bus to describe a journey on a bus. It's a common and straightforward way to express the mode of transportation, indicating that you are using a bus as your means of travel.

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  23. Swachh Bharat Abhiyan: Essay, Clean India Mission UPSC

    The Swachh Bharat Mission's Phase 1 ended in October 2019. Phase 2 has been executed from 2020-2021 through 2024-2025 to help Phase 1's efforts be solidified. The Indian government started the Swachh Bharat Abhiyan with the goal of making India "open-defecation-free" (ODF) by 2 October 2019, marking the 150th birth anniversary of ...